आज जम्मू-कश्मीर में 44 हजार करोड़ के प्रोजेक्ट्स की नींव रख रहे पीएम, इससे जले-भुने पाकिस्तान ने कर दी नापाक हरकत

जम्मू कश्मीर मोदी पाकिस्तान

PC: ANI

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज जम्मू-कश्मीर के दौरे पर हैं। आज वे यहां जम्मू-कश्मीर की जनता को विकास परियोजनाओं से संबंधित कई सौगातें देंगे। पीएम ने सुबह यहां लेह एयरपोर्ट का शिलान्यास किया है। यहां प्रधानमंत्री ने एक कार्यक्रम को भी संबोधित किया। इस दौरान पीएम ने कहा कि लेह एयरपोर्ट का शिलान्यास मैंने किया, आपका आर्शीवाद मिला तो लोकापर्ण करने भी मैं ही आउंगा।  प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इस दौरे में लद्दाख विश्वविद्यालय की आधारशिला भी रखने वाले हैं। साथ ही प्रधानमंत्री यहां अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) की आधारशिला रखकर जम्मू कश्मीर की जनता को बड़ा तोहफा देने वाले हैं। वहीं इस सब से जल-भुन कर पाकिस्तान ने फिर से एक नापाक हरकत कर दी।

माना जा रहा है कि इसके अलावा भी वे इस दौरान कई विकास प्रोजेक्टों का उद्घाटन करेंगे। इस दौरे पीएम कई रैलियां भी संबोधित करेंगे। दरअसल, इस समय जम्मू कश्मीर की जनता का रुख देश और देश के विकास से जुड़े मुद्दों की ओर आया है। जम्मू की जनता के मन में हिंदुस्तान के प्रति आस्था और विश्वास बढ़ा है। यही कारण है कि पीएम इस दौरे में अपने मंत्रिमंडल के 5 केन्द्रीय मंत्रियों को भी साथ ले जा रहे हैं। सूत्रों की मानें तो इन 5 मंत्रियों में केंद्रीय ऊर्जा राज्यमंत्री आरके सिंह, केंद्रीय राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा, केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी और मानव संसाधन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर शामिल हैं।

बता दें कि प्रधानमंत्री मोदी जम्मू कश्मीर के सांबा में रैली से पहले एम्स की आधारशिला रखेंगे। इसके अलावा पीएम जम्मू में 35,000 करोड़ रुपये के भारी-भरकम विकास प्रोजेक्टों का उद्घाटन भी करेंगे। प्रधानमंत्री कश्मीर घाटी में 9,000 करोड़ रुपये की एक अन्य परियोजना की भी आधारशिला रखेंगे। बता दें कि सांबा में बनने वाले एम्स को साल 2015 में ही मंजूरी मिली थी, लेकिन किसी कारणवश इस योजना के पूरे होने में समय लग गया।

प्रधानमंत्री मोदी की सांबा में रैली के दौरान सेना के शहीद जवान औरंगजेब के पिता मोहम्मद हनीफ प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात करेंगे। इस दौरान वह औपचारिक रूप से भारतीय जनता पार्टी ज्वाइन करेंगे। माना जा रहा है कि शहीद जवान औरंगजेब के पिता भी इस रैली को संबोधित करेंगे। यही नहीं, रविवार को पीएम मोदी डल झील के किनारे एसकेआईसीसी ऑडिटोरियम में हाल ही में चुने गये सरपंचों को भी संबोधित करेंगे। इससे माना जा रहा है कि जम्मू-कश्मीर की जनता के मन में देश के प्रति विश्वास व भावनात्मक लगाव जुड़ेगा।

एक तरफ जहां कश्मीर की जनता देश के साथ कदम से कदम मिलाकर चलने में विश्वास रख रही हैं और मोदी सरकार की योजनाओं का स्वागत करने को तैयार है तो वहीं दूसरी ओर अलगाववादी संगठन मोदी की इस रैली और विकास परियोजनाओं की भारी-भरकम सौगात से डरे हुए हैं। उन्हें लग रहा है कि यह भारत विरोधी गतिविधियों के उनके एजेंडे के लिए खतरे की घंटी है। इसके लिए अलगाववादी संगठन हुर्रियत ने पीएम मोदी की रैली के खिलाफ बंद और मार्च निकालने का आह्वान किया है।

बता दें कि पीएम मोदी की इस रैली का विरोध करने की साजिश पाकिस्तान से की जा रही है। हाल ही में इसका भंडाफोड़ हुआ है। पीएम मोदी की एक दिवसीय लेह, कश्मीर और जम्मू संभाग दौरे से पहले पाकिस्तान ने एक बार फिर से अपनी नापाक हरकतों को अंजाम दिया है। शनिवार को पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कश्मीर के अलगाववादी हुर्रियत नेता सैयद अली शाह गिलानी से फोन पर बात की है। बताया जा रहा है कि इस दौरान कुरैशी ने गिलानी से कश्मीर मसले पर चर्चा की। अलगाववादी संगठन द्वारा पीएम मोदी की रैली के विराध के तार पाकिस्तान से ही जुड़े माने जा रहे हैं।

बता दें कि यह पहली बार नहीं है, जब पाकिस्तान ने ऐसी भारतविरोधी गतिविधियों को अंजाम दिया है। इससे पहले भी वह ऐसी हरकतें करता रहा है। हाल ही में 31 जनवरी को शाह महमूद कुरैशी ने अलगाववादी नेता मीरवाइज उमर फारूक से फोन पर बातचीत की थी। इसके बाद भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी थी। इसे लेकर भारत ने पाकिस्तानी उच्चायुक्त सोहेल महमूद को भी तलब करके जोरदार फटकार भी लगाई थी। भारत के विदेश सचिव विजय गोखले ने कहा था कि पाकिस्तान के विदेश मंत्री ने भारत की एकता, संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का उल्लंघन करने की कोशिश की है, जो बेहद शर्मनाक है।

लेकिन पाकिस्तान अपनी नापाक हरकतों से बाज नहीं आ रहा है। वह नहीं चाहता है कि कश्मीर के लोगों में भारत के प्रति विश्वास जगे। इसके लिए वह वहां लोगों को डराने-धमकाने, आतंकी हमले करवाने से लेकर अलगाववादी संगठनों को भी उकसाता रहता है। प्रधानमंत्री की विकास संबंधी भारी-भरकम परियोजनाओं की नींव रखी जाने और शहीद औरंगजेब के पिता का बीजेपी ज्वाइन करना पाकिस्तान और अलगाववादी संगठनों के लिए बड़ी हताशा साबित हो रही है। यही कारण है कि वो निराशा में ऐसे कदम उठा रहे हैं। अब देखना यह होगा कि आज जब पीएम मोदी कश्मीर की जनता के मन में देश के प्रति प्यार, विश्वास, सम्मान और देशभक्ति की अलख जगाकर लौटेंगे तो कश्मीरी अलगाववादियों और पाकिस्तान पर क्या गुजरेगी।

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