पाकिस्तान के भाड़े के टट्टुओं की पोल तजिंदर बग्गा की एक फोन कॉल में खुली

तजिंदर बग्गा

पीएम मोदी इन दिनों फ्रांस के दौरे पर है जहां उनको जी-7 शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए फ्रांस की ओर से विशेष तौर पर आमंत्रित किया गया है। समिट में हिस्सा लेने के लिए जब पीएम मोदी इन देशों में पहुंचे, तो उनका भव्य स्वागत हुआ। इससे पहले जब पीएम मोदी बहरीन और यूएई के दौरे पर थे, वहां तो उनको उन देशों के सर्वोच्च सम्मान से नवाजा गया था। हालांकि, दुनियाभर में पाकिस्तानी एजेंडा आगे बढ़ाने वाले कुछ लोगों को फ्रांस में पीएम मोदी का यहग्रैंड वेलकमबिल्कुल भी पसंद नहीं रहा है, और अब ये लोग भाड़े पर लोगों को लाकर कश्मीर मुद्दे पर पीएम मोदी के खिलाफ प्रदर्शन करवाना चाहते हैं ताकि पूरी दुनिया में यह संदेश जाये कि दुनियाभर के कश्मीरी लोग कश्मीर में भारत के कथित अत्याचारों से बेहद आहत हैं। ये सब इसलिए किया जा रहा है ताकि पीएम मोदी की छवि को नुकसान पहुंचाया जा सके।

इस गिरोह का खुलासा तब हुआ जब दिल्ली भाजपा के प्रवक्ता तजिंदर पाल सिंह बग्गा ने एक कॉल रिकॉर्डिंग जारी की और उनके दावों के मुताबिक उन्होंने खुद को लाहोर का शख्स बताकर फ्रांस में मौजूद एक ऐसी महिला से बात की जो पीएम मोदी के खिलाफ प्रदर्शन करने की तैयारी कर रही थी। तजिंदर बग्गा ने अपनी आवाज़ बदलकर उस महिला से कहा कि वह भी इस प्रदर्शन में हिस्सा लेना चाहता है और उसके लिए वैसे पैसे चाहता है। उस महिला ने कहा कि वह प्रदर्शन में लोगों को लाने के लिए उसे प्रतिव्यक्ति 2 अमेरिकी डॉलर दे सकती है। जब तजिंदर बग्गा  ने उसे ज़्यादा पैसे देने की बात कही, तो वह महिला आखिरकार प्रदर्शन में शामिल होने के लिए प्रतिव्यक्ति 5 डॉलर देने के लिए राजी हो गयी।

स्पष्ट है कि दुनियाभर में मौजूद यह पाकिस्तानी गिरोह कैसे भी करके भारत के खिलाफ अपना एजेंडा चलाना चाहता है, और इसके लिए जब उसे प्रदर्शन करने के लिए लोग नहीं मिलते हैं तो वह उन देशों में ही मौजूद गरीब पाकिस्तानियों को कुछ पैसों का लालच देकर प्लाकार्ड्स लेकर खड़े होने और पीएम मोदी के खिलाफ नारे लगाने पर मजबूर करता हैं। सिर्फ फ्रांस में ही नहीं, यूके और अमेरिका में भी ऐसे ही लोगों का गिरोह मौजूद है और जब भी पीएम मोदी इन देशों के यात्रा पर जाते हैं तो यह गिरोह तुरंत एक्टिव होकर पीएम मोदी का विरोध करना शुरू कर देता है। आपको याद होगा पिछले वर्ष अप्रैल में जब पीएम मोदी कॉमनवेल्थ हेड्स ऑफ गवर्नमेंट मीटिंग में हिस्सा लेने लंदन पहुंचे थे तो भी उनको विरोध प्रदर्शनों का सामना करना पड़ा था। प्रदर्शनकारियों में अधिकतर लोग पाकिस्तान मूल के थे और हाथ में बैनरपोस्टर ले रखा था। इसी तरह अमेरिका में भी कुछ भारत विरोधी लोग अक्सर भारत और पीएम मोदी के खिलाफ नफरत फैलाने का काम करते हैं और इस बात के ज़्यादा अनुमान हैं कि ये लोग भी भाड़े पर आकर इन नकली विरोध प्रदर्शनों में हिस्सा लेते हैं।

ये नकली प्रदर्शनकारी हिंसक मानसिकता के भी होते हैं और जहां भी जाते हैं वहां हिंसा करना शुरू कर देते हैं। इसी मानसिकता के कुछ लोगों ने अभी कुछ दिनों पहले यूके में मौजूद भारतीय हाई कमीशन के सामने विरोध प्रदर्शन किया था या कहिए हमला बोला था और हाई कमीशन की इमारत पर अंडों, पत्थरों और पानी की बोटलों से हमला बोला था। अब यह स्पष्ट हो गया है कि ये लोग कुछ पैसों के लालच में आकर ऐसे हिंसक और नकली विरोध प्रदर्शनों में हिस्सा लेते हैं और भारत की छवि को धूमिल करने का प्रयास करते हैं। तजिंदर बग्गा द्वारा जारी की गई रिकॉर्डिंग भी इसी बात का प्रमाण है। इन देशों में मौजूद भारतीय लोगों के साथसाथ अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को भी ऐसे एजेंडावादी लोगों से सतर्क रहने की आवश्यकता है।

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