स्वराज ने जिन पाकिस्तानियों को वीज़ा दिलवाया, आज वही उन्हें कह रहे हैं ‘रेस्ट इन हेल’

सुषमा स्वराज

मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में विदेश मंत्री का पदभार संभालने वाली भाजपा की वरिष्ठ नेता सुषमा स्वराज का मंगलवार रात दिल्ली के एम्स अस्पताल में देहांत हो गया। रात 11 बजे के करीब खबर आई कि सुषमा स्वराज को दिल का दौरा पड़ा है और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है, लेकिन सवा 11 बजे तक यह स्पष्ट हो गया था कि अब वे हमारे बीच नहीं रहीं। विदेश मंत्री रहते हुए उन्होंने अपने कर्तव्यों को पूरी ज़िम्मेदारी के साथ निभाया। विदेशों में फंसे भारतीयों को सही सलामत देश में पहुंचाने की व्यवस्था करनी हो, या फिर सोशल मीडिया के जरिये जरूरतमंदों को तुरंत सहायता प्रदान करनी हो, उनकी देश-सेवा के लिए उन्हें हमेशा याद रखा जाएगा। सिर्फ देशवासियों के लिए ही नहीं, उन्होंने जरूरतमंदों पाकिस्तानियों की भरपूर मदद करने की कोशिश की। हालांकि, हमारा दुर्भाग्य यह है कि आज कुछ पाकिस्तानी उनका देहांत होने के बाद ‘रेस्ट इन हेल’ जैसे ट्विटर ट्रेंड्स चलाकर अपनी खुशी जाहिर कर रहे हैं।

स्वराज के देहांत होने की खबर आने के बाद पाकिस्तान के ट्विटर ट्रेंड्स पर ‘रेस्ट इन हेल’ ट्रेंड करने लगा।

अपने कार्यकाल में उन्होंने ट्विटर के जरिये जरूरतमंदों पाकिस्तानियों की मदद करने में कोई कसर नहीं छोड़ी, लेकिन आज यही लोग उनके देहांत का मखौल उड़ाकर अपने स्वार्थ का सबसे बड़ा उदाहरण पेश कर रहे हैं। ऐसे ही एक ट्विटर यूजर ने ट्वीट करते हुए उनके देहांत को अनुच्छेद 370 को हटाने जाने के मुद्दे से जोड़ दिया।

ऐसे ही कई लोग उनके देहांत पर अपनी खुशी जाहिर करते दिखे। एक यूजर ने तो यहां तक लिखा कि वह इसी दिन का इंतज़ार कर रही थी।

https://twitter.com/SehrishHabib4/status/1158957454169911296?s=20

एक अन्य यूजर असद जावेद ने लिखा कि ‘कुछ घंटो पहले तक वे अनुच्छेद 370 को हटाने जाने की खुशी मना रही थी, अब वे खुद ही हमेशा के लिए धरती से हट चुकी हैं, कर्मा’।

सुषमा स्वराज ने अपने कार्यकाल के दौरान ट्विटर को एक हेल्पलाइन में बदल दिया था, और जो कोई भी उनसे ट्विटर के जरिये मदद की गुहार लगाता, वे उनकी मदद अवश्य करतीं। दिन रात भारत को गाली देने वाले पाकिस्तानियों ने भी इस बात का फायदा उठाया। वे ट्विटर पर सुषमा स्वराज से भारत में इलाज करवाने के संबंध में मदद की गुहार लगाते थे, और स्वराज भी उन्हें निराश नहीं होने देती थीं। वर्ष 2017 में 15 अगस्त के मौके पर तो उन्होंने भारत में इलाज करवाने की इच्छा रखने वाले सभी पाकिस्तानियों को मेडिकल वीज़ा जारी करने के आदेश दिए  थे।

जिन पाकिस्तानियों ने सुषमा स्वराज के हस्तक्षेप के बाद भारत में इलाज करवाने का सौभाग्य प्राप्त किया, उन सभी ने सुषमा स्वराज की दरियादिली की प्रशंसा की थी। उदाहरण के तौर पर वीसा मदद मिलने के बाद एक पाकिस्तानी नागरिक हिजाब आसिफ़ ने तो यहां तक कह डाला था कि ‘पाकिस्तान पूरी तरह बादल जाता अगर वे यहां की प्रधानमंत्री होती’।

पाकिस्तान में बद्जुबान नफरत फैलाने वाले लोगों की कोई कमी नहीं है, और सुषमा स्वराज के देहांत के बाद पाकिस्तानियों द्वारा सोशल मीडिया पर फैलाये जा रहे जहर को देखने के बाद यह फिर स्पष्ट हो गया है। किसी भी व्यक्ति की मौत का मज़ाक बनाना सभ्य समाज में बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। पाकिस्तानियों ने ऐसा करके अपने समाज की असभ्यता को ही प्रदर्शित किया है।

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