जो राहुल ना कर सका वो अधीर रंजन करेगा और ऐसा करेगा जैसा कोई ना करेगा!

अधीर रंजन, राहुल गांधी, कांग्रेस

जब से कांग्रेस पार्टी ने अधीर रंजन चौधरी को लोकसभा में अपना नेता चुना है तब से आये दिन पार्टी को उनके बयानों के कारण फजीहत का सामना करना पड़ रहा है। या यूं कहें अधीर रंजन चौधरी अपने बयानो से गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी के लिए दिन-ब-दिन बड़ी से बड़ी कब्र खोदने का काम कर रहे हैं। अब मैं कहूं कि अधीर रंजन चौधरी बीजेपी के लिए काम कर रहे हैं तो इसमें कुछ गलत नहीं होगा, अरे हम नहीं बल्कि अधीर रंजन के बयान और उनकी गतिविधियां बयां कर रही हैं। ऐसा लग रहा रहा है कि जो काम राहुल गांधी ने शुरू किया था वह काम अधीर रंजन पूरा करेंगे। यह काम है कांग्रेस को मटियामेट करने का।

कल यानि शुक्रवार को संसद में कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी ने एक बेहद घटिया और विवादित बयान दिया है। संसद में चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि एक ओर राम मंदिर बनाया जाया तो दूसरी ओर सीता मां को जलाया जा रहा। अधीर रंजन के इस बयान के बाद बीजेपी सांसद हमलावर हो गए और स्मृति ईरानी ने मोर्चा संभालते हुए अधीर रंजन पर जमकर हमला किया। अधीर रंजन को जवाब देते हुए स्मृति ईरानी ने कहा कि रेप को सांप्रदायिक रंग देने वाले आज भाषण दे रहे हैं। वह बोल ही रही थीं कि कांग्रेस के दो सांसद अपनी बाहें चढ़ा कर उनकी तरफ बढ़े। टीएमसी के सांसद सौगात राय ने दोनो सांसदों को रोका। यह दोनों सांसद थे कांग्रेस के डीन कुरियाकोस और टीएन प्रतापन। इससे मामला और बढ़ गया। संसद से यह अपेक्षा कि जाती है कि रेप जैसे मामलों में एक सुव्यवस्थित चर्चा करे लेकिन यहाँ पर तो संसद में एक महिला को ही नहीं बोलने दिया जा रहा था।

यह पहला मौका नहीं है जब अधीर रंजन ने इस तरह का बयान दिया हो और पार्टी की फजीहत हुई हो। कुछ दिनों पहले ही अधीर रंजन चौधरी ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन को निर्बला कह दिया था जिसके बाद उनकी खूब आलोचना भी हुई थी।

वहीं उससे पहले ANI से बातचीत के दौरान अधीर रंजन चौधरी ने प्रधानमंत्री मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के नागरिकता पर ही प्रश्न चिन्ह खड़े कर दिए हैं। अखिल भारतीय एनआरसी के विरोध में अधीर रंजन ने कहा, “हिंदुस्तान सब के लिए है, ये हिंदुस्तान किसी की जागीर है क्या? सबका समान अधिकार है। अमित शाह जी, नरेंद्र मोदी जी, आप खुद घुसपैठिए हैं। घर आपका गुजरात, आ गए दिल्ली, आप खुद माइग्रेंट हैं“। अर्थात अधीर बाबू के अनुसार पीएम मोदी और अमित शाह अपने ही देश में घुसपैठिए हैं।

इससे स्पष्ट होता है कि अधीर बाबू के पास ना तो वैधानिक ज्ञान है, ना ही संवैधानिक ज्ञान और ना ही व्यावहारिक ज्ञान है, वरना खुद कांग्रेस में गैर गांधी होकर एक वरिष्ठ नेता माने जाने वाले व्यक्ति से भला कोई ऐसे ओछे बयानों की आशा क्यों करेगा। इससे पहले अनुच्छेद 370 पर बहस के दौरान लोकसभा में अधीर रंजन ने सरकार से यह सवाल पूछा था कि “क्या अनुच्छेद 370 का मुद्दा भारत का आतंरिक मामला है? और क्या भारत को इसपर एकतरफा फैसला लेने का अधिकार है?” भारत की सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी के नेता द्वारा यह बयान या प्रश्न किया जाना बेहद ही शर्मनाक था जो जम्मू-कश्मीर को भारत का अभिन्न हिस्सा होने पर सवाल खड़े कर रहा था। अधीर रंजन चौधरी के इस बेतुके सवाल पर गृहमंत्री अमित शाह ने उन्हें जोरदार जवाब दिया और उनसे पूछा कि क्या कांग्रेस पीओके को भारत का हिस्सा मानती है या नहीं! इसके बाद अमित शाह ने कांग्रेस से यह भी स्पष्ट करने को कहा कि क्या अधीर रंजन द्वारा कहे गये शब्द कांग्रेस पार्टी की आधिकारिक लाइन है?

हैरानी की बात तो यह थी कि अधीर रंजन के इस विवादित बयान को लेकर कांग्रेस पार्टी खुद व्याकुल दिखी। जब अधीर रंजन चौधरी लोकसभा में बयान दे रहे थे, तब सोनिया गांधी के भाव ऐसे थे, ये क्या कह गये अधीर? लेकिन तब तक पार्टी को नुकसान हो चुका था।

इससे पहले लोकसभा में वह कई विवादित और कांग्रेस के लिए आत्मघाती बयान दे चुके हैं। लोकसभा में अधीर रंजन चौधरी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान 2 जी स्पेक्ट्रम घोटाले को लेकर भाजपा पर निशाना साधते हुए सोनिया गांधी पर भी निशाना लगा बैठे थे। उन्होंने कहा था कि “अगर किसी ने 2जी या कोयला घोटाले में गलत किया था तो मोदी जी 5 साल में उन्हें जेल क्यों नहीं भेजा? अभी तक यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी जेल में क्यों नहीं हैं? वे अभी भी संसद में क्यों हैं। रखो न उन्हें भी हम तो यही चाहते है। अधीर रंजन के इस बयान को अभी ज्यादा समय भी नहीं बीता था कि  गांधी परिवार के करीबी माने जाने वाले कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम को सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया।

बता दें कि नेशनल हेराल्ड मामले में भी सोनिया और राहुल गांधी जमानत पर हैं और मामले की सुनवाई जारी है जबकि गांधी परिवार के दामाद रॉबर्ट वाड्रा के खिलाफ भी जमीन घोटाले मामले में जांच चल रही है।

इससे पहले परिचर्चा के दौरान अधीर रंजन चौधरी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तुलना गंदी नाली से तुलना की थी। भाजपा सांसद प्रताप चंद्र सारंगी ने जब उन पर निशाना साधते हुए कहा था, “हम कांग्रेस जैसी धारणा नहीं रखते हैं कि इंदिराभारत है और भारत इंदिराहै। उसके बाद ही जवाब में अधीर रंजन चौधरी ने कहा, “कहां इंदिरा गांधी और कहां गंदी नाली। मां गंगा की तुलना गंदे नाले से कैसे की जा सकती है?”

अधीर रंजन द्वारा ऐसे बयान एक तरफ जहां भाजपा के लिए वरदान साबित हुआ है तो वहीं कांग्रेस के लिए आत्मघाती साबित हुआ है। ऐसे ही राहुल गांधी कांग्रेस के अध्यक्ष बनाने के बाद भी कांग्रेस के लिए इसी तरह से फजीहत कराते आए थे। अधीर रंजन चौधरी ने उनके ही छोड़े हुए काम को पूरा करने की ठानी है इसलिए वह लगातार ऐसे बयान देते आ रहे हैं। इन सभी बयानों से कांग्रेस को केवल शर्मनाक स्थिति का ही सामना करना पड़ा है। ऐसा लग रहा है कि अधीर रंजन गांधी परिवार और कांग्रेस के लिए कब्र खोद कर उसे और बड़ा करने में लगे हैं और इस कब्र में कांग्रेस पार्टी को दफनाने की पूरी तैयारी कर रहे हैं।

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