कुछ दिन पहले जापान के प्रधानमंत्री शिंजो अबे ने घोषणा कि वे चीन से वापिस आने वाली जापानी कम्पनियों के लिए उनकी आर्थिक आवश्यकताओं के लिए 2.2 बिलियन डॉलर का विशेष पैकेज रखेगी। अब लगता है कि भारत में भी इस निर्णय का अनुसरण हो रहा है, क्योंकि उत्तर प्रदेश इसी दिशा में मुड़ गया है।
मौके पर चौका मारने के लिए तैयार योगी सरकार ने नौकरशाहों को निर्देश दिया है कि एक स्पेशल पैकेज तैयार करें, जो मल्टीनेशनल कंपनियों को भारत, विशेषकर उत्तर प्रदेश की ओर आकर्षित कर सके। इसकी पुष्टि करते हुए यूपी के अतिरिक्त सचिव अवनीश कुमार अवस्थी बताते हैं, “मुख्यमंत्री जी ने औद्योगिक विकास और एमएसएमई विभाग को विदेशी कंपनियों के लिए एक विशेष पैकेज तैयार करने का निर्देश दिया है, जिससे वे यूपी में अपना व्यापार नए सिरे से प्रारंभ कर सकें”।
पिछले कुछ वर्षों में उत्तर प्रदेश में निजी निवेश को बढ़ावा देने के लिए योगी सरकार ने कई समिट और एक्सपो आयोजित कराए हैं। यह आयोजन काफी सफल भी रहा है, क्योंकि यूपी निवेशक समिट से 4.68 लाख करोड़ रुपए और रक्षा एक्सपो से 70000 करोड़ रुपए का निवेश मिलने की संभावना जताई है।
कभी जो उत्तर प्रदेश बीमारू राज्य वाली श्रेणी में भी निम्नतम स्थान रखता था, वह आज चीन को वैश्विक फैक्ट्री के तौर पर रिप्लेस करने योग्य बन चुका है। यहां 22 करोड़ की आबादी भी है और एक युवा डेमोग्राफी भी। परन्तु यह राह प्रारंभ से ही आसान नहीं थी।
योगी सरकार से पूर्व अखिलेश यादव की समाजवादी सरकार का शासन था, जिसका निवेश से दूर दूर तक कोई नाता नहीं था। कहने को इस सरकार ने प्रयास खूब किए, परन्तु कानून व्यवस्था निम्नतम होने के कारण कोई उनकी बातों पर भरोसा नहीं करता था। पार्टी नेता काम करते कम और जनता एवम् उद्योगपतियों से उगाही करते ज़्यादा दिखते थे –
Opportunity, Opportunity, Opportunity!!
Please set up group to coordinate with Japanese players for relocation of manufacturing plants of these companies in Uttar Pradesh.
This is once in a lifetime opportunity, please don't miss it!!https://t.co/sK1xwacS0O
— Amit Agrahari (@Amit_Agrahari94) April 10, 2020
परन्तु योगी सरकार के सत्तासीन होते ही सबसे पहले कानून व्यवस्था में व्यापक बदलाव के लिए काम प्रारंभ हुआ। पुलिस प्रणाली को दुरुस्त करने हेतु योगी सरकार ने उनके बजट में अप्रत्याशित बढ़ोत्तरी की। कई दुर्दांत एवम् बर्बर अपराधियों का एनकाउंटर हुआ और भ्रष्ट नेताओं एवं अफसरों पर ताबड़तोड़ कार्रवाई भी हुई।
अब यूपी के कानून व्यवस्था को देशभर में एक उदाहरण के तौर पर प्रस्तुत किया जाता है। यहां हर कोई निर्भयता से अपना काम कर सकता है, जो उद्योगपतियों के लिए बहुत अनुकूल है। कभी जो उत्तर प्रदेश नेशनल क्राइम रिकॉर्ड्स ब्यूरो में अपराध दर की सूची में टॉप 3 में था, वह पिछले दो वर्षों में। व्यपाक सुधार की दृष्टि से 5 सबसे सशक्त राज्यों में शामिल होने लगा है।
यही नहीं, योगी सरकार वुहान वायरस से निपटने में भी काफी सक्रिय दिखाई दे रही है। जिस राज्य की आबादी महाराष्ट्र और दिल्ली की कुल आबादी से भी ज़्यादा हो, वहां 1000 से नीचे मामले रखना कोई आसान काम नहीं। योगी आदित्यनाथ ने अभी से ही स्थिति पर नजर रखने वाली कई कमेटियों का गठन किया है, जो इस महामारी के विपरीत असर पर गौर कर आवश्यक सुधार सुझाएगी। कभी जों राज्य व्यापारियों और उद्योगपतियों के लिए शमशान समान होता था, आज वह योगी आदित्यनाथ जी की कृपा से किसी स्वर्ग से कम नहीं है।