उत्तर प्रदेश अब सुरक्षित प्रदेश बनने जा रहा है। दुर्दांत अपराधी विकास दुबे पर कार्रवाई करने के बाद अब टॉप अपराधियों की लिस्ट बनाकर योगी सरकार ने उनके खिलाफ कार्रवाई शुरू कर दी है। इस लिस्ट में हिस्ट्रीशिटर मुख्तार अंसारी का नाम सबसे ऊपर है। योगी सरकार ने मुख्तार अंसारी गिरोह के खिलाफ कार्रवाई के क्रम में करीब 40 करोड़ रुपये की सरकारी जमीन को उसके परिवार के कब्जे से मुक्त करवाया है। उसके बाद अंसारी के सहयोगियों और रिश्तेदारो के 33 हथियार लाइसेंस निलंबित कर उन्हें थानों में जमा करा दिया है।
दरअसल, रविवार को जौनपुर पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए मुख्तार अंसारी के गुर्गे रविंद्र निषाद की करोड़ों की चल अचल सम्पत्ति को जब्त करने के साथ ही इस पुराने अपराधी गैंग के खिलाफ कार्रवाई शुरू की। अब उत्तर प्रदेश की पुलिस ने जेल में बंद माफिया-डॉन विधायक मुख्तार अंसारी के अवैध कारोबार पर एक बड़ी कार्रवाई करते हुए, उसके गिरोह के कम से कम 20-25 सदस्यों पर गैंगस्टर एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है। पुलिस ने अंसारी के शॉर्प शूटर बृजेश सोनकर के घर की कुर्की कर दी है और धारा 14 (1) की 58.91 लाख रुपये की संपत्ति भी जब्त कर ली गई है। इसके साथ ही सात लोगों को गिरफ्तार कर लिया है।
पुलिस अधीक्षक गाजीपुर ओपी सिंह ने कहा, “गाजीपुर में 20 से अधिक माफिया गिरोहों और उनके सहयोगियों के खिलाफ गहन अभियान जारी है। यह अपराधियों, भू-माफिया, खनन माफिया के खिलाफ चलाया जा रहा है।”
बता दें कि 5 जुलाई को, गाजीपुर जिला प्रशासन ने एक गोदाम को ध्वस्त कर दिया था, जिसे सार्वजनिक भूमि पर कब्जा कर बनाया गया था। इसके साथ ही एक होटल की भी जांच की जा रही थी। यह दोनों संपत्ति संयुक्त रूप से अंसारी की पत्नी के नाम है। गोदाम का मालिकाना हक अंसारी की पत्नी अफसा बेगम और उनके बहनोई आतिफ राजा के अलावा तीन अन्य – जाकिर हुसैन, रवींद्र नारायण सिंह और अनवर शहजादा के पास भी हैं।
बता दें कि गाजीपुर के निवासी मुख्तार अंसारी की गुंडई पूरे पूर्वांचल क्षेत्र में रही है। मऊ, आजमगढ़ और जौनपुर से लेकर गाजीपुर क्षेत्रों में अंसारी गैंग के कई अपराधी सक्रिय रहते हैं। मुख्तार अंसारी ने दो बार बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ा और दो बार निर्दलीय के रूप में। यही नहीं इस मशहूर अपराधी ने जेल से ही तीन चुनाव लड़े हैं। पिछला चुनाव उसने 2012 में कौमी एकता दल से लड़ा, विधायक बना था और लगातार चौथी बार विधायक है। मुख्तार अंसारी के ऊपर 40 से ज्यादा मुकदमा दर्ज हैं तथा लगभग 14 वर्षों से जेल में बंद है। वर्ष 2005 में मऊ में हिंसा भड़काने का आरोप हो या जेल में रहते हुए बीजेपी नेता कृष्णानंद राय की 7 साथियों समेत हत्या का आरोप हो। सभी में मुख्तार अंसारी का नाम ही आता है। इसके अलावा पुलिस ने पूर्व सांसद उमाकांत यादव के पुत्र दिनेशकांत यादव