सोने–चाँदी की आड़ में तुष्टीकरण की दुकान चला रहे तनिष्क को हिंदुओं ने दिया कड़ा संदेश

लोगों ने कहा - “हिंदुओं के खिलाफ दुष्प्रचार करने के दिन गए”

तनिष्क

आभूषण कंपनी तनिष्क एक बार फिर सुर्खियों में है, परंतु इस बार गलत कारणों से। हाल ही में आगामी त्योहारों को लेकर उनका एक एड विवादों के घेरे में आया है, जिसके कारण तनिष्क को एड प्रसारित करने के कुछ ही दिनों बाद यूट्यूब समेत हर सोशल मीडिया हैंडल से हटाना पड़ गया।

परंतु उस एड में ऐसा भी क्या था, जिसके कारण तनिष्क को सोशल मीडिया समेत देशभर की जनता का आक्रोश झेलना पड़ा? दरअसल एकात्वम नामक इस एड में साड़ी पहने एक लड़की, एक अधेड़ उम्र की महिला के साथ किसी जगह जा रही है, जिन्हें वह माँ कहके संबोधित कर रही है। पहनावे से देखके ऐसा प्रतीत होता है कि एड में लड़की हिन्दू है, और अधेड़ उम्र की महिला मुसलमान। जब वे घर के प्रांगण में आते हैं, तो लड़की स्तब्ध हो जाती है, क्योंकि उसके ससुराल वालों ने गोदभराई की रस्म रखी है। जब वह पूछती है, ‘पर ये तो आपके घर में नहीं होता न’, तो उस लड़की की सास कहती है, “क्या हर घर में बेटी को खुश रखने का रिवाज नहीं है?”

दिलचस्प बात तो यह है कि यह एड ऐसे समय में आया, जब मुस्लिम लड़कियों से महज बातचीत करने के लिए दिल्ली और कर्नाटक में दो हिन्दू लड़कों की निर्ममता से हत्या की गई। ऐसे समय में तनिष्क द्वारा प्रसारित यह एड सनातन समुदाय को रास नहीं आया, और उन्होंने यथार्थ का उपहास उड़ाते ऐसे विज्ञापन के लिए तनिष्क को आड़े हाथों लिया।

उदाहरण के लिए पत्रकार विकास सारस्वत ने ट्वीट किया, “तनिष्क का विज्ञापन कल्पना की उपज है। यथार्थ इससे बहुत दूर है, और इसी का एक अंश मैं आपके साथ साझा कर रहा हूँ” –

वहीं दूसरी तरफ अंकित जैन नामक ट्विटर यूजर ने ट्वीट किया, “ऐसे समय में जब इस्लाम में परिवर्तित होने से इंकार करने पर शादी के बाद  लड़कियों के सर काट दिये जाते हैं, तो तनिष्क का यह एड किसी भद्दे मज़ाक से कम नहीं लगता” –

https://twitter.com/indiantweeter/status/1315724146966364160?s=20

 

 

https://twitter.com/saffron_kanya/status/1315879941028737024?s=20

इतने भारी-भरकम विरोध के बाद अब तनिष्क ने उस विवादित एड को यूट्यूब समेत हर प्लेटफ़ॉर्म से हटा दिया है। इससे न केवल सनातनी एकता सिद्ध हुई है, अपितु यह संदेश भी स्पष्ट हुआ है कि अब कोई भी हिन्दू विरोधी कंटेंट को यूं ही नहीं प्रसारित कर सकता। कल्पना कीजिये यदि वह लड़की हिन्दू के बजाए मुस्लिम होती, और यही रीति उसके हिन्दू रिश्तेदार करते, तो कितना बवाल मचता?

अभी पिछले ही वर्ष तृणमूल काँग्रेस की सांसद नुसरत जहां को कट्टरपंथियों का काफी आक्रोश झेलना पड़ा था, क्योंकि उन्होंने एक जैन उद्योगपति से विवाह किया था। इसके अलावा संसद में सिंदूर और मंगलसूत्र पहनकर आने के लिए उन्हें काफी आलोचना का सामना भी करना पड़ा था। ऐसे में तनिष्क द्वारा पक्षपाती एड बनाना न केवल अटपटा था, अपितु उसके दोहरे मापदण्डों को भी उजगार करता हुआ दिखाई दिया।

 

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