Twitter के CEO जैक डॉर्सी ने RSS की सहायक NGO को किए $ 2.5 मिलियन दान, लिबरलों को विश्वास ही नहीं हो रहा

क्यों चौंक गए?

भारत के लिबरल्स के लिए कल का दिन बहुत ज्यादा कष्टदायक साबित हुआ क्योंकि 10 मई को उनके आंखों के तारे ट्विटर का CEO जैक डॉर्सी ने RSS की एक संस्था सेवा इंटरनेशनल को भारत में कोविड -19 राहत कार्य के लिए $ 2.5 मिलियन डॉलर आवंटित किया है। हालांकि, जैक ने $15 मिलियन डॉलर का फंड तीन संगठनों के बीच आवंटित किया है।

दरअसल बात यह है कि, 10 मई को ट्विटर के CEO जैक डॉर्सी ने ट्विटर पर जानकारी देते हुए एक पोस्ट साझा कर लिखा कि, “भारत में COVID-19 संकट में मदद करने के लिए CARE, AID INDIA और सेवा इंटरनेशनल के बीच $ 15 मिलियन डॉलर की राशि  गई है”

जैक डॉर्सी का यह कदम सराहनीय है। लेकिन, उनके चहिते लिबरल्स ने उनके खिलाफ ही मोर्चा खोल दिया है और कारण यह है कि, इन तीन संगठनों में से एक संगठन सेवा इंटरनेशनल है। बता दें कि, सेवा इंटरनेशनल हिंदू आस्था पर आधारित, मानवीय, गैर-लाभकारी सेवा संगठन है। यह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की ही सहायक विदेशी संस्था है, जो कि वर्ष 1993 से दुनिया भर में राहत कार्य कर रही है।

भारत के लिबरल्स की आंखों में RSS से जुड़ी हर चीज चुभती है। इसका सबसे बड़ा प्रमाण है, स्वयं भारत के प्रधानमंत्री है। तो ऐसे में लिबरल्स कैसे चुप बैठ सकते थे, और फिर उनका पूरा झुंड जैक डोर्सी पर टूट पड़ा।

ट्विटर पर खुद को दलित समाज का कथित हितैषी बताने वाले दिलीप मंडल ने जैक और बाकी सभी से आग्रह किया कि, सेवा इंटरनेशनल को सहयोग न करे। मंडल ने लिखा कि, “प्रिय जैक डॉर्सी और जो बाकी सभी इसे पढ़ रहे हैं। कृपया कोरोना के समय में धन के सहारे नफरत फैलाना बंद करें। @SewaUSA घृणा और कट्टरता का एक प्रसिद्ध पेडलर है।” मंडल के आवाज में दर्द साफ झलक रहा है कि, कैसे उनके प्रिय जैक ने उनके साथ बगावत कर दी।

इसके बाद पीटर फ्रीडरिच ने जैक डॉर्सी द्वारा दी हुई मदद पर आपत्ति जताई। पीटर भारत विरोधी होने के कारण पहले से ही, दिल्ली पुलिस के रडार पर है। इसका हाथ हाल ही में 26 जनवरी को हुए लाल किला हिंसा में भी था और साथ ही में ग्रेटा टूलकिट में भी नाम था।

https://twitter.com/FriedrichPieter/status/1391990421845336067?s=19

इसके बाद कई और भारत और हिंदू विरोधी तत्वों ने जैक डॉर्सी के खिलाफ प्रतिक्रिया व्यक्त की।

 

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आपको बता दें कि, सेवा इंटरनेशनल का रुख इस मदद के प्रति काफी ज्यादा सक्रात्मक रहा है। उन्होंने कहा कि, “हम एक स्वयंसेवी-संचालित गैर-लाभकारी संगठन हैं, और हम सभी की सेवा करने में विश्वास करते हैं। हम मंगलकामना करते है कि, सभी खुश रहें – सर्वे भवन्तु सुखिनः” 

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