साढ़े 4 वर्षों में 64000 करोड़: नोएडा बना भारत का No.1 निवेश गंतव्य, थैंक्स टू योगी सरकार

देश का सबसे लोकप्रिय निवेश स्थल कौन सा है? दिल्ली? मुंबई? या बेंगलुरू? अगर आप ये नाम सोच रहे तो आप गलत हैं। इस समय यदि कोई नगर देश में निवेशकों का प्रथम विकल्प है, तो वह है न्यू ओखला इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी यानि नोएडा। नोएडा प्रारंभ से ही एक आकर्षक निवेश स्थल रहा है, परंतु योगी आदित्यनाथ के प्रशासन में ये नगर अब देश का सर्वाधिक लोकप्रिय निवेश स्थल बन चुका है, जिसकी प्रगति दिन दूनी रात चौगुनी स्तर से बढ़ता ही जा रहा है।

पिछले साढ़े चार वर्षों में नोएडा ने देश के सभी जिलों में सबसे अधिक निवेश प्राप्त किया है। साढ़े चार वर्षों में नोएडा को 64000 करोड़ का निवेश प्राप्त हुआ है, जिससे साढ़े 4 लाख नौकरियां उत्पन्न हुई हैं। ज़ी न्यूज के रिपोर्ट के अनुसार निरंतर निवेश के कारण गौतम बुद्ध नगर देश का सबसे बड़ा निवेश जिला सिद्ध हुआ है। पिछले डेढ़ वर्षों में NIDA [नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण], GNIDA [ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण] एवं YEIDA [यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण] के सतत प्रयासों से 3 हजार से भी अधिक भूमि पट्टे देशभर के निवेशकों को विभिन्न परियोजनाओं के लिए प्रदान किये जा चुके हैं।

अपनी ओर से नोएडा प्रशासन ने स्वयं 22 हजार करोड़ रुपये का निवेश करके डेढ़ लाख करोड़ से अधिक लोगों को रोजगार प्रदान किया है। अब तक कानपुर को प्रदेश की वित्तीय राजधानी मानी जाती थी। ऐसा इसलिए क्योंकि कथित तौर पर कानपुर अन्य शहरों के मुकाबले अधिक आयकर एवं कॉर्पोरेट टैक्स चुकाता था, लेकिन अब वर्तमान आंकड़ों के अनुसार नोएडा ने कानपुर को मीलों पीछे छोड़ दिया है। अर्थशास्त्र एवं सांख्यिकी विभाग उत्तर प्रदेश द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार गौतमबुद्ध नगर [ नोएडा और ग्रेटर नोएडा], 2018 में ही 36,8081 रुपये प्रतिवर्ष की अकल्पनीय Per Capita Income दर्ज कर चुका है।

और पढ़ें :योगी के UP पर पैसे बरसा रही हैं, Microsoft, Pepsi, और कुछ अन्य बहुराष्ट्रीय कम्पनियाँ  

अब योगी आदित्यनाथ नोएडा को उत्तर प्रदेश के चेहरे के रूप में प्रदर्शित करने हेतु युद्धस्तर पर कार्य कर रहे हैं, ताकि नोएडा आगे चलकर नए भारत और उत्तर भारत में सेवा [सर्विस] उद्योग का एक सशक्त प्रतीक चिन्ह भी बन सके। चाहे कपड़ा उद्योग, इलेक्ट्रॉनिक्स हो, या फिल्म उद्योग ही क्यों न हो, योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश प्रशासन हरसंभव प्रयास कर रहा है कि नोएडा देश में निवेश के लिए नंबर 1 डेस्टिनेशन के रूप में उभर कर सामने आए।  इसका एक सकारात्मक प्रभाव भी दिखने लगा है, क्योंकि माइक्रोसॉफ्ट समेत कई प्रसिद्ध आईटी कंपनियों ने हाल ही में नोएडा की ओर रुख किया है, जिससे निवेश और रोजगार में चौगुनी वृद्धि होने के पूरे पूरे आसार है।

इसी वर्ष वैश्विक फर्नीचर उद्योग के किंग माने जाने वाले IKEA ने भी नोएडा में निवेश करने की इच्छा जताई है। IKEA की फर्नीचर जगत में वही पहचान है जो स्मार्टफोन उद्योग में आईफोन की है, और ऐसे में ये योगी सरकार के लिए किसी महत्वपूर्ण विजय से कम नहीं, और इसी दिशा में 5500 करोड़ रुपये का निवेश करने की भी घोषणा की है, ताकि वे अपना शॉपिंग सेंटर खोल सकें।

उत्तर प्रदेश बहुत जल्द चीन को ‘वैश्विक फैक्ट्री’ के रूप में रिपलेस करने वाला है। ऐसा इसलिए संभव है क्योंकि चीन के मुकाबले उत्तर प्रदेश की युवा पीढ़ी भी है और उसकी आबादी 22 करोड़ से भी अधिक है। दुर्भाग्यवश योगी सरकार से पूर्व यहाँ कोई भी सरकार निवेश फ़्रेंडली  नहीं थी, परंतु अब ऐसा नहीं है। योगी सरकार के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश ‘निवेशकों के लिए नरक’ से कर्मठ कंपनियों एवं निवेशकों के लिए स्वर्ग में परिवर्तित हो चुका है, और नोएडा इसका जीता जागता प्रतीक है।

 

Exit mobile version