एक तेज़ गेंदबाज मिशेल स्टार्क का बैटिंग औसत 2019 से विराट कोहली से भी अधिक है

ये अच्छी बात नहीं है कोहली के लिए!

बल्लेबाजी औसत

भारतीय क्रिकेट टेस्ट टीम के कप्तान विराट कोहली एक बार फिर अपने क्रिकेट करियर में सबसे खराब दौर से गुजर रहे हैं। विराट के लिए उनका करियर पिछले दो सालों से चुनौती पूर्ण रहा है। जनवरी 2020 से उनका टेस्ट क्रिकेट में बल्लेबाजी औसत 26 है। नवंबर 2019 में बांग्लादेश के खिलाफ अपना आखिरी शतक बनाने के बाद से वो अब तक 13 टेस्ट मैच खेल चुके हैं, पर उनका बल्ला बहुत दिनों से खामोश है।

इस खामोशी से उनपर दबाव बढ़ रहा है और दक्षिण अफ्रीका की उछाल भरी परिस्थितियों में यह दबाव उनके क्रिकेट करियर में नकारात्म प्रभाव डाल रहा है। कोहली की उम्मीदें क्षीण हो रही हैं। उनकी ढलती उम्र के साथ फॉर्म और बल्लेबाजी भी ढलान पर है। दरअसल, विराट कोहली का टेस्ट क्रिकेट में प्रदर्शन इतना खराब रहा है कि उनकी तुलना ऑस्ट्रेलियाई तेज़ गेंदबाज मिशेल स्टार्क से की जा रही है। मिशेल स्टार्क का टेस्ट क्रिकेट में बल्लेबाजी औसत (38.63) कोहली की तुलना में बेहतर है।

7Cricket ने की मिशेल स्टार्क की कोहली से तुलना 

ऑस्ट्रेलिया के तेज़ गेंदबाज मिशेल स्टार्क का पिछले सालों में बल्लेबाजी में शानदार प्रदर्शन रहा है। उन्होंने टीम में रहकर एक ऑल राउंडर की भूमिका भी अदा की है। 2019 की शुरुआत से ऑस्ट्रेलियाई तेज़ गेंदबाज मिशेल स्टार्क का टेस्ट बल्लेबाजी औसत 38.63 है जबकि कोहली का औसत 37.17 है। पिछले कुछ वर्षों में टेस्ट मैचों में अपने खराब प्रदर्शन के लिए भारत के टेस्ट कप्तान की आलोचना की गई है। लेकिन नेटिज़न्स ने ऑस्ट्रेलियाई ब्रॉडकास्टर को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि मिशेल स्टार्क और कोहली की तुलना करना अनुचित है। वहीं, कुछ ने इसे ‘बकवास तुलना’ भी कहा है।

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ऑस्ट्रेलियाई चैनल ‘7Cricket ‘ द्वारा दोनों खिलाड़ियों की फोटोवाली एक ट्वीट साझा करते 2019 से उनके टेस्ट बल्लेबाजी औसतों की तुलना की गई है। ऑस्ट्रेलिया के तेज़ गेंदबाज मिशेल ने 5 मैचों की एशेज टेस्ट सीरीज के चौथे टेस्ट मैच के दूसरे दिन बीते गुरुवार को महज 60 गेंदों में 34 रन की पारी खेली। स्टार्क के 34 और उस्मान ख्वाजा के 134 रनों की मदद से ऑस्ट्रेलिया ने चौथे टेस्ट मैच के दूसरे दिन स्कोर बोर्ड पर 416 रन बनाकर अपनी पारी घोषित कर दी । वहीं, ऑस्ट्रेलिया के शुरुआती बल्लेबाज स्टीव स्मिथ ने 67 रनों का योगदान दिया। जब ऑस्ट्रेलिया ने अपनी पारी घोषित की और दूसरे दिन इंग्लैंड को बल्लेबाजी के लिए आमंत्रित किया तब ट्विटर पर भारतीय कप्तान विराट कोहली के बल्लेबाजी औसत की तुलना ऑस्ट्रेलियाई तेज़ गेंदबाज मिशेल स्टार्क के साथ की जाने लगी।

पूर्व भारतीय क्रिकेटर ने तुलना पर तसा कंज 

हालांकि, भारत के पूर्व सलामी बल्लेबाज वसीम जाफर ने इस ऑस्ट्रेलियन ब्रॉडकास्टर के तंज का माकूल जवाब देते हुए जवाबी ट्वीट कर लिखा, “वनडे करियर (बल्लेबाजी औसत) नवदीप सैनी: 53.50, स्टीव स्मिथ: 43.34। अगर आंकड़ों के हिसाब से देखा जाए तो यह सच भी है, सैनी के पास ऑस्ट्रेलिया के स्टार बल्लेबाज की तुलना में अधिक बल्लेबाजी औसत है। सैनी ने पांच वनडे पारियों में न्यूजीलैंड के खिलाफ 45 के उच्चतम स्कोर के साथ 107 रन बनाए हैं। सैनी तीन बार नॉट आउट रहे हैं, जिससे उनका औसत 50 से अधिक हो गया है। दूसरी ओर, स्मिथ ने 128 एकदिवसीय मैचों में 4300 से अधिक रन बनाए हैं पर औसत 43.34 का है।” मूलरूप से वसीम जाफर क्रिकेट के कुछ मज़ेदार और दिलचस्प आँकड़े प्रस्तुत करते हैं।

बता दें कि अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में अधिकांश बल्लेबाजों का औसत 20 से 40 के बीच में होता है। वहीं, टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में सर्वाधिक बल्लेबाजी औसत ऑस्ट्रेलिया के सर डोनाल्ड ब्रैडमैन का है। एक बल्लेबाज का करियर औसत उसके द्वारा खेले कुल पारियों के आधार पर तय किया जाता है। 50 से ऊपर औसत वाले बल्लेबाज को क्रिकेट के असाधारण या महान बल्लेबाज की श्रेणी में रखा जाता है। अगर बात करें गेंदबाजी औसत की तो एक गेंदबाज द्वारा दिए कुल रनों को उसके द्वारा अर्जित कुल विकेटों से भाग करके निर्धारित किया जाता है।

ये तुलना अपमानजनक है

ऐसे में, यह बात सच है कि कोहली का प्रदर्शन विगत दो सालों से अत्यंत खराब रहा है। उनके खराब फॉर्म और कप्तानी के कारण टीम पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभाव ने ना सिर्फ वनडे और टी-20 टीम की कप्तानी से बेदखल किया गया बल्कि उन्हेंं अपने फॉर्म को सुधारने का मौका भी दिया गया है। आगे भी अगर उनका फॉर्म इसी तरह खराब रहा तो उन्हें टीम से बाहर का रास्ता भी दिखाया जा सकता है।

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वहीं, ये बात एक स्थापित सत्य है कि कोहली भारतीय क्रिकेट टीम के महानतम बल्लेबाजों में से एक है। खराब फॉर्म के लिए उनकी आलोचना होनी चाहिए लेकिन भारत अपने श्रेष्ठतम बल्लेबाज का अपमान नहीं सहेगा। यह कहना उचित होगा कि स्टार्क से उनकी तुलना भारतीय क्रिकेट के इस दीप्तिमान सूरज का अपमान है।

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