Bigg Boss का 15वां सीजन चल रहा है। दो सप्ताह बाद इसका फ़िनाले है और इस ‘रियलिटी शो’ के दर्शक अभी से ही प्रतियोगियों की जीत को लेकर भावुक हो रहे हैं! भारतीय समाज में जब से TV आया है तब से सीरियल का बोलबाला रहा है और फिर जब लोग सीरियल से बोर हुए तो ‘रियलिटी शो’ का प्रचालन आरंभ हुआ। आज भी लोगों को यही लगता है कि ये शो अपने नाम के अनुरूप ‘रियल’ यानी ‘वास्तविक’ होते हैं।
हालांकि, जो कोई भी रियलिटी शो देखता है, उसके लिए हमेशा मन में कहीं न कहीं यह सवाल अवश्य होता है कि क्या हम जो देख रहे हैं, वह वास्तविक है? किसी की एक बात पर आंसू बहाने वाले ये प्रतियोगी भावुक हो कर जनता से सहानुभूति पाने का प्रयास करते रहते हैं। इनके आंसू घड़ियाली होते हैं या समय की मांग इस पर हमेशा संदेह बना रहता है। इस शक के बावजूद लोग इसे देखते हैं और ऐसे शो को TRP देते हैं।
रियलिटी शो में ‘रियलिटी’ के अलावा सब कुछ है
इसमें कोई संदेह ही नहीं है कि रियलिटी शो स्क्रिप्टेड होते हैं, TV सीरियल से भी अधिक। TV सीरियल में तो अभिनेता और अभिनेत्री अभिनय करते हैं जबकि रियलिटी शो पर तो यह कहा जाता है कि घटनाएँ रियल टाइम में घटित हो रही हैं, जहां प्रतियोगियों में अभिनय ना के बराबर दिखता है। हालांकि, यह बस लोगों को बेवकूफ बनाने का एक जरिया है, जिससे लोग ऐसे शो को देख कर सच मानने लगें और इनकी TRP बढ़ाती रहे। रोने-सिसकने की कहानियां हो या रोमांटिक कोण या फिर मंच पर प्रतिद्वंद्विता, सब कुछ बैकस्टेज पर पहले से ही निर्धारित हो जाता है। वहीं, निर्माता पैसे छापने के लिए ही इन कहानियों को बनाते हैं।
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आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि भारतीय टेलीविजन पर सबसे लोकप्रिय रियलिटी शो जैसे कौन बनेगा करोड़पति पर भी कभी न कभी कहानियों को पकाने और चीजों का मंचन करने का आरोप लग चुका है। कौन बनेगा करोड़पति से लेकर इंडियन आइडल तक, हर लोकप्रिय रियलिटी शो को झूठी कहानी और घड़ियाली आंसू बहाने के लिए जाना जाता है। कई बार ऐसी रिपोर्ट्स सामने आई हैं, जिससे यह स्पष्ट हो जाता है कि रियलिटी शो में कुछ भी रियल नहीं होता है।
MTV Roadies और Splitsvilla
रिपोर्ट्स के मुताबिक, MTV Roadies के प्रतियोगियों को एक कॉन्ट्रैक्ट साइन करने के लिए कहा जाता है, जिसमें कहा गया है कि वे बैकस्टेज या प्रोडक्शन सीक्रेट्स शेयर नहीं कर सकते नहीं तो उन्हें शो बनाने वालों को 10 लाख रुपये देने होंगे। अब आप इसी से समझ सकते हैं कि आखिर ऐसा क्या होता है, जिसे प्रतियोगियों से छुपाने की आवश्यकता होती है?
इसका स्पष्ट अर्थ यही है कि दाल में कुछ काला है। इसी रिपोर्ट में पलक नाम की एक प्रतियोगी ने बताया था कि शो स्क्रिप्टेड होता है और लोग किसी प्रतियोगी को कितना पसंद कर रहे हैं, इसके आधार पर उन्हें एलिमिनेट किया जाता है। इसी को ध्यान में रखते हुए वाइल्ड कार्ड एंट्री भी की जाती है। Splitsvilla के एक पूर्व प्रतियोगी ने कहा कि “शो स्क्रिप्टेड नहीं है, लेकिन इसमें धांधली है।” उन्होंने कहा कि “लोग अधिक स्क्रीन-टाइम पाने के लिए नकली काम करते हैं।” वहीं, रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि शो के निर्माता कभी-कभी प्रतियोगियों से TRP पाने के लिए कुछ चीजें करने के लिए कहते हैं।
एक अन्य उदाहरण के अनुसार, इंडियन आइडल पर एक प्रतियोगी ने खुलासा किया कि कैसे प्रोडक्शन टीम लोगों को चुनती है और उन्हें कैमरे के लिए स्क्रिप्टेड बिट्स सुनाती है। इतना ही नहीं, उन्होंने बताया कि वे लोगों को बेतरतीब ढंग से गवाते हैं और उन्हें जजों के सामने भेजा जाता है ताकि लोगों को हंसी आए। Bigg Boss के बारे में कुछ भी वास्तविक नहीं है। TRP चार्ट को बढ़ावा देने के लिए झगड़े और प्रेम कहानियां पूर्व नियोजित होती हैं। साथ ही, यदि कोई प्रतियोगी TRP लाने में सक्षम नहीं है, तो उसकी लोकप्रियता की परवाह किए बिना उसे शो से बाहर कर दिया जाता है। Splitsvilla पर सभी प्रेम कहानियां, ब्रेकअप, झगड़े और पैचअप नकली होते हैं।
TRP का खेल क्या-क्या करवाएगा
वहीं, बॉलीवुड अभिनेत्री सान्या मल्होत्रा ने Son of Abish पर खुलासा किया था कि उन्हें एक लोकप्रिय डांस रियलिटी शो (माना जाता है कि डांस इंडिया डांस) से हटा दिया गया था क्योंकि उनके पास लोगों से सहानुभूति बटोरने वाली और लोगों को भावुक करने वाली कहानी नहीं थी। उनके अनुसार, शो ने केवल उन लोगों का समर्थन किया जो अपनी पारिवारिक पृष्ठभूमि के बारे में झूठ बोल रहे हैं या जिनका अपने माता-पिता के साथ कुछ विवाद रहा है। यही नहीं दिग्गज सरोज खान की बेटी सुकैना ने E-Times TV को बताया था कि उनकी मां ने कुछ रियलिटी शो को जज करने के बाद उन्हें स्वीकार करना बंद कर दिया था।
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सुकैना कहती हैं, ”वे(शो के निर्माता) चाहते थे कि मेरी मां कुछ प्रतियोगियों का पक्ष लें क्योंकि वे प्रतियोगी उन्हें पैसे दे रहे थे। मॉम, जो हमेशा एक प्रखर व्यक्ति रही और अपने आस-पास होने वाले गलत चीजों के खिलाफ आवाज उठती थीं, उन्होंने स्पष्ट कह दिया कि वह इस तरह के पक्षपाती प्रोजेक्ट करने के बजाय अपनी नैतिकता पर कायम रहेंगी।”
इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि लोगों को भावनात्मक कहानियां सुना कर, दो लोगों के बीच झगड़ा करवा कर और प्रेम कहानियां गढ़ कर लोगों से सहानुभूति बटोरी जाती है, जिससे वे शो से जुड़े रहें और TRP बढ़ते रहे, जिससे इन शो को बनाने वालों के पास पैसों की बारिश होती रहे।