कुरैशी की बदतमीजी इस्लामाबाद पर पड़ सकती है भारी, पाकिस्तान पर भड़के सऊदी रॉयल्स

भिखारी पाकिस्तान के विदेश मंत्री का Bad Manner!

Saudi Arab

Source- TFIPOST

संवाद की शुचिता प्राणी के श्रेष्ठता की सूचक है, जानवर मुख्यतः ध्वनि के माध्यम से संवाद करते हैं। उनके ध्वनि की तीव्रता से उनकी भाव-भंगिमा और भावनाओं का पता चल जाता है। मनुष्य ध्वनि को अपनी भाषा में पिरोकर स्वयं को अभिव्यक्त करता है, इसीलिए श्रेष्ठ है। पर, श्रेष्ठतम मनुष्य अपने शारीरिक भाव-भंगिमा से भी स्वयं को अभिव्यक्त करने की शक्ति रखता है। राष्ट्रों के बीच कूटनीतिक संवाद में शारीरिक भाव-भंगिमा की अत्यंत महत्ता है। कभी-कभी तो इसे न समझ पाने के कारण अर्थ का अनर्थ हो सकता है।

अब पाकिस्तान को ही ले लीजिये। जो देश प्रेम के दो बोल न समझ सकता है और न ही बोल सकता है, वो शारीरिक भाव-भंगिमा की महत्ता और कूटनीतिक संवाद को क्या ही समझेगा। इसी नासमझी ने पाकिसतान को मुश्किल में डाल दिया है। हुआ कुछ यूं कि पाकिस्तानी विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी और सऊदी अरब के राजदूत नवाफ बिन सईद अल-मलिकी के बीच द्विपक्षीय संबंधों को लेकर एक समीक्षा बैठक हुई। पर, इस बैठक में पाकिस्तानी विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी को बैठने ही नहीं आया। जिस पर सऊदी अरब शासन और सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं ने पाकिस्तानी विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी को उनके ‘Bad Manner’ के लिए खूब खरी-खोटी सुनाई है।

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पाक के विदेश मंत्री का Bad Manner

दरअसल, सऊदी अरब के राजदूत के साथ हुई बैठक में कुरैशी को एक पैर के ऊपर दूसरा पैर करके बैठे हुए देखा जा सकता है, जिसमें उनके जूते सऊदी राजदूत के मुंह की ओर मुड़े हुए हैं। अपने मेहमान के साथ बैठने की इस अवस्था को सऊदी लोगों द्वारा आक्रामक और अपमान माना जाता है। लेकिन सऊदी अरब के लोगों ने इस मुलाकात को अलग नजरिए से देखा और पाक को खूब खरी-खोटी सुनाई।

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एक ट्विटर यूजर ने ट्वीट करते हुए कहा, “अगर पाकिस्तानी विदेश मंत्री के सऊदी राजदूत के समक्ष बैठने का अगर कोई मजबूत चिकित्सीय कारण (चिकित्सा) नहीं है, तो यह कूटनीतिक प्रोटोकॉल की अवमानना, मूर्खता और अज्ञानता की पराकाष्ठा है। सच कहूं तो, अगर मैं सऊदी राजदूत होता, तो मैं उठकर चला जाता।”

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एक अन्य सोशल मीडिया यूजर ने लिखा कि “विदेश मंत्री का राजदूत के प्रति असभ्य, विचारहीन और गैर-राजनयिक व्यवहार। यह प्रशंसनीय है कि राजदूत इस अपमान के बावजूद भी कैसे चुप रहें!” वहीं, कई लोगों ने कुरैशी के अपमानजनक रवैये की तुलना सऊदी के राजदूत के विनम्र व्यवहार से किया।

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सऊदी अरब के सोशल मीडिया यूजर्स का कहना है कि पाकिस्तान की अवाम सऊदी अरब से भीख मांगकर खा रही है और पाकिस्तान के विदेश मंत्री को ‘भीख देने वाले’ के सामने कैसे बैठना चाहिए, ये भी नहीं पता है। तस्वीर में पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी को पैर पर पैर चढ़ाकर सऊदी राजदूत के सामने बैठा देखा जा सकता है। सऊदी अरब के लोग पाकिस्तानी विदेश मंत्री के इस व्यवहार को ‘आक्रामक’ और ‘अपमानजनक’ बता रहे हैं। सऊदी के सोशल मीडिया यूजर्स का कहना है कि जब दो डिप्लोमेट मिलते हैं, तो उनके व्यवहार में शालीनता दिखनी चाहिए, न कि अकड़।

पाकिस्तान को भारी पड़ सकती है कुरैशी की बदतमीजी

बताते चलें कि सऊदी दूतावास ने पाकिस्तान के विदेशी मंत्री के साथ हुई इस बैठक का एक ज़ूम-इन वीडियो पोस्ट किया, जिसके बाद मामले ने तूल पकड़ लिया। पाकिस्तान और सऊदी अरब के गहरे राजनयिक और सैन्य संबंध हैं, लेकिन हाल के वर्षों में दोनों देशों के संबंध तनावपूर्ण रहे हैं, क्योंकि इस्लामाबाद ने कथित तौर पर यमन युद्ध में सैनिक भेजने के सऊदी अरब के अनुरोध को दरकिनार कर दिया था। भारत के साथ सबसे हालिया कश्मीर संकट के दौरान रियाद द्वारा समर्थन से इनकार करने से भी पाकिस्तान निराश था।

लेकिन दूसरी ओर पाकिस्तान ने सऊदी से काफी ज्यादा कर्ज ले रखा है और ऐसे में सऊदी के राजदूत को नीचा दिखाने का पाकिस्तानी विदेश मंत्री का प्रयास इस्लामाबाद में नई संकट पैदा कर सकता है। गौरतलब है कि सऊदी अरब के सऊदी फंड फॉर डेवलपमेंट (SFD) और पाकिस्तान के केंद्रीय बैंक के बीच 4.2 बिलियन डॉलर के सौदे पर हस्ताक्षर हुआ है। जिसके तहत रियाद 3 बिलियन डॉलर SAFE DEPOSIT में जमा करेगा और 1.2 बिलियन डॉलर की तेल आपूर्ति प्रदान करेगा।

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