Worst bollywood Remakes, जिनकी न किसी ने मांग की, न उन्हे बनाने की आवश्यकता थी

काश, एक टाइम मशीन होती अपने पास

Worst bollywood Remakes

Worst bollywood Remakes: इस बात से कोई भी अनभिज्ञ नहीं कि लाख PR के बाद भी “किसी का भाई किसी की जान” बॉक्स ऑफिस पर औंधे मुंह गिरी। इस फिल्म ने घरेलू स्तर पर 110 करोड़ भी नहीं कमाए, और फ्लॉप हुई वो अलग। परंतु कम लोग जानते हैं कि ये उस क्लब का भी हिस्सा है, जिसके बारे में कम लोगों को पता है : ऐसे Worst bollywood Remakes, जिन्हे देखते ही यह प्रश्न उठे, “पूछा किसी ने? पूछा किसी ने? किसी ने नहीं पूछा, खुद ही बना रहे हैं!”

इस लेख में जानिये उन 5 अद्भुत रीमेक (Worst bollywood Remakes) को , जिनकी किसी ने मांग नहीं की, परंतु उन्हे बनाकर कुछ लोगों ने नर्क के लिए अपना प्लैटिनम पैकेज निश्चित करा लिया है।

1) बच्चन पांडे:

2022 में बॉलीवुड में मानो अकाल सा पड़ गया। रीमेक तो थोक के भाव बेचे जा रहे थे। इन्ही में से एक था “बच्चन पांडे”, जिसका मूल स्क्रिप्ट आज “किसी का भाई किसी की जान” के रूप में सामने आया है।

जी हाँ, पहले बच्चन पांडे “वीरम” पे आधारित थी, लेकिन चूंकि साजिद नाडियादवाला ने “जिगरठण्डा” की स्क्रिप्ट भी हथिया ली थी, इसलिए “बच्चन पांडे” को उसी स्क्रिप्ट के साथ बनाया गया। अब ये सोचिए कि हमारे इंडस्ट्री का स्टैंडर्ड क्या है, जब “द कश्मीर फाइल्स”, “RRR” और “KGF” जैसी फिल्म के सामने “बच्चन पांडे” प्रदर्शित हुई। आगे क्या हुआ, इसके लिए विशेष शोध की आवश्यकता नहीं।

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2) कूली नंबर 1:

एक होते हैं वे, जो रीमेक से भी धांसू फिल्म बना दे, दूसरे होते हैं वे जो रीमेक के विरासत को अस्त व्यस्त कर देता है। परंतु डेविड धवन अलग मिट्टी के बने हुए हैं। ये अपनी ही क्लासिक का पोस्टमॉर्टम करने वाले एक्सपर्ट है।

वो कैसे? कुछ नहीं, बस एमेजॉन प्राइम पे जाइए, और कूली नंबर 1 देखिए। ये फिल्म 2020 में OTT पे प्रदर्शित हुई, लेकिन ये इतनी बेकार थी कि लोगों ने इसे उक्त प्लेटफ़ॉर्म से हटाने की भी याचना की थी। ये फिल्म इतनी बेकार थी कि एक बार को “कंचना” की कबाड़ रीमेक “लक्ष्मी” भी अलौकिक लगे।

3) हिम्मतवाला:

देखो मित्रों, यह बात नोट कर लें कि अगर इस उद्योग में कोई पुराने माल को भी अनोखा बनाकर बेच सकता है, तो वो कला बिरले ही अभिनेताओं के पास है, और उन्ही में से एक है अजय देवगन।

परंतु “दृश्यम” की अभूतपूर्व सफलता से पूर्व अजय देवगन को जबरदस्त झटका लगा था, जब इन्होंने “हिम्मतवाला” की थी। ये 1983 के क्लासिक पर आधारित थी, जिसमें जीतेंद्र और श्रीदेवी मुख्य भूमिका, और इसमें साजिद खान ने 2013 में अपना अनोखा ट्विस्ट दिया था।
साजिद खान ने कहा था कि ये फिल्म अजय देवगन के लिए अभूतपूर्व होंगी। बात तो सही कही, इतनी अभूतपूर्व थी कि इसके बाद अजय ने कभी भी साजिद खान के साथ फिर काम नहीं किया।

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4) कर्ज़:

2008 एक भयानक आर्थिक मंदी के लिए जाना जाता है। परंतु कम लोगों को ज्ञात है कि उस वर्ष हमारे भारतीय सिनेमा, विशेषकर बॉलीवुड में एक अलग प्रकार की मंदी पड़ी थी।

अगर आप आज टी सीरीज़ के रीमेक प्रवृत्ति से चिढ़ते हैं, तो शायद आपको इस ओर 2008 में ही ध्यान देना था। इन्होंने अपनी गलतियों ने न सीखते हुए 1980 के बहुचर्चित क्लासिक “कर्ज़” का रीमेक बनाने का निर्णय किया। वहाँ तो फिर भी ठीक था, पर चुना किसे? किसे चुना, सोचिए? लॉर्ड हिमेश रेशमिया!
अब आगे क्या ही कहें.

5) राम गोपाल वर्मा की आग:

परंतु वो गलती थी कौन सी, जिससे टी सीरीज़ ने कोई सीख नहीं ली? 2005 में राम गोपाल वर्मा ने “सरकार” की सफलता के बाद “शोले” को अपना ट्विस्ट देने का निर्णय किया।

न किसी ने पूछा, न किसी का समर्थन इन्हे मिला, परंतु लग गए राम गोपाल वर्मा और टी सीरीज़ इस फिल्म को बनाने में। इसके बाद भारतीय सिनेमा, विशेषकर बॉलीवुड, पहले जैसा नहीं रहा, और इस फिल्म से उबरने में कइयों को वर्षों लग गए!

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