ज़ाकिर नाइक ने अनाथ लड़कियों को बताया ‘ना-महरम’, नहीं दिया सम्मान: पाकिस्तान में ही हो रही आलोचना

जानिए इस शब्द का मतलब

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मंच से चले गए ज़ाकिर नाइक, अनाथ लड़कियों से नहीं किया दुआ-सलाम

भगोड़े इस्लामिक उपदेशक जाकिर नाइक को पाकिस्तान में इस्लाम पर उपदेश देने कि लिए बुलाया गया था, लेकिन अपनी एक हरकत की वजह से उसे तीखी आलोचना का सामना करना पड़ रहा है। दरअसल, बुधवार को पाकिस्तान स्वीट होम फाउंडेशन द्वारा अनाथालय में आयोजित किए गए सम्मान देने से जुड़े एक कार्यक्रम के लिए जाकिर नाइक को अतिथि के तौर पर बुलाया गया था लेकिन उसने इन लड़कियों को कथित तौर पर ‘ना-मरहम’ बताते हुए सम्मान देने से इनकार कर दिया।

नाइक के इस रूख को लेकर पाकिस्तान के लोग उसकी तीखी आलोचना कर रहे हैं और इस वाकये से जुड़े कई वीडियो सोशल मीडिया पर भी वायरल हो रहे हैं। BBC के मुताबिक, इस कार्यक्रम के दौरान अनाउंसर ने जब इन लड़कियों को बेटी कह कर संबोधित किया तो नाइक का मानना था कि इन्हें आप बेटी नहीं कह सकते हैं और ना ही इन्हें छू सकते सकते हैं क्योंकि ये लड़कियां ‘ना-महरम’ हैं।

इस्लाम में क्या होता है ‘ना-महरम’

इस्लाम में ‘ना-महरम’ का इस्तेमाल उन अविवाहित लड़कियों के लिए किया जाता है जिनसे खून का सीधा रिश्ता नहीं होता है जबकि ‘महरम’ वो होते हैं जिनसे ख़ून का रिश्ता होता है।

क्या कह रहे हैं पाकिस्तान के लोग

पाकिस्तान में जाकिर नाइक के इस व्यवहार को घृणित, पाखंडी और महिलाओं को नीचा दिखाने वाला बताया जा रहा है। पाकिस्तान के एक पत्रकार उस्मान चौधरी ने इसका घटना का एक वीडियो शेयर कर लिखा है, “जाकिर नाइक को अनाथ बच्चियों को मंच पर सम्मानित करने के लिए बुलाया गया था लेकिन वह मंच से बिना सम्मान दिए चला गया।”

एक अन्य वरिष्ठ पत्रकार अब्बास नजीर ने कहा कि जाकिर नाइक चार सप्ताह तक पाकिस्तान के लोगों के दिमागों को प्रदूषित करेगा। वही, पाकिस्तान की वकील सरीहा बेनजीर ने इस घटना को लेकर कहा है कि जाकिर का महिलाओं के प्रति रुख घृणित, पाखंड से भरा और औरतों को नीचा दिखाने वाला है और यह छोटी बच्चियों के लिए शर्मनाक रहा होगा। एक अन्य ‘X’ यूजर ने इसे लेकर कहा, “ऐसी मानसिकताएं हमारी लड़कियों की प्रगति में सबसे बड़ी बाधा बनी हुई हैं।”

पाकिस्तानी मीडिया ने घटना पर दी सफाई

इस मामले को लेकर पाकिस्तानी मीडिया में एक पत्रकार के हवाले से सफाई दी है। लड़कियों को सम्मान देने से मना करने को लेकर दावा किया गया है कि जो समय जाकिर ने अनाथालय के कार्यक्रम के लिए दिया था वो पूरा हो गया था और उसे एक अन्य कार्यक्रम के लिए जाना था। आयोजकों ने जब जाकिर को सम्मान देने के लिए कहा तो उसने यह कहते हुए मना कर दिया कि उसे दूसरी जगह जाना है। हालांकि, इस घटना को लेकर आधिकारिक तौर पर कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया गया है।

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