जेल में गैंगरेप, मन नहीं भरा तो लगा दी आग: जल कर मर गईं सैकड़ों महिलाएं….दास्तां सुन कांप जाएगी रूह

अफ्रीका कांगो जेल रेप

महिलाओं की लाशें समेटते स्वास्थ्यकर्मी (फोटो साभार: Wion)

अफ्रीकी देश कांगों से दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। रवांडा समर्थित M23 विद्रोहियों ने कांगो के कुछ शहरों में कब्जा कर लिया है और लगातार हिंसक घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं। रवांडा समर्थित विद्रोहियों ने महिलाओं को भी निशाना बनाया है। विद्रोहियों ने गोमा शहर में स्थित एक जेल पर हमला कर दिया और वहां बंद सैकड़ों महिला कैदियों के साथ रेप की घटना को अंजाम दिया। कांगों के लोगों के खून के प्यासे विद्रोही यही नहीं रुके और रेप के बाद जेल में आग लगा दी। इससे महिलाएं जल कर मर गईं। बीते एक सप्ताह में कांगो में एक हजार से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, यह घटना कांगो डेमोक्रेटिक रिपब्लिक के गोमा शहर की है। इस घटना को लेकर संयुक्त राष्ट्र शांति सेना के डिप्टी हेड विवियन वान डे पेरे ने कहा है…

इस घटना में कई हजार पुरुष जेल से भागने में सफल रहे। लेकिन जिस क्षेत्र में में महिलाएं थीं, आग लगा दी गई। चूंकि, M23 विद्रोहियों द्वारा कब्जा किए गए एरिया में संयुक्त राष्ट्र शांति सैनिकों की एंट्री करने पर बैन लगा हुआ है, इसलिए अभी स्थिति स्पष्ट नहीं है। लेकिन सबूतों से पता चलता है कि जेल में महिलाओं के साथ क्रूरता की सारी हदें पार कर दी गईं हैं।

वान डे पेरे ने आगे कहा…

जेल से करीब 4000 कैदी भागने में सफल रहे। उस जेल में सैकड़ों महिलाएं कैद थीं। उन सभी के साथ बलात्कार किया गया और फिर वहां आग लगा दी  गई। इससे सभी की जल कर मौत हो गई।

इस घटना का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। वीडियो में जेल से धुआं निकलता देखा जा सकता है। साथ ही सैकड़ों लोग बाहर भागते हुए नजर आ रहे हैं। इसके अलावा गोलियां चलने की आवाज भी सुनी जा सकती है। यह घटना 27 जनवरी, 2025 की है। लेकिन यह खबर अब सामने आई है।

कांगो में क्यों हो रही हिंसा?

अफ्रीकी देश कांगो खनिज संसाधनों से भरपूर हैं। कांगो के कई शहर सोने, कोल्टन और टिन की खदानों के लिए जाने जाते हैं। इस खजाने पर लंबे समय से पड़ोसी देशों की निगाहें हैं। ऐसा कहा जाता है कि पड़ोसी देश इस खजाने पर कब्जा करने के लिए देश के अंदर बैठे लोगों को भड़काते हैं और उनके जरिए इन खदानों पर कब्जा करना चाहते हैं। M23 विद्रोही गुट ऐसा ही एक समूह है जिसे रवांडा का समर्थन प्राप्त है।

उल्लेखनीय है कि, इससे पहले भी इस इलाके पर कंट्रोल को लेकर कई विद्रोह हो चुके हैं। साल 1994, 1996-1997 और 1998-2003 में हुई जंग में गोमा के लाखों लोग मारे गए थे। कांगों बीते 35 सालों से संघर्ष कर रहा है। इसका सबसे बड़ा उदाहरण, साल 1990 का है, तब संघर्ष में लाखों लोगों की मौत हुई थी, जिसे अफ्रीका के विश्व युद्ध के नाम से भी जाना जाता है।

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