मोहम्मद शमसुद्दीन ने लिव-इन पार्टनर आशा की बेरहमी से की हत्या, कूड़े के ट्रक में फेंका शव

झगड़े के बाद हत्या कर शव फेंका, आरोपी लिव-इन पार्टनर गिरफ्तार

बेंगलुरु: कूड़े के ट्रक से मिला महिला का शव, लिव-इन पार्टनर मोहम्मद शमसुद्दीन गिरफ्तार

बेंगलुरु की सड़कों पर उस समय सनसनी फैल गई जब नगर निगम की ओर से कचरा उठाने के लिए लगाए गए एक ट्रक में एक बड़े पॉलीथीन बैग से तेज़ दुर्गंध आने लगी। कर्मचारियों को जब बदबू असहनीय लगी, तो उन्होंने बैग खोलकर देखा और जो दृश्य सामने आया, उसने सभी के होश उड़ा दिए। बैग के भीतर एक महिला का शव था, जिसके हाथ बंधे हुए थे। तुरंत पुलिस को सूचना दी गई और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया। इस भयावह खोज के साथ ही एक हत्या की कड़ी खुलने लगी, जिसकी जड़ें लिव-इन रिलेशनशिप में छिपी थीं।

लिव-इन पार्टनर निकला कातिल

जांच के दौरान पुलिस को शव की पहचान करने में कुछ समय लगा, लेकिन जल्द ही यह स्पष्ट हो गया कि मृतका का नाम आशा था, जो मोहम्मद शमसुद्दीन नामक व्यक्ति के साथ पिछले डेढ़ साल से लिव-इन रिलेशनशिप में रह रही थी। दोनों बेंगलुरु के हुलिमावु इलाके की एक सोसायटी में किराए पर रहते थे और अपने पड़ोसियों को पति-पत्नी बताकर परिचय देते थे। इस दंपति जैसी दिखने वाली जोड़ी की सच्चाई तब सामने आई जब पुलिस ने सोसायटी और आसपास के सीसीटीवी फुटेज खंगालने शुरू किए। मोहम्मद शमसुद्दीन मूल रूप से असम का निवासी है और पहले से शादीशुदा है। उसके असम में दो बच्चे और पत्नी हैं। आशा भी शादीशुदा थी लेकिन उसके पति की मृत्यु हो चुकी थी। वह एक घरेलू सहायक के रूप में अर्बन कंपनी से जुड़ी थी और बेंगलुरु में अपने बच्चों के साथ रह रही थी।

CCTV बना सबसे बड़ा गवाह

इस रिश्ते की परतें तब खुलीं जब पुलिस ने हत्या के पीछे की वजह जानने की कोशिश की। डिप्टी कमिश्नर ऑफ पुलिस (बेंगलुरु साउथ) लोकेश जगलसर ने मीडिया को बताया कि दोनों के बीच किसी बात को लेकर तीखी बहस हुई थी, जो हाथापाई में बदल गई। इसी दौरान शमसुद्दीन ने आशा का गला दबा दिया, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। घबराहट में वह शव को छिपाने की योजना बनाने लगा और कुछ ही घंटों के भीतर उसने एक खौफनाक फैसला किया। उसने शव को पॉलीथीन में लपेटा, बाइक पर रखा और शहर में कचरा इकट्ठा करने वाले एक ट्रक में उसे फेंक आया। लेकिन उसकी यह करतूत सीसीटीवी कैमरों में कैद हो गई, जिससे पुलिस को जांच में निर्णायक बढ़त मिली।

फुटेज की मदद से पुलिस शमसुद्दीन तक पहुंच गई और उसे गिरफ्तार कर लिया गया। पूछताछ में उसने अपना जुर्म कबूल कर लिया है। उसके अनुसार वह आशा से रिश्ता खत्म करना चाहता था, लेकिन आशा इसके लिए तैयार नहीं थी। इसी बात को लेकर दोनों में अक्सर झगड़े होते थे। हत्या के बाद सबूत छिपाने की उसकी कोशिशें नाकाम रहीं और अब उसके खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कर लिया गया है। जल्द ही उसे अदालत में पेश किया जाएगा। इस घटना ने न केवल लिव-इन रिलेशनशिप की जटिलता को सामने लाया है, बल्कि यह भी दिखा दिया है कि गुस्से और घुटन में किए गए एक फैसले का अंजाम कितना भयानक हो सकता है।

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