राजा रघुवंशी हत्याकांड: सोनम रघुवंशी और राज कुशवाहा ने पहली बार मानी अपने रिश्ते की बात

राजा के परिवार ने सोनम पर नार्को-अनालिसिस टेस्ट की मांग की थी लेकिन पुलिस अधिकारियों ने इसे अनावश्यक बताकर खारिज कर दिया है

राज कुशवाहा और सोनम रघुवंशी (चित्र: सोशल मीडिया)

राज कुशवाहा और सोनम रघुवंशी (चित्र: सोशल मीडिया)

मेघालय में हनीमून के दौरान हुई राजा रघुवंशी की रहस्यमय मौत की जांच अब एक अहम मोड़ पर पहुंच गई है। पुलिस ने पुष्टि की है कि राजा की पत्नी सोनम रघुवंशी और उनके कथित प्रेमी राज कुशवाह ने अपने आपसी प्रेम संबंध को स्वीकार कर लिया है। ईस्ट खासी हिल्स के पुलिस अधीक्षक विवेक सियम के अनुसार, दोनों ने राजा की हत्या में अपनी भूमिका भी कबूल की है। यह मामला अब विशेष जांच दल (SIT) को सौंपा गया है, जिसने साफ किया है कि नार्को टेस्ट की ज़रूरत नहीं है क्योंकि अब तक की जांच में पर्याप्त सबूत जुटाए जा चुके हैं।

पुलिस ने नार्को टेस्ट की जरूरत से किया इनकार

राजा के परिवार ने सोनम रघुवंशी पर नार्को-अनालिसिस टेस्ट की मांग की थी लेकिन पुलिस अधिकारियों ने इसे अनावश्यक बताकर खारिज कर दिया है। विवेक सियम ने कहा, “उन्होंने पहले ही अपराध को स्वीकार कर लिया है। हमने अपराध स्थल का पुनर्निर्माण किया है और भौतिक साक्ष्य एकत्र किए हैं। नार्को टेस्ट की कोई जरूरत नहीं है।”

हत्या का मकसद

पुलिस का मानना है कि राजा की हत्या का मकसद सोनम और राज को अपने रिश्ते को बिना किसी हस्तक्षेप के जारी रखने की अनुमति देना था, जिसमें साझा वित्तीय या व्यावसायिक हितों की संभावना भी शामिल हो सकती है। एसपी सियम ने कहा, “वे अपने व्यक्तिगत रिश्ते और सामाजिक दबावों के कारण राजा को रास्ते से हटाना चाहते थे। यही प्रेरक कारक लगता है।

जांच की दिशा

अब जांचकर्ता इंदौर के व्यवसायी लोकेंद्र तोमर की जांच कर रहे हैं, जिनके फ्लैट में सोनम अपराध के बाद रुकी थी। पुलिस को संदेह है कि सोनम ने एक बैग में महत्वपूर्ण सबूत छिपाने या नष्ट करने का प्रयास किया था, जिसमें एक देशी पिस्तौल, राजा का सोने का गहना और लगभग 5 लाख रुपये नकद थे

और गिरफ्तारियां और अदालत में पेशी

इंदौर फ्लैट से जुड़े तीन व्यक्तियों प्रॉपर्टी डीलर सिलोम जेम्स, सुरक्षा गार्ड बलवीर और अपार्टमेंट मालिक लोकेंद्र तोमर को जल्द ही शिलांग अदालत में पेश किया जाएगा। उनसे साक्ष्य छिपाने के संबंध में आगे की पूछताछ भी की जा सकती है। पुलिस अब अपनी जांच पूरी करने के करीब है और पर्याप्त, अदालत में स्वीकार्य साक्ष्य के साथ आरोप पत्र दाखिल करने की योजना बना रही है।

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