'आतंक' के लिए खोज परिणाम

अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर देशद्रोह की दूकान खोलना कितना जायज़ है?

मानवीय गरिमा को सुनिश्चित करने के लिए अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को ज़रूरी माना गया हैं. नागरिकों के नैसर्गिक अधिकारों के रूप में उनकी व्यक्तिगत स्वतंत्रताओं को संरक्षित करना, ताकि मानव के व्यक्तित्व के सम्पूर्ण विकास हो सके और उनके ...

बिहार पुलिस और बिहार सरकार की एक और नाकामयाबी

बिहार का आतंक कनेक्शन टूटने का नाम ही नहीं ले रहा है, हर एक सप्ताह आतंकवादियो के बिहार कनेक्शन की एक नयी घटना सामने आ रही है। कुछ दिन पहले ही दिल्ली एयरपोर्ट पर बिहार के सीतामढ़ी के बाजपट्टी ...

जब पाकिस्तान में भारत का राष्ट्रवादी शेर दहाड़ा

जब अपने ही लोग आप के विरूद्ध हो जाएँ तो आप वचनों द्वारा अपनी सफाई पेश कर उनका समर्थन वापिस हाँसिल नहीं कर सकते। उसका सबसे अच्छा तरीका है अपने कर्मों द्वारा जवाब देना। कुछ बातें ऐसी होती हैं ...

बुलंदशहर बलात्कार: यही है सच उत्तर प्रदेश का

क्या हो, यदि आप के साथ एक ऐसा हादसा हो जाये, जिसके लिए आप जिम्मेदार ही नहीं हैं, पर उस हादसे से आप फिर से अपनी ज़िंदगी बेफिक्र न जी पाये? क्या हो, यदि वही हादसा आपके लिए ज़िल्लत ...

जय बिहार की जगह पाकिस्तान ज़िंदाबाद: सेक्युलरिज़्म के साईड एफेक्ट्स

जेएनयू प्रकरण के बाद शुरू हुई देशद्रोह की गूंज अब बिहार में वाया पटना मुख्यमंत्री नितीश कुमार के गृह जिले में भी पहुंच गयी है। नालंदा के बिहारशरीफ में बुधवार शाम पाकिस्तान का झंडा लहराने से इलाके में तनाव ...

लालू यादव को गिरिराज सिंह का करारा जवाब

आदरणीय लालू जी, आपकी जाति के आधार पर समाज को बांटने की राजनीति, भ्रष्टाचार के हाथों बिहार को 15 वर्षों में पूरी तरह से बर्बाद कर देने की राजनीति और आपकी गरीब एवं विकास विरोधी राजनीति से पूरा देश ...

[विडियो] जेएनयु के बाद अब पटना में भी “पाकिस्तान जिंदाबाद”

क्या जेएनयू के बाद पटना में भी देशविरोधी नारे लगाए गए? क्या राजधानी के अशोक राजपथ पर शुक्रवार अपराह्न जाकिर नाईक व असदुद्दीन ओवैसी के समर्थन में निकाले गए जुलूस में पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाए गए? ये सवाल ...

आसमान का सीना चीर के आ गए, धरती की छाती फाड़ के आ गए – मेरे बब्बर-मसूद आ गए

मित्रों, राजनीति और नौटंकी का चोली दामन का साथ है। अजी यह न हो, तो जैसे दाल में नमक नहीं, गाड़ी में पेट्रोल नहीं, या यूं कहें, राजनीति में जान नहीं। पिछले पाँच छह सालों से राजनीति ने अनुसरण ...

आखिर दारुल उलूम देवबंद ने “भारत माता की जय” बोलने के खिलाफ फतवा क्यों जारी किया?

भारत माता की जय के खिलाफ फ़तवा जारी हाल ही में दारुल उलूम देवबंद ने "भारत माता की जय ' बोलने के खिलाफ एक फतवा जारी किया था। इससे पहले विभिन्न मुस्लिम संगठनों और व्यक्तियों ने "वंदे मातरम" का ...

क्या है रे तू मीडिया?

क्या है रे तू मीडिया लोकतंत्र का चौथा स्तम्भ या लोकतंत्र के आस्तित्व पर एक कटाक्ष उपालंभ तू निर्भय है या लज्जाहीन तू स्वतंत्र है या पराधीन तू नैतिकता का तराजू है या नैतिकता का अभिनय करता है तू ...

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