ये हैं वो 5 कारण जिनकी वजह से अमित शाह को बनाया गया है देश का गृह मंत्री
गुजरात के गृह मंत्री रह चुके अमित शाह अब देश के नए गृह मंत्री पद पर आसीन हो गए हैं और उन्होंने अपना पदभार संभाल लिया है। अमित शाह को गृह मंत्री बनाए जाने के ऐलान के साथ ही ...
गुजरात के गृह मंत्री रह चुके अमित शाह अब देश के नए गृह मंत्री पद पर आसीन हो गए हैं और उन्होंने अपना पदभार संभाल लिया है। अमित शाह को गृह मंत्री बनाए जाने के ऐलान के साथ ही ...
नरेंद्र मोदी अब दोबारा देश के प्रधानमंत्री बन चुके हैं। कल राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत 58 मंत्रियों को शपथ दिलाई। पहली बार केंद्रीय कैबिनेट में शामिल होने वाले मंत्रियों में अब तक के ...
लोकसभा चुनावों में अपने दम पर 303 सीटें जीतने वाली भाजपा को संसद के निचले सदन यानि लोकसभा में तो बहुमत हासिल हो गया है, लेकिन अब उसकी नज़र संसद के ऊपरी सदन में बहुमत हासिल करने पर है। ...
लोकसभा चुनावों के नतीजों की स्थिति अब लगभग स्पष्ट हो गई है। भाजपा वर्ष 2014 के मुक़ाबले बेहतर परफ़ोर्म करते हुए 297 सीटों पर जीत हासिल कर सकती है, जिसके बाद भाजपा अकेले अपने दम पर सरकार बनाने में ...
देश की सत्ता पर 54 साल तक काबिज रहने वाली कांग्रेस, वापस सत्ता पाने के लिए इतना झटपटा रही है कि 23 मई को नतीजे आने से पहले ही उसने जोड़-तोड़ की राजनीति करना शुरू कर दिया है। कांग्रेस ...
भारत की राजनीति में परिवारवाद का हमेशा से ही बोलबाला रहा है। राजनीतिक पार्टियों के शीर्ष पदों पर पार्टी के मुखिया के परिवार वालों को ही बैठा दिया जाता है और इस बात को पूरी तरह नज़रअंदाज़ कर दिया ...
राजनीति में ना तो कोई स्थायी दोस्त होता है, और ना ही कोई स्थायी दुश्मन, इसका सबसे बड़ा उदाहरण हमें तब देखने को मिला जब एक दूसरे के धुर-विरोधी रहे अखिलेश और मायावती अपने सभी राजनीतिक मतभेदों को भुलाते ...
2019 के लोकसभा चुनाव संपन्न होने में अभी छठे और सातवें चरण का मतदान होना बाकी है और इसी बीच एक बार फिर से सर्जिकल स्ट्राइक को लेकर घमासान शुरू हो गया है। दरअसल, इस बार सर्जिकल स्ट्राइक पर ...
वैसे तो सभी रविवार ख़ास होते हैं, पर आने वाला रविवार दिल्लीवासियों के लिए कुछ विशेष रूप से महत्वपूर्ण है। क्योंकि रविवार, मई 12, सुबह 7 से शाम 6 बजे तक दिल्ली में मतदान के जरिए तय होगा कि ...
राजनीति में ना तो कोई स्थायी दोस्त होता है, और ना ही कोई स्थायी दुश्मन, इसका सबसे बड़ा उदाहरण हमें तब देखने को मिला जब एक दूसरे के धुर-विरोधी रहे अखिलेश और मायावती अपने सभी राजनीतिक मतभेदों को भुलाते ...
कभी-कभी तो लगता है कि, देश में अगर सबसे ज्यादा दुर्भाग्यशाली, लाचार और पीड़ित लोगों की लिस्ट बनाई जाए तो राहुल गांधी का नाम टॉप 10 में तो आ ही जाएगा। बेचारे जब भी प्रधानमंत्री मोदी को घेरने का ...
सौराष्ट्र में वेरावल के पास प्रभास पाटन नामक स्थान पर एक ऐसा अत्यन्त प्राचीन व ऐतिहासिक मंदिर स्थित है जो आज धर्म की जीत का सबसे बड़ा प्रतीक बनकर खड़ा है। इस मंदिर का नाम है सोमनाथ मंदिर। यह ...
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