राष्ट्रपति अमरुल्लाह सालेह: अफगानिस्तान के नए राष्ट्रपति और तालिबान के खिलाफ अंतिम उम्मीद
भागना आसान है, निभाना कठिन है। अफ़ग़ानिस्तान को पूरी दुनिया द्वारा अकेले छोड़ देने बीच अच्छी खबर यह है कि वहां अभी भी ...
भागना आसान है, निभाना कठिन है। अफ़ग़ानिस्तान को पूरी दुनिया द्वारा अकेले छोड़ देने बीच अच्छी खबर यह है कि वहां अभी भी ...
देश में कुछ ऐसी ताकतें हैं, जो कि इस्लामिक अराजकता को विस्तार देने के लिए किसी भी हद तक जा सकती हैं। उनकी ...
हाल ही में तालिबान ने अफगानिस्तान पर दो दशक के बाद पुनः आधिपत्य जमाया है। इसमें पाकिस्तान का तो योगदान रहा ही है ...
अफ़ग़ानिस्तान पर तालिबान का कब्जा हो चुका है और अमेरिका ने अफगानिस्तान से अपने सभी सैनिको को निकाल लिया है। एक तरह से ...
अफ़ग़ानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद शरणार्थी अफ़ग़ानिस्तान से बस किसी भी तरह अन्य देश निकल जाना चाहते हैं चाहे वह पूरब ...
निर्लज्जता, उद्दंडता और बेशर्मी इन सभी शब्दों से एनडीटीवी का शायद ही कोई वास्ता रह गया है। जिस बेशर्मी से वह देशद्रोही तत्वों ...
हाल ही में अफ़ग़ानिस्तान पर तालिबान ने दो दशक बाद अपना आधिपत्य पुनः जमा लिया है। मुल्ला बरादर के नेतृत्व में तालिबान ने ...
दो दशकों से पाकिस्तानी सुरक्षा प्रतिष्ठान का एक बड़ा हिस्सा अफगान युद्ध में तालिबान के समर्थन में जुटा हुआ था। अब जबकि तालिबान ...
अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद से बड़ी संख्या में अफगान लोगों का अपने देश से पलायन हो रहा है। काबुल एयरपोर्ट ...
अफगानिस्तान पर तालिबान ने पुनः आधिपत्य जमा लिया है। अफगानिस्तान का नाम अब इस्लामिक रिपब्लिक ऑफ अफगानिस्तान से बदलकर इस्लामिक अमीरात ऑफ अफगानिस्तान ...
दुनिया दंग है, सत्ताधीश स्तब्धI आवाम आवाक है और राष्ट्र युद्धग्रस्त I देखते ही देखते 3.8 करोड़ अफगानी बिखर गए 75000 भेड़ियों के ...
अफ़ग़ानिस्तान आज दुनिया में सबसे अलग खड़ा है। आज जब दुनिया के देश जिम्मेदारी के नाम पर निंदा कर रहे हैं तब अफ़ग़ानिस्तान ...
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