आदमी एक रूप अनेक: तेज प्रताप यादव

राजनीति में नेताओं का काम आम जनता को साथ लेकर चलना और देश के हर कोने का विकास करना है लेकिन अगर राजनेता ही बचकानी हरकतें और बचकाने बयान देने लगे तब क्या कहेंगे? राजनीति कोई मजाक नहीं और एक उचित नेता को ही आम जनता अपने जनादेश से सत्ता की बागडोर थमाती है, ऐसे में हर राजनीतिक पार्टी के नेताओं को वो काम करने चाहिए जिससे वो जनता का भरोसा जीते और सत्ता उसकी हाथ में आ सके लेकिन आज के भारत में कुछ राजनेता ऐसे भी हैं जो पब्लिक डोमेन में अपनी हरकतों से चर्चा में रहते हैं। ऐसे नेताओं में से एक नाम है बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेजप्रताप यादव का। वो कभी बंगले में भूत के डर से बंगला छोड़ देते हैं तो कभी बीच सड़क पर नहाना शुरू कर देते हैं तो कभी शिव का रूप धारण कर लेते हैं तो कभी कृष्ण बन जातें है और अब तथाकथित हीरो तेजप्रताप ने कहा कि तथाकथित राजनीति के खलनायक उनकी हत्या करना चाहते हैं।

खबरों की मानें तो बिहार के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री और आरजेडी नेता तेज प्रताप यादव का हाथ हथियार लैस एक शख्स ने पकड़ लिया और उन्हें मारना चाहता था, इसके बाद सुरक्षाकर्मियों ने शख्स को दबोच लिया। बताया जा रहा है कि वो इस मामले में आरजेडी के नेता ने बीजेपी और आरएसएस का हाथ होने की बात कही है। तेज प्रताप ने कहा कि, “महुआ जाने के क्रम में मेरा हाथ हथियार लैस एक शख्स ने पकड़ लिया। ये बीजेपी और आरएसएस की द्वारा मुझे मारने की साजिश है। जब विधायक और मंत्री यहां सुरक्षित नहीं तो फिर आम आदमी कैसे सुरक्षित रह सकता है?” राजनेताओं के ऊपर अक्सर ही मारे जाने का खतरा मंडराता रहता है क्योंकि कोई सत्ता के लिए दूसरे राजनेता की हत्या करवाने की साजिश करता है तो कभी कुछ नेता पब्लिसिटी के लिए अपनी ही हत्या का झूठा षड्यंत्र रचते हैं, तो कभी आतंकी या अपराधियों की नजर नेताओं पर होती हैं लेकिन बिना किसी साक्ष्य और जांच के ही तेज प्रताप का सीधे तौर पर मीडिया से ये कहना कि आरएसएस और बीजेपी ने उनकी हत्या की साजिश की है क्या ये सही है? किसी के लिए समझना भी थोड़ा मुश्किल है कि बीजेपी और आरएसएस ने आखिर क्यों तेजप्रताप की हत्या की साजिश रची है? शायद बिहार में तेजप्रताप की तथाकथित लोकप्रियता से सत्ता से बेदखल होने का डर है।

वैसे तेज प्रताप के लिए इस तरह के झूठे बनावटी आरोप लगाना कोई नयी बात नहीं है। इससे पहले उन्होंने सरकारी बंगला छोड़ने के पीछे की वजह भूत को बताया था और कहा था कि ये भूत मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने उनके सरकारी बंगले में छोड़ा था। शायद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने बंगले में इसलिए भूत छोड़ दिया था जिससे तेजप्रताप डर जायें और बंगला छोड़ दें जिसमें तेज प्रताप सरकार जाने के बाद भी कब्जा जमाए बैठे थे। तेजप्रताप अक्सर ही अपनी बेतुकी हरकतों से चर्चा में रहते हैं ऐसा लगता है कि वो जनाबुझकर इस तरह की हरकतें करते हैं जिससे लोगों की नजरें उनपर बनी रहे। कुछ समय पहले ही महुआ का दौरा करते समय तेज प्रताप ने हैंडपंप को देखकर अपने कपड़े उतार दिए फिर नल से पानी खींच-खींच कर नहाने लगे।

इसके बाद सावन की शुरुआत में उन्होंने भगवान शिव का रूप धारण किया था और इस वेश में वो देवघर स्थित बाबा बैद्यनाथ धाम की ओर चल पड़े थे।

यही नहीं इसके बाद तेजप्रताप जब मथुरा गए थे और वहां उन्होंने कृष्ण का वेश धारण कर लोगों का खूब मनोरंजन किया था यहां तक कि वो कभी कभी बावर्ची बनकर जलेबियां भी छानने लगते हैं। कभी शिव का अवतार तो कभी कृष्णा का तो कभी बावर्ची का। तेज प्रताप लोगों का मनोरंजन करने का एक भी मौका नहीं छोड़ते। यही नहीं पब्लिसिटी के लिए वो सोशल मीडिया पर “माँ डाटती है”, पार्टी में उन्हें महत्त्व नहीं दिया जा रहा तो राजनीति छोड़ेंगे का सोशल मीडिया पर रोना रोते हैं, फिर पोस्ट को डिलीट करके कहते हैं कि बीजेपी और आरएसएस ने उनका अकाउंट हैक करके उनकी टाइमलाइन पर पोस्ट किया और उन्हें बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं। हां सरकार के पास इतना वक्त है कि बाकी काम छोड़कर तेजप्रताप का अकाउंट हैक करेगी ।

वास्तव में तेजप्रताप को राजनीति की समझ थोड़ी कम है। राजनेता के बेटे हैं तो सीधे कुर्सी मिल जाती है पार्टी में उच्चा ओहदा मिल जाता है भले ही राजनीति का ज्ञान कम होता है। उन्हें शायद समझ नहीं या वो समझते सब है बस राजनीति को अब मनोरंजन से जोड़ने की कोशिश करते हैं और वो इसमें कामयाब भी हो रहे हैं। ये सही भी है राज्य की जनता के लिए कुछ काम करेंगे तो उन्हें कठिनाई होगी तो मनोरंजन करके पब्लिसिटी बटोरने की खूब कोशिश कर रहे हैं। इसी कड़ी को आगे बढ़ावा देने के लिए शायद अब आरजेडी प्रमुख लालू यादव के बड़े बेटे तेजप्रताप यादव फिल्म की दुनिया में कदम रख रहे हैं और जल्द ही वो रुद्रा से बॉलीवुड में डेब्यू करेंगे। उन्होंने अपनी मूवी का पोस्टर शेयर भी किया था जिसमें वो स्टार हैं और इस पोस्टर में लिखा था ‘comming soon’.

वैसे हमें तेज प्रताप यादव का शुक्रिया अदा करना चाहिए जिन्होंने राजनीति को बहुत ही बेहतरीन तरीके से मनोरंजन से जोड़ा है और ऐसा जोड़ा है कि खुद ही मनोरंजन का मुख्य पात्र बन गये हैं और उन्हीं की वजह से अब हमें राजनीति का दूसरा अवतार देखने को मिल रहा है।

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