पिछले तीन सालों में 11 भगोड़े अपराधियों को भारत वापस लाया गया

प्रत्यर्पण मिशेल माल्या

PC: livemint

अभी हाल ही में आगस्टा वेस्टलैंड के बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल का प्रत्यर्पण मीडिया में सुर्ख़ियों का विषय बना था। लोगों का सरकार पर विश्वास बढ़ा। लोगों को आभास हुआ कि भारत सरकार भ्रष्टाचार के खिलाफ काम कर रही है। सरकार चुप नहीं बैठी है लेकिन अब एक नया तथ्य सामने आया है। पिछले तीन साल में क्रिश्चियन मिशेल समेत 11 आपराधिक भगोड़ों को भारत सरकार विदेश से घसीटकर भारत वापस ला चुकी है। ये जानकारी भारत के विदेश राज्यमंत्री वीके सिंह ने खुद ही लोकसभा में दिया है। उनके द्वारा दिया गया ये आंकड़ा वास्तव में रोचक और चौंकाने वाला है क्योंकि विपक्ष हमेशा से ही सरकार पर भ्रष्टाचार के खिलाफ कदम न उठाने का आरोप लगाता रहा है। अब सरकार द्वारा पेश किया गया ये आंकड़ा देशवासियों के मन में सरकार के प्रति विश्वास और विपक्ष के आरोपों के प्रति अविश्वास पैदा करने वाला है।

दरअसल विदेश राज्यमंत्री वीके सिंह ने लोकसभा में कहा, “पिछले तीन साल में कई देशों से 11 भगोड़े अपराधियों को वापस लाया गया जिनमें संयुक्त अरब अमीरात से क्रिश्चियन मिशेल का हाल ही में हुआ प्रत्यर्पण शामिल है।” उन्होंने एक प्रश्न के लिखित जवाब में बताया कि सरकार ऐसे भगोड़े अपराधियों को वापस लाने के लिए हर तरह से प्रयास कर रही है।

बता दें कि हाल ही में क्रिश्चियन मिशेल के प्रत्यर्पण के बाद ब्रिटेन की अदालत ने भी भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या को भारत प्रत्यर्पित किए जाने के पक्ष में फैसला सुनाया है। इससे पूरे देश में मोदी सरकार की तारीफ हो रही है। लोगों में सरकार के प्रति विश्वास बढ़ा है। ऐसे में सरकार द्वारा पेश किया गया नया आंकड़ा उत्साह बढ़ाने वाला है।

दरअसल, मिशेल का प्रत्यर्पण देश के लिए इसलिए भी बड़ी सफलता थी क्योंकि मिशेल एक ब्रिटिश नागरिक था। जिसके कारण मिशेल का प्रत्यर्पण टेढ़ी खीर थी लेकिन उसके प्रत्यर्पण में मिली सफलता और उसके बाद माल्या जैसे भगौड़े का खुद ही सरेंडर हो जाना अपने आप में किसी मील के पत्थर से कम नहीं है। इसी बीच विदेश राज्यमंत्री वीके सिंह ने भी नए आकड़े देकर और भी चार चांद लगा दिए।

बता दें कि क्रिश्चियन मिशेल करोड़ों रुपये के इस घोटाले में प्रमुख आरोपी है। वो ब्रिटिश कंसलटेंट है। उसे कथित तौर पर एंग्‍लो-इटैलियन कंपनी अगस्ता वेस्टलैंड नयी डील हासिल करने के लिए भारत में तत्‍कालीन यूपीए सरकार और भारतीय वायुसेना के शीर्ष अधिकारियों को प्रभावित करने के लिए नियुक्‍त किया था। इस करार में भारतीय वायुसेना को 12 वीवीआईपी हेलीकॉप्‍टर्स मिलने थे। ऐसा आरोप है कि डील हासिल करने के लिए अगस्‍ता वेस्‍टलैंड में मिशेल ने गलत हथकंडे अपनाए थे। मिशेल में भारत सरकार और अधिकारियों को रिश्‍वत के तौर पर करीब 350 करोड़ रुपए दिए थे। इस मामले में मिशेल के अलावा 3 आरोपी और भी हैं। दो अन्‍य का नाम गुइडो हैशके और कार्लो गेरोसा के हैं। ऐसा कहा जाता है कि 2010 के इस समझौते को लेकर उसने कई बार भारत का दौरा किया। 1997 से 2013 के बीच उसके करीब 300 बार भारत आने-जाने की बात कही जा रही है। वहीं दूसरी ओर विजय माल्या शराब को कारोबारी है जो अलग-अलग भारतीय बैंकों से करीब 9000 करोड़ रुपये लेकर फरारा हो गया है। ऐसे में एक के बाद एक भगोड़ों का भारत वापस आना देश के लिए शुभ संकेत है। ये किसी एक सरकार की नहीं बल्कि देश के भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई में हर नागरिक की जीत है।

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