आजम खान के दिये घावों को याद कर जनसभा में छलका जयाप्रदा का दर्द, आंसुओं के साथ बताया कि क्यों छोड़ना पड़ा रामपुर

जया प्रदा आजम खान रामपुर

कभी एक ही पार्टी में रहते हुए भी एक-दूसरे के धुर विरोधी रहे जयाप्रदा और आजम खान ने अब चुनावी मैदान में एक-दूसरे के खिलाफ मौर्चा संभाल लिया है। जयाप्रदा जब बुधवार को अपना नामांकन दाखिल कर जनता के बीच गई तो पूरानी बातों को याद कर भावुक हो गई। अपने भाषण में आजम खान के जिक्र से उनके पुराने जख्म ऐसे हरे हुए कि भरी सभा में उनकी आंखों से आंसू बह निकले।

रामपुर से बीजेपी प्रत्याशी जयाप्रदा ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि ‘मैं रामपुर नहीं छोड़ना चाहती थी। मैं रामपुर इसलिए नहीं छोड़ना चाहती थी, क्योंकि गरीब लोगों को यहां दबाया जाता था।’ उन्होंने आजम खान पर निशाना साधते हुए कहा कि जो लोग उनके खिलाफ जाकर अच्छा काम करते थे, उन्हें जेल में डाल दिया जाता था। इसके बाद वे भावुक हो गईं और बोलीं कि मैं रामपुर इसलिए छोड़कर गई और इसलिए सक्रिय राजनीति में नहीं आई, क्योंकि, मेरे पर तेजाब से हमले की साजिश रची गई थी। मेरे ऊपर हमला किया गया था। यह कहते हुए जया प्रदा की पलकें भीग गईं।

इसके बाद जयाप्रदा बोलीं, ‘आज मैं भी जिद्दी हूं। वो जयाप्रदा नहीं हूं जो रोते-रोते आपके लिए काम करती थी।’ उन्होंने कहा, ‘मैं रोना नहीं चाहती थी। मैं मुस्कुराना और जीना चाहती हूं। मुझे अब कोई डर नहीं है। मैं नरेंद्र मोदी की बीजेपी की बहादुर महिला हूं। मैं आजम खान को अपना भाई कहती थी, लेकिन उन्होंने मेरी राखी का सम्मान नहीं किया।’ जया प्रदा ने इसके बाद अपनी जनसभा को संबोधित करते हुए अखिलेश और मायावती को भी आड़े हाथों लिया।

जया प्रदा ने अपने पुराने घावों को कुरेदकर रामपुर की जनता के मन में आजम खान के खिलाफ एक बड़ा आक्रोश पैदा करने का काम किया है। उधर आजम खान की बात करें तो वे जयाप्रदा के शाब्दिक बाणों से तो बिंधे हुए तो हैं ही उल्टे खुद अपने पैरों पर कुल्हाड़ी मारने का भी काम कर रहे हैं। हाल ही में दी गई एक हेट स्पीच के कारण अब उन पर एक नया मुकदमा दर्ज हो गया है।

मंगलवार को सपा-बसपा-रालोद गठबंधन के प्रत्याशी आजम खान ने रामपुर सीट से अपना नामांकन भरा ही था कि अपनी बदजुबानी के कारण वे कानून के शिकंजे में आ गए हैं। सपा कार्यालय पर 29 मार्च को भड़काऊ भाषण देने और आचार संहिता का उल्लंघन करने के मामले में पुलिस ने उनके खिलाफ केस दर्ज किया है।

अपनी इस हेट स्पीच में आजम खान ने डीएम सहित जिले के चार मुख्य अधिकारियों पर तेजाब डालकर जलाने का आरोप लगाया था। आजम खान ने कहा कि ये जिन-जिन जिलों में रहे है, इन्होंने कमजोरों को तेजाब डालकर जलाया है। आजम की इस हेट स्पीच को लेकर कांग्रेस नेता फैसल लाला पुलिस को सबूत सौंपे हैं। जिसके बाद महागठबंधन प्रत्याशी आजम खान के खिलाफ आईपीसी की धारा 505 (1) (बी), 505 (2) और 125 लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। बता दें कि पुलिस आजम खान के खिलाफ पूर्व में दर्ज मुकदमों में कोर्ट में चार्जशीट लगाने की तैयारी भी कर रही है।

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जया प्रदा और आजम खान की निजी दुश्मनी किसी से छुपी नहीं है। बताया जाता है कि, एक समय आजम खान और उनके गुंडों के कारण जया प्रदा आत्महत्या तक करने का सोचने लगी थीं। जयाप्रदा ने सपा नेता और रामपुर से विधायक आजम खान पर गंभीर आरोप लगाए थे और दावा किया था कि आजम ने उन पर एसिड अटैक कराने की कोशिश की थी। उन्होंने कहा था, ‘जिस परिस्थिति में मैं एक महिला के तौर पर आजम खान के साथ चुनाव लड़ रही थी, उस समय मुझ पर तेजाब हमला और मेरी जान को खतरा था। जब कभी मैं घर से बाहर जाती, मैं अपनी मां को यह भी नहीं बता सकती थी कि मैं जिंदा लौटूंगी या नहीं।’ जयाप्रदा ने कहा कि जब उनकी तस्वीरों में विद्वेषपूर्ण बदलाव कर उसे सोशल मीडिया पर वायरल किया गया, तो उन्होंने आत्महत्या करने तक का सोच लिया था। जयाप्रदा ने कहा, ‘अमर सिंह डायलिसिस पर थे और मेरी तस्वीरों में विद्वेषपूर्ण बदलाव कर उसे रामपुर में फैलाया जा रहा था। मैं रो रही थी और कह रही थी कि अब मुझे और नहीं जीना है, मैं आत्महत्या करना चाहती हूं। मैं सदमे में थी और किसी ने मेरा समर्थन नहीं किया।’ उन्होंने बताया,’डायलिसिस से आने पर सिर्फ अमर सिंह जी मेरे साथ खड़े हुए, मेरा समर्थन किया।’ जयाप्रदा ने यह भी कहा है कि, ‘मणिकर्णिका फिल्म में वे जो कुछ भी दिखा रहे हैं, मैं उस जैसा महसूस कर रही हूं। एक महिला दुर्गा का अवतार भी ले सकती है।’

इस तरह अब आजम खान के सामने बड़ी चुनौती है कि वे जया प्रदा से अपने गढ़ रामपुर को कैसे बचाएं। जया प्रदा इस सीट पर आजम खान पर बहुत बहुत भारी पड़ती नजर आ रही हैं। उन्हें आजम खान से बदला लेने के लिए यह सीट जीतना ही है और जिस तरह से वे चुनाव प्रचार कर रही हैं उससे वे जनता से सीधे जुड़ती चली जा रही हैं।

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