भारत एक लोकतांत्रिक देश है और यहां अगर किसी को चुनाव जीतना है, तो उसे देश की जनता के साथ एक सकारात्मक संवाद करना पड़ता है। वातानुकूलित कमरों में बैठकर अपने पसंदीदा पत्रकारों को इंटरव्यू देकर कोई नेता नहीं बनता। जेएनयू छात्रसंघ नेता के विवादित नेता, और वामपंथी मीडिया गैंग के सुपरस्टार कन्हैया कुमार को यह बात अब समझ आ गई होगी। दरअसल, बिहार के बेगूसराय से सीपीआई पार्टी की ओर से चुनाव लड़ रहे कन्हैया कुमार जब अपना रोड शो करने के लिए सड़कों पर निकले तो वहां के लोगों ने उनको घेर लिया और कई तीखे सवाल पूछे। लोगों के लाजवाब सवाल सुनकर कन्हैया कुमार इतने बौखला गए कि उन्होंने एक व्यक्ति को ‘बीजेपी का आदमी’ कह डाला।
कन्हैया कुमार जब अपना रोड शो कर रहे थे, तो तभी कुछ लोगों की भीड़ ने उनको घेर लिया। टुकड़े-टुकड़े गैंग के कुख्यात सदस्य होने के नाते लोगों ने उनसे पूछा कि उन्हें अब कौन सी आज़ादी चाहिए? एक स्थानीय निवासी ने उनसे पूछा ‘भारत की आज़ादी चाहिए? कौन सी आज़ादी चाहिए? गरीबी से आज़ादी नहीं चाहिए क्या? आप हमारे नेता बनने चले हो, आपका बहुत स्वागत है, लेकिन जब मोदी ने भूमिहारों को आरक्षण दिया, तो तुम उसका विरोध करते हो!’ यह बात सुनकर कन्हैया कुमार की सारी हवा निकल गई और सवाल पूछने वाले व्यक्ति को वे गाड़ी में बैठने के लिए कहने लगे। लेकिन उस व्यक्ति ने अपनी बात को जारी रखा और आगे और कई सवाल दागे। ‘आपने जो विरोध किया था, मैं उसपर आपसे जवाब मांग रहा हूं। अगर मैं आपके जवाब से प्रभावित होता हूं, तो मैं आपको वोट दूंगा। जनता का दिल जीतकर ही वोट मांगी जा सकती है। भारत तेरे टुकड़े होंगे, इंशाअल्लाह इंशाल्लाह कहने से वोट नहीं मिलते हैं’।
उस व्यक्ति द्वारा यह कहे जाने पर तो कन्हैया इतना बौखला गए कि उन्होंने उस व्यक्ति को तुरंत बीजेपी का आदमी घोषित कर दिया, और पूछा कि ‘क्या तुम भाजपा से हो? भाजपा को वोट दोगे?’ लेकिन उस व्यक्ति ने जवाब में कहा कि ‘नहीं मैं तो नोटा का समर्थक हूं’। दरअसल, कन्हैया कुमार को अपने पसंदीदा पत्रकारों को इंटरव्यू देने की आदत है जहां उनसे उनके पसंद के स्क्रिपटिड सवाल पूछे जाते हैं। अब जब वे बाहर सड़कों पर निकले तब उनको समझ में आया है कि 24 घंटे एजेंडावादी लोगों के बीच में रहने से ना तो वो लोगों से अपना संपर्क साध पाएंगे और ना ही वे लोगों के नेता बन पाएंगे।
यहां आपको बता दें कि कन्हैया कुमार पर जेएनयू के छात्र नेता रहने के दौरान भारत-विरोधी नारे लगाने का आरोप है, इस संबंध में दिल्ली पुलिस ने उनपर देशद्रोह का मुकदमा भी दर्ज किया हुआ है। इन सबके बावजूद सीपीआई ने उनको बिहार की बेगूसराय सीट से लोकसभा चुनाव का टिकट दिया हुआ है। हालांकि, उनकी स्थिति वहां पर बेहद कमजोर बताई जा रही है। एक तरफ तो उनकी सीपीआई पार्टी का बेगूसराय सीट से कोई खास वोटबैंक नहीं है, तो वहीं दूसरी तरफ उनकी खुद की छवि बड़ी विवादित रही है। अब इस वीडियो के सामने आने के बाद यह पूर्ण रूप से स्पष्ट हो गया है कि वहां के लोग भी कन्हैया कुमार को करारा सबक सिखाने के मूड में हैं।