अब फर्जी चुनावी सर्वे फैलाकर बचे हुए दो चरणों के मतदान को प्रभावित करने की हो रही कोशिश

सर्वे मतदान

(PC: Twitter)

लोकसभा चुनावों में हार की दहलीज पर खड़े विपक्ष के पास अब अपनी सीटें बचाने का कोई चारा नहीं बचा तो उनसे झूठी अफवाहों का सहारा लेना शुरु कर दिया है। गौरतलब है कि, लोकसभा चुनावों के पूरा होने में अभी दो चरणों के मतदान होना बाकी है और कुछ लेफ्ट मीडिया पोर्टल अब इन दोनों चरणों को प्रभावित करने के लिए फेक न्यूज फैलाने में लगे हुए हैं। ऐसा लगता है कि लेफ्ट लिबरल ब्रिगेड पूरी तरह अपना आपा खो चुकी है यही कारण है कि, अब वे फेसबुक, वाट्सएप जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर फर्जी सर्वे और बेतुके एग्जिट पोल फैलाने में लगे हैं।

हाल ही में नागपुर टुडे नाम के एक वेब पोर्टल ने एक ऐसी रिपोर्ट प्रकाशित की है जिसमें उसने भाजपा द्वारा किए गए कथित आंतरिक सर्वेक्षण के अनुसार एग्जित पोल दिखाया है। इस एग्जिट पोल में बताया गया है कि सत्तारूढ़ दल अपनी सहयोगी पार्टियों के साथ सिर्फ 182 लोकसभा सीटें ही ला सकेगा। साथ ही उसने यह भी बताया कि, भाजपा अपने दम पर केवल 151 सीटें ही जीत पाएंगी। वेबसाइट ने आगे बताया कि, भाजपा के आंतरिक सर्वेक्षण में यह अनुमान लगाया गया है कि, कांग्रेस और उसके सहयोगियों को इन चुनावों में 216 सीटें मिलेंगी जिनमें 141 कांग्रेस की होंगी।

वेबसाइट ने आगे लिखा कि चुनाव परिणामों के ये अनुमान बीजेपी-आरएसएस की रातों की नींद हराम किये हुए हैं। वेबसाइट ने इस रिपोर्ट में भाजपा द्वारा किये गए ऐसे किसी भी आंतरिक सर्वेक्षण का विश्वसनीय स्रोत नहीं दिया है। स्पष्ट है कि, इस वेबसाइट का दावा पूरी तरह कल्पना और नकली रिपोर्ट पर आधारित है। दरअसल वेबसाइट का उद्देश्य झूठी अफवाहें फैलाकर बचे हुए दो चरणों के मतदान को प्रभावित करना है।

आपको बता दें कि, मध्य प्रदेश विधानसभा चुनावों से पहले भी आरएसएस के नाम से एक फर्जी सर्वेक्षण की अफवाह फैलाई गई थी। इस फर्जी सर्वेक्षण में दावा किया गया था कि, कांग्रेस राज्य में 142 सीटें जीतने वाली थी और बीजेपी को सिर्फ 68 सीटें ही मिलने वाली थीं। इसके बाद आरएसएस ने कहा था कि यह सर्वे बिल्कुल फर्जी है और वह किसी भी राजनीतिक दल के लिए सर्वे नहीं करता है। ऐसा लगता है कि, लोकसभा चुनावों में फिर से लेफ्ट-लिबरल्स द्वारा उसी रणनीति का इस्तेमाल किया जा रहा है।

वहीं एमनेस्टी इंटरनेशनल के पूर्व महासचिव सलिल शेट्टी ने भी चुनावों को प्रभावित करने की कुछ इसी तरह की भविष्यवाणी की है। उन्होंने पूर्वानुमान लगाया कि, कांग्रेस और उसके सहयोगी मौजूदा चुनावों में 287 सीटें जीतेंगे और भाजपा और उसके सहयोगी दल मात्र 256 सीटों पर सिमट जाएंगे। ये सब चुनावी भविष्यवाणियां बीजेपी कार्यकर्ताओं और समर्थकों को हतोत्साहित करने के लिए की गई हैं जो कि, पूरी तरह फर्जी और राजनीति से प्रेरित है।

दरअसल, लेफ्ट-लिबरल ब्रिगेड को समझ में आ गया है कि, यह चुनाव उनके लिए कोई भी सुखद परिणाम नहीं लाने वाला है। इसीलिए वे अब किसी चमत्कार की अपेक्षा में ये सब फर्जी खबरे फैलाने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं। इसके बावजूद उनके ये फर्जी सर्वेक्षण और बेतुकी चुनावी भविष्यवाणियां पूरी तरह विफल हो रही हैं। इस बात की पूरी संभावना है कि, 23 मई को परिणाम सामने आने के बाद जब इनकी ये चुनावी भविष्यवाणियां पूरी तरह विफल हो जाएगी तो वे ईवीएम में छेड़छाड़ का रोना रोने लगेंगे।

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