लगता है PUBG एप के दिन फिर से बहुरने वाले हैं। PUBG के मूल कंपनी ने पहले ही स्पष्ट किया था कि वह भारत में बने रहने के लिए चीन के निवेश से भी नाता तोड़ सकता है, और ऐसा लगता है कि जल्द ही PUBG की धमाकेदार वापसी होगी, क्योंकि उसके साथ साझेदारी करने के लिए स्वयं मुकेश अंबानी के नेतृत्व में रिलायंस जियो आगे आ रहा है।
PUBG के दक्षिण कोरियाई होने के बावजूद इसलिए प्रतिबंधित किया गया, क्योंकि उसे चीनी इंटरनेट कंपनी Tencent स्पॉन्सर कर रही थी। अब द हिन्दू बिजनेस लाइन की रिपोर्ट के अनुसार PUBG के मूल कंपनी भारत में वितरण के लिए जियो प्लैटफ़ॉर्म्स से बातचीत में लगी हुई है। PUBG ने पहले ही स्पष्ट किया था कि वह अपने हितों के साथ समझौता कर चीनी निवेश को कतई नहीं स्वीकार करेगा, और अब वो इसी परिप्रेक्ष्य में Tencent के निवेश को ठुकराकर भारत में स्थानीय डिस्ट्रीब्यूटर के लिए एड़ी चोटी का ज़ोर लगा रहा है।
यदि रिलायंस जियो PUBG के प्रस्ताव को स्वीकार करता है तो ये अपने आप में किसी सुनहरे अवसर से कम नहीं होगा। आत्मनिर्भर भारत के विशाल अभियान के अंतर्गत पीएम मोदी ने उन भारतीय इकाइयों को भी बढ़ावा देने की बात की है, जो ऑनलाइन गेमिंग में भारत के लिए नए अवसर खोजने में सफल होंगे। ऐसे में ये मुकेश अंबानी के नेतृत्व में रिलायंस जियो के लिए किसी सुनहरे अवसर से कम नहीं है। चूंकि ऑनलाइन गेमिंग के लिए Technicians, संगीतकार, चित्रकार, ग्राफिक्स आर्टिस्ट्स की बेहद आवश्यकता पड़ती है, ऐसे में PUBG और रिलायंस जियो के बीच संभावित डील के सफल होने से कल्पना कीजिये कि कितना रोजगार उत्पन्न होगा।
मोबाइल तकनीक के क्षेत्र में आधिकारिक रूप से लॉन्च होने से बहुत पहले ही रिलायंस जियो यहां अपनी धाक जमा चुका है। रिलायंस जियो के स्वदेशी 5जी तकनीक को पूरी तरह से भारत में, बिना किसी विदेशी सहायता के निर्मित किया जा रहा है, और इससे अमेरिका सहित दुनिया के बड़े बड़े देश न केवल अभिभूत है, अपितु इसे खरीदने के लिए भी बेहद उत्सुक हैं। इसी प्रकार से PUBG में निवेश कर रिलायंस जियो ऑनलाइन गेमिंग में न केवल तहलका मचा सकता है, अपितु जिस लॉंच की तलाश भारतीय गेमिंग को थी, उसे भी प्रदान कर सकता है।