कोरोना का वैक्सीन भले ही बाजार में आने वाली है लेकिन अब भी चीन की मुश्किलें समाप्त नहीं होने वाली हैं। अमेरिका ऑस्ट्रेलिया भारत तथा कई अन्य देशों के बाद अब ब्रिटेन ने संकेत दिया है कि वह अब अपना पूरा ध्यान चीन के खिलाफ लगाएगा। कई दिनों से BREXIT में उलझा ब्रिटेन अब तक चीन के खिलाफ अपना ध्यान केन्द्रित नहीं कर पा रहा था लेकिन अब BREXIT के बाद UK अपना पूरा ध्यान चीन के खिलाफ लगाने वाला है। BREXIT के नेता तथा बोरिस जॉनसन के करीबी माने जाने वाले Nigel Farage ने चेतावनी दी है कि चीन “यूरोपीय संघ की तुलना में हमारी स्वतंत्रता के लिए एक बड़ा खतरा” है और उससे निर्भरता समाप्त करना सबसे प्रमुख लक्ष्य।
ट्विटर पर पोस्ट किए गए वीडियो में उन्होंने बताया कि अब वे बीजिंग पर “निर्भर नहीं हैं।” वीडियो के साथ कैप्शन में, फराज ने लिखा: “चीन को रोकना अगली बड़ी लड़ाई है”। ब्रेक्जिट पार्टी के नेता ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इस वीडियो में कहा है कि उनका “अगला अभियान” शुरू हो गया है। उनका इशारा किसी और के तरफ नहीं बल्कि चीन की ओर था।
https://twitter.com/Nigel_Farage/status/1345007486785478658?s=20
BREXIT के बाद अपनी अगली “बड़ी चुनौती” के बारे में बात करते हुए, फराज ने कहा, “हमारी स्वतंत्रता, हमारे जीवन के तरीके के लिए एक बड़ा खतरा चीन है”।
उन्होंने कहा, “लेकिन चीन पूरी दुनिया को अपने कब्जे में करने के की कोशिश कर रहा है। वे Hong Kong में लोकतंत्र का गला घोंट रहे हैं, वे इसी तरह का प्रयास अन्य जगहों पर भी करने की पूरी कोशिश करेंगे“।
उन्होंने बताया कि चीन अफ्रीका में कई संसाधनों को अपने कब्जे में कर चुका है। उन्होंने आगे कहा कि, “ चीनी कम्युनिस्ट पार्टी दुनिया के लिए एक बड़ा खतरा है, हमारी आजादी के लिए खतरा है, हमारे जीवन के लिए खतरा है”।
फराज ने बताया कि उनका अगला राजनीतिक मिशन यह सुनिश्चित करना होगा कि ब्रिटेन के लोग यह समझें कि “आखिर चीन है कौन।”
Farage ने कहा, “इसलिए मेरा अगला अभियान यह सुनिश्चित करना है कि लोग यह समझें कि चीन कौन है, चीनी कम्युनिस्ट पार्टी क्या है, यह उसके अपने लोगों के लिए क्या कर रही है, बाकी दुनिया के लिए क्या करना चाहती है”।
उन्होंने कहा, ”हमें चीन द्वारा उत्पन्न खतरे के बारे में जागरूकता की जरूरत है। और 2021 से मेरा अगला अभियान शुरू हो रहा है। और यह सुनिश्चित करना है कि हम अब चीन पर निर्भर न हों”।
कुछ ट्विटर यूजरों ने UK Independence Party के पूर्व नेता के साथ सहमति व्यक्त की, दावा किया कि चीन यूके के लिए “खतरा” था और उसे रोकना चाहिए।
बता दें कि कोरोना वायरस से परेशान ब्रिटेन ने स्पष्ट शब्दों में कह दिया था कि चीन से रिश्ते अब पहले जैसे कभी नहीं रहेंगे। कोरोना के कारण लोगों की मौत ही नहीं, बल्कि अर्थव्यवस्था को भी भारी नुकसान उठना पड़ा था। यूनाइटेड किंगडम में किए गए शोध के अनुसार यह बात सामने आई थी कि, कोरोना वायरस के कारण वैश्विक अर्थव्यवस्था को 3.2 ट्रिलियन पाउंड की हानि हुई है जो भारत की वित्तीय वर्ष 2019 के जीडीपी से भी अधिक है और इसके लिए चीन को जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए।
अब Nigel Farage के इस रुख से यह स्पष्ट हो चुका है कि BREXIT होने के बाद अब UK अपना ध्यान चीन के खिलाफ केन्द्रित करेगा। इसी क्रम में ब्रिटेन कई देशों से समझौते कर सकता है जिससे उसकी निर्भरता चीन से कम हो। यही नहीं इस वर्ष के गणतन्त्र दिवस पर UK के पीएम बोरिस जॉनसन भारत आ रहे हैं। यानि देखा जाए तो ब्रिटेन और भारत के व्यापारिक रिश्तों में भी बढ़ोतरी हो सकती है। ब्रिटेन को BREXIT के बाद EU और चीन दोनों पर से निर्भरता समाप्त करने के लिए भारत जैसे बड़े बाजार की सख्त आवश्यकता है। ऐसे में चीन के खिलाफ इस लड़ाई में ब्रिटेन भारत के और अधिक नजदीक आने की कोशिश करेगा।
आज चीन की वास्तविकता पूरी दुनिया के सामने आ चुकी है। चाहे वो कोरोना के बारे में झूठ फैलाना हो, या ऋण जाल से देशों पर कब्जा जमाना, चीन की सच्चाई सभी देश जान चुके हैं और उसके खिलाफ एक्शन ले रहे हैं। अब ब्रिटेन ने भी इसी दिशा में अपना ध्यान केन्द्रित करने का फैसला किया है।