नए कैबिनेट में बदलाव के पश्चात कामकाज काफी तेजी से हो रहा है। आईटी मंत्री के तौर पर अश्विनी वैष्णव के पदभार संभालते ही ट्विटर भी सतर्क हो चुका है। इसका प्रमाण उनके वर्तमान निर्णय में दिख रहा है, जहां उन्होंने शिकायत अधिकारी के तौर पर एक नए अफसर विनय प्रकाश को नियुक्त किया है।
दिल्ली हाईकोर्ट की चेतावनी और अश्विनी वैष्णव के अल्टिमेटम के बाद ही ट्विटर तुरंत लाइन पर आ गया और उसने विनय प्रकाश को बतौर शिकायत अधिकारी नियुक्ति कर दिया है। अमर उजाला की रिपोर्ट के अंश अनुसार, “ट्विटर ने विनय प्रकाश को भारत के लिए निवासी शिकायत अधिकारी नियुक्त किया है। कंपनी की वेबसाइट पर यह सूचना डाली गई है। नए आईटी नियमों के तहत 50 लाख से अधिक प्रयोगकर्ताओं वाली सोशल मीडिया कंपनियों को तीन महत्वपूर्ण नियुक्तियां- मुख्य अनुपालन अधिकारी, नोडल अधिकारी और शिकायत अधिकारी की नियुक्ति करने की जरूरत है। ये तीनों अधिकारी भारत के निवासी होने चाहिए।”
बता दें कि 26 मई 2021 से लागू नए आईटी अधिनियमों के अनुसार, आईटी कंपनियों को अपने डेटा के बारे में सरकार से समय समय पर आवश्यक जानकारी साझा करनी है, विशेषकर वो, जो राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज से अहम हो। हालांकि, कुछ लोग इसे ‘निजता के अधिकार का हनन’ बता रहे थे, परंतु सरकार ने सभी शंकाओं को दूर करते हुए आईटी कंपनियों से लगातार बातचीत जारी रखी।
फलस्वरूप गूगल, फ़ेसबुक जैसी कंपनियां नए आईटी अधिनियमों के अनुरूप आवश्यक जानकारी साझा कर चुकी है, परंतु ट्विटर को शायद अपने आप पर कुछ ज्यादा ही गुमान था। इसलिए वह इन अधिनियमों का पालन करने में आनाकानी कर रहा था। अंतरिम तौर पर धर्मेन्द्र चतुर को इससे पहले शिकायत अधिकारी के तौर पर नियुक्त किया गया था, परंतु लोनी घटना पर ट्विटर इंडिया पर ताबड़तोड़ कार्रवाई और फिर ट्विटर द्वारा पूर्व आईटी मंत्री रविशंकर प्रसाद के अकाउंट को लॉक करने पर मचे बवाल के चलते उन्हें पद से हटा दिया गया।
परंतु नए आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव अलग ही मिट्टी के बने हुए हैं। अश्विनी वैष्णव ने पद संभालते ही स्पष्ट कर दिया था, “जो कोई भारत में रहता है और काम करता है, उसे देश के नियमों को मानना ही होगा।” इसका प्रत्यक्ष उदाहरण तभी देखने को मिल गया, जब उन्होंने उंगली भी नहीं उठाई, और वॉट्सएप ने हठधर्मिता छोड़ते हुए अपनी निजता पॉलिसी को वापिस लेने का निर्णय किया।
ठीक इसी प्रकार से अब ट्विटर भी लाइन पर आने लगा है। वो कैसे? न्यूज 18 की रिपोर्ट के अनुसार, अभी हाल ही में ट्विटर ने संशोधित आईटी रिपोर्ट को लेकर अपनी कम्प्लायंस रिपोर्ट जारी की है।
रिपोर्ट के अंश अनुसार, “माइक्रो ब्लॉगिंग साइट का दावा है कि उसने उत्पीड़न से लेकर गोपनीयता के उल्लंघन तक 133 पोस्ट के खिलाफ कार्रवाई की है। ट्विटर ने दावा किया कि बाल यौन शोषण और नॉन कंसेंसुएल न्यूडिटी के चलते 18,000 से अधिक अकाउंट्स को सस्पेंड कर दिया है।”
अब ट्विटर कहाँ तक सच बोल रहा है, ये तो समय आने पर ही पता चलेगा, परंतु अश्विनी वैष्णव के दबाव का असर दिखने लगा है। इसके साथ ही उन लोगों पर दया और हंसी भी आती है जिनको लग रहा था कि अश्विनी वैष्णव की नियुक्ति अमेरिका में उनकी पढ़ाई और बाइडन प्रशासन को खुश करने के लिए की गई है।