TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    बिहार चुनाव से पहले कांग्रेस का आत्मघाती दांव

    बिहार चुनाव से पहले कांग्रेस का आत्मघाती दांव

    बिहार का जंगलराज और सत्येंद्र दुबे की शहादत: एक आईना

    बिहार का जंगलराज और सत्येंद्र दुबे की शहादत: एक आईना

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    हिमाचल में वेतन कटौती का संकट: सरकार की नीतियां और जनता की तकलीफ़

    हिमाचल में वेतन कटौती का संकट: सरकार की नीतियां और जनता की तकलीफ़

    भारत–अमेरिका रिश्ते : ट्रंप की ‘हमेशा दोस्त’ वाली बात पर पीएम मोदी ने दिया ये जवाब

    भारत–अमेरिका रिश्ते : ट्रंप की ‘हमेशा दोस्त’ वाली बात पर पीएम मोदी ने दिया ये जवाब

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत की सेना होगी और भी धारदार, थिएटर कमांड से घटेगा युद्ध का रिस्पॉन्स टाइम

    भारत की सेना होगी और भी धारदार, थिएटर कमांड से घटेगा युद्ध का रिस्पॉन्स टाइम

    उत्तराखंड में मोबाइल टावरों पर इस्लामिक झंडे: राष्ट्रीय अस्मिता और सुरक्षा पर बड़ा सवाल

    उत्तराखंड में मोबाइल टावरों पर इस्लामिक झंडे: राष्ट्रीय अस्मिता और सुरक्षा पर बड़ा सवाल

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    नेपाल और विदेशी साज़िश: भारत विरोधी नैरेटिव का सच

    नेपाल और विदेशी साज़िश: भारत विरोधी नैरेटिव का सच

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    चीन दुनिया के सामने खुद को शक्तिशाली दिखाता है, जबकि अपने ही देशवासियों से असुरक्षित महसूस करता है

    चीन भले ही दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी शक्ति हो- लेकिन ड्रैगन के इस ‘शक्ति प्रदर्शन’ के पीछे  नागरिकों के उत्पीड़न की अंतहीन कहानियां छिपी हैं

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    पीएम मोदी का मास्टरस्ट्रोक: भागवत को बधाई, विपक्ष को ‘बाय-बाय’

    पीएम मोदी का मास्टरस्ट्रोक: भागवत को बधाई, विपक्ष को ‘बाय-बाय’

    मोहनजोदड़ो में मिले ‘प्रीस्ट किंग’ एक बार फिर चर्चा में क्यों है? और 4 हजार वर्ष पुरानी प्रतिमा का प्रधानमंत्री मोदी से क्या है ‘कनेक्शन’ ?

    मोहनजोदड़ो में मिले ‘प्रीस्ट किंग’ एक बार फिर चर्चा में क्यों है? और 4 हजार वर्ष पुरानी प्रतिमा का प्रधानमंत्री मोदी से क्या है ‘कनेक्शन’ ?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    “रक्षा साझेदारी की नई उड़ान: भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57, रूस ने दिखाया भरोसा”

    भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57 ! अमेरिका से तनाव के बीच रूस से आई ये खबर इतनी महत्वपूर्ण क्यों है?

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    बिहार चुनाव से पहले कांग्रेस का आत्मघाती दांव

    बिहार चुनाव से पहले कांग्रेस का आत्मघाती दांव

    बिहार का जंगलराज और सत्येंद्र दुबे की शहादत: एक आईना

    बिहार का जंगलराज और सत्येंद्र दुबे की शहादत: एक आईना

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    हिमाचल में वेतन कटौती का संकट: सरकार की नीतियां और जनता की तकलीफ़

    हिमाचल में वेतन कटौती का संकट: सरकार की नीतियां और जनता की तकलीफ़

    भारत–अमेरिका रिश्ते : ट्रंप की ‘हमेशा दोस्त’ वाली बात पर पीएम मोदी ने दिया ये जवाब

    भारत–अमेरिका रिश्ते : ट्रंप की ‘हमेशा दोस्त’ वाली बात पर पीएम मोदी ने दिया ये जवाब

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत की सेना होगी और भी धारदार, थिएटर कमांड से घटेगा युद्ध का रिस्पॉन्स टाइम

    भारत की सेना होगी और भी धारदार, थिएटर कमांड से घटेगा युद्ध का रिस्पॉन्स टाइम

    उत्तराखंड में मोबाइल टावरों पर इस्लामिक झंडे: राष्ट्रीय अस्मिता और सुरक्षा पर बड़ा सवाल

    उत्तराखंड में मोबाइल टावरों पर इस्लामिक झंडे: राष्ट्रीय अस्मिता और सुरक्षा पर बड़ा सवाल

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    गुरुग्राम से हिंद महासागर तक: आईएनएस अरावली की दास्तान

    नेपाल और विदेशी साज़िश: भारत विरोधी नैरेटिव का सच

    नेपाल और विदेशी साज़िश: भारत विरोधी नैरेटिव का सच

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    चीन दुनिया के सामने खुद को शक्तिशाली दिखाता है, जबकि अपने ही देशवासियों से असुरक्षित महसूस करता है

    चीन भले ही दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी शक्ति हो- लेकिन ड्रैगन के इस ‘शक्ति प्रदर्शन’ के पीछे  नागरिकों के उत्पीड़न की अंतहीन कहानियां छिपी हैं

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    ‘इतिहास’ का अनुवाद ‘हिस्ट्री’ नहीं होता

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    प्रशांत पोळ की ‘खजाने की शोधयात्रा’ पुस्तक में छिपे ‘भारतीय ज्ञान परंपरा’ के अनमोल रत्न

    पीएम मोदी का मास्टरस्ट्रोक: भागवत को बधाई, विपक्ष को ‘बाय-बाय’

    पीएम मोदी का मास्टरस्ट्रोक: भागवत को बधाई, विपक्ष को ‘बाय-बाय’

    मोहनजोदड़ो में मिले ‘प्रीस्ट किंग’ एक बार फिर चर्चा में क्यों है? और 4 हजार वर्ष पुरानी प्रतिमा का प्रधानमंत्री मोदी से क्या है ‘कनेक्शन’ ?

    मोहनजोदड़ो में मिले ‘प्रीस्ट किंग’ एक बार फिर चर्चा में क्यों है? और 4 हजार वर्ष पुरानी प्रतिमा का प्रधानमंत्री मोदी से क्या है ‘कनेक्शन’ ?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    “रक्षा साझेदारी की नई उड़ान: भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57, रूस ने दिखाया भरोसा”

    भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57 ! अमेरिका से तनाव के बीच रूस से आई ये खबर इतनी महत्वपूर्ण क्यों है?

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

फेसबुक नहीं फेकबुक, Fb ने आख़िरकार किया स्वीकार

मार्क भैया: अमेरिका के वैश्विक जासूस या विश्व की चुगलखोर आंटी

Aniket Raj द्वारा Aniket Raj
27 October 2021
in तकनीक
मेटा
Share on FacebookShare on X

नूतन साम्राज्यवाद में आपका स्वागत है। 21वीं सदी के ईस्ट इंडिया उद्यमों का उदय हो रहा है जैसे Amazon, Google, Facebook इत्यादि। ये सभी धीरे-धीरे संप्रभुता को प्राप्त कर रहे हैं। आपकी निजता को ताक पर रख रहे हैं। आप को गुलाम बना रहे हैं। आपके विचार परिवर्तित कर रहे हैं। सत्य को धूमिल कर रहे हैं। शासन की आंखों में धूल झोंक रहे हैं। राष्ट्रवाद, संस्कृति, परंपरा और समाज को कलुषित करते हुए सिर्फ अपने निजी आर्थिक स्वार्थ की पूर्ति हेतु निरंकुश शक्ति की ओर ये सभी बिग टेक अग्रसर हैं।

आपकी पसंद, नापसंद, प्रासंगिकता प्राथमिकता, आवश्यकता, आदत, उत्सुकता और जिज्ञासा, आपके बारे में ऐसा कुछ भी नहीं है जो इन्हें ना पता हो। आपके बारे में इस जानकारी, सूचना, व्यक्तित्व और  निजता हनन के समीकरणों को ये लोग “डाटा” बोलते हैं। अंतरराष्ट्रीय नियमों के आवरण से प्राप्त अभेद्य कवच से अब यह एक राष्ट्र के शासन को ध्वस्त कर निरंकुश संप्रभुता की ओर कदम बढ़ा रहे हैं। यह विषय अत्यंत चिंताजनक है क्योंकि पूर्ववर्ती के साम्राज्यवादी और औपनिवेशिक शासन सिर्फ आपके तन और राजनीतिक व्यवस्था को अपना दास बनाते थे, परंतु नव साम्राज्यवाद और नव उपनिवेशवाद के जनक यह उद्यम ना सिर्फ आपके द्वारा चुने गए लोकतांत्रिक व्यवस्था को ध्वस्त करते हैं बल्कि आपके निजता का हनन कर आपके संपूर्ण व्यक्तित्व का भक्षण कर लेते हैं।

संबंधितपोस्ट

फेसबुक का दोगला चेहरा! फाइनेंशियल फ्रॉड को बढ़ावा, राष्ट्रवादी विचार पर एक्शन; क्या ये जानबूझकर कर रहा है मेटा?

फर्जी दावे पर जकरबर्ग को अश्विनी वैष्णव ने लगाई फटकार, कहा था-कोरोना के बाद चुनाव हार गई मोदी सरकार

‘राडिया टेप कांड’ और सोशल मीडिया पर UPA सरकार की सेंसरशिप; जब लोगों ने खुद लड़ी मीडिया की लड़ाई

और लोड करें

सबसे खास बात तो यह है की पराधीन प्रजा अपनी पराधीनता से परिचित भी नहीं होती। वह सतत रूप से इस गुलामी का आनंद लेती है और अभिव्यक्ति की आजादी के नाम पर इनका समर्थन भी करती है। सोशल मीडिया एक नई दुनिया है, जो भौतिक दुनिया से तो बिल्कुल परे है परंतु अत्यंत प्रभावी है क्योंकि गांव के चौपाल पर तो सिर्फ 4 लोग जुटते हैं परंतु वैश्वीकरण के परिणाम स्वरूप बने इस नूतन चौपाल पर पलक झपकते ही अनंत जनसमूह एक दूसरे के साथ विभिन्न मुद्दों पर और समाज के विभिन्न आयामों पर संबंध और संवाद स्थापित कर लेता है।

आप जरा सोचिए अगर आपके विचार पर किसी का अधिकार हो गया तो क्या आपका कर्म उसके अधिकार के परिधि क्षेत्र में नहीं आ जाएगा? आप क्या सोचेंगे?क्या करेंगे? क्या खाएंगे? कहां रहेंगे? सब वे तय करेंगे। यह सिर्फ राष्ट्र और समाज के साथ नहीं बल्कि आपके पास व्यक्तिगत स्तर पर घोषित युद्ध है। इस युद्ध के मैदान अर्थात सोशल मीडिया मंच, नियम, कायदे और कानून सब उनका है। इस युद्ध में आपका दुश्मन आपके बारे में सब कुछ जानता है और आप उसके बारे में कुछ नहीं जानते।

सुन कर कितना हास्यास्पद लगता है कि जितना आप स्वयं के बारे में नहीं जानते उतना आपका दुश्मन आपके बारे में जानता है। अतः यह प्रश्न स्वाभाविक है कि अगर सोशल मीडिया सिर्फ आपके विचारों को अभिव्यक्त करने का मंच मात्र है तो इस पर अभिव्यक्त किए गए किसी भी विचार को अवरुद्ध नहीं किया जाना चाहिए l अगर ऐसा नहीं है इसके नियंताओं को इस पर अभिव्यक्त किए गए और इस मंच के माध्यम से होने वाले किसी भी अमानवीय और गैर-सरकारी कृतियों के लिए उन्हें दोषी ठहराया जाना चाहिए।

फेसबुक नहीं “फेकबुक”

फेसबुक ने आखिरकार स्वीकार किया है कि उसका मंच के विघटनकारी और विभाजनकारी सामग्री फैलाने के लिए कुछ सीमा तक  उत्तरदायी हैं। आंतरिक दस्तावेजों द्वारा पोलखोल में दिखाया गया है कि यह सोशल मीडिया कंपनी विकासशील देशों में घृणा सामग्रियों के प्रचार-प्रसार को रोकने में सक्षम है। यह मंच दक्षिणपंथी अमेरिकी समाचार संगठनों को सेंसर करने के लिए अनिच्छुक था परन्तु, भारत के तथाकथित राष्ट्रवादी संगठनों को गलत नियति से रोकने का इसने पुरजोर प्रयत्न किया।

एक आंतरिक मेमो (जिसे फेसबुक के है पुराने कर्मचारी ने उजागर कर दिया) ने प्रमाण सहित यह चेतावनी दी है कि फेसबुक के “मुख्य उत्पाद यांत्रिकी” या इसके अंतर्निहित कामकाज ने इस मीडिया साइट पर अभद्र भाषा और दुष्प्रचार को बढ़ने दिया है। नोट में यह भी कहा गया है कि फेसबुक के सारे कार्य पक्षपाती है, जो एक समुदाय या पक्ष में झुके होने के कारण अपने हितों के अनुसार किसी राष्ट्र या समुदायों के बीच संघर्ष को बढ़ावा देते है।

2019 के मेमो में कहा गया है- “हमारे पास इस बात के भी पुख्ता सबूत हैं कि हमारे मुख्य उत्पाद तंत्र, जैसे कि जीवन शक्ति, सिफारिशें और जुड़ाव के लिए अनुकूलन इस प्रकार की बातचीत का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं।”

फेसबुक पर आरोपों का यह दस्तावेज़ सोमवार को न्यूयॉर्क टाइम्स द्वारा अमेरिकी समाचार संगठनों के एक संघ द्वारा लेख के एक भाग के रूप में जारी किया गया था। NYT का यह लेख संयुक्त राज्य के वित्तीय नियंत्रण निकाय को किए गए खुलासे पर आधारित थे और इसे पूर्व फेसबुक कर्मचारी द्वारा लिखित रूप में कांग्रेस को भी प्रदान किया गया था, जो फ्रांसेस हौगेन के कानूनी सलाहकार बने थे।

वॉल स्ट्रीट जर्नल ने भी यह दस्तावेज़ प्राप्त किए, जिसने पिछले महीने से फेसबुक के कुकृत्यों पर कई दुर्भावनापूर्ण शिकायतें पोस्ट की हैं।

फेसबुक पेपर्स में संयुक्त राज्य अमेरिका के बाहर अभद्र भाषा और हानिकारक सामग्री को संबोधित करने में फेसबुक की अक्षमता का उल्लेख किया गया है। फेसबुक पेपर्स पार्टनर्स की कई रिपोर्टों के अनुसार, गैर-अंग्रेजी भाषी उपयोगकर्ताओं के बीच अभद्र भाषा और दुष्प्रचार काफी हद तक बढ़ है। एसोसिएटेड प्रेस (एपी) ने बताया कि फेसबुक के अधिकांश मॉडरेशन इन्फ्रास्ट्रक्चर में अंग्रेजी के अलावा अन्य भाषाओं के लिए अपर्याप्त संसाधन हैं और इसका सॉफ्टवेयर अरबी की कुछ बोलियों को समझने के लिए संघर्ष करता है।

पोलिटिको द्वारा प्रकाशित एक आंतरिक रिपोर्ट के अनुसार इस साल की शुरुआत में बनाई गई कंपनी का एल्गोरिथम मॉडरेशन सॉफ्टवेयर अफगानिस्तान में केवल 0.2% दुर्भावनापूर्ण सामग्री की पहचान करने में सक्षम था। बाकी दुर्भावनापूर्ण सामग्री को कर्मचारियों द्वारा रिपोर्ट किया जाता था। आपको यह तथ्य जानकर हैरानी होगी कि कंपनी के पास देश की मुख्य भाषा, पश्तो या दारी बोलने वाला कोई मॉडरेटर नहीं था। अफ़ग़ानिस्तान में नहीं बोले जाने के बावजूद देश में दुर्भावनापूर्ण सामग्री की रिपोर्ट करने के लिए उपकरण केवल अंग्रेज़ी में ही उपलब्ध थे।

एपी के अनुसार, ऐप्पल ने दो साल पहले फेसबुक और इंस्टाग्राम को अपने ऐप स्टोर से हटाने की धमकी दी थी क्योंकि उसे डर था कि प्लेटफॉर्म के इस्तेमाल में मानव दुर्व्यवहार, दासता और दुर्भावना का जोखिम है । फेसबुक द्वारा समस्या को हल करने के प्रयासों का विवरण साझा करने के बाद इस कह्तरे को हटा दिया गया था।

फाइनेंशियल टाइम्स द्वारा प्राप्त एक दस्तावेज़ में एक फेसबुक कर्मचारी को यह दावा करते हुए दिखाया गया है कि फेसबुक की सार्वजनिक नीति टीम जब देखती है कि कोई पोस्ट शक्तिशाली राजनेताओं या अभिनेताओं को नुकसान पहुंचा सकते हैं, तो पोस्ट को हटाने के फैसले को रोक दिया जाता है।

फेसबुक के एक प्रवक्ता ने कहा, “इन कहानियों में एक झूठा आधार है। हां, हम एक कंपनी हैं और हम मुनाफा कमाते हैं लेकिन यह विचार कि हम लोगों की सुरक्षा या भलाई की कीमत पर ऐसा करते हैं ऐसा नहीं है क्योंकि इसमें हमारे व्यावसायिक हित नही हैं। सच तो यह है कि हमने 13 अरब डॉलर का निवेश किया है और 40,000 से अधिक लोग नौकरी कर रहे हैं ताकि फेसबुक से जुड़े लोगों की रक्षा हो सके। “

परंतु, अर्थ मद और सत्ता सनक में चूर ये भेड़िए बिना किसी उत्तरदायित्व के शक्ति संचयन करते हैं। फेसबुक वाले “जुकरबर्ग भैया” इसमें सबसे आगे हैं। वैश्विक स्तर पर वह मोहल्ले की उस स्त्री की तरह है जिसे अपने पड़ोसी के घर में ताक-झांक करने और उसकी चुगली करने में बड़ा आनंद आता है, भले ही स्वयं का घर लंका अग्नि में धूं-धूं कर जल रहा हो। इसी पुनीत उद्देश्य के कारण मार्क भैया ने न सिर्फ फेसबुक बल्कि व्हाट्सएप और इंस्टाग्राम को भी अपने नियंत्रण में ले लिया। उन्हें इसका लाभ भी मिला। उन्हें चुगली का चरम सुख प्राप्त हुआ। अप्रत्याशित आनंद ने अघोषित अराजकता का सृजन किया। उनके ऊपर अपने मातृभूमि के लोकतांत्रिक चुनाव को प्रभावित करने का आरोप लगा। भारत में भी उनके द्वारा सत्ता चुनाव को प्रभावित करने का प्रयास किया गयाl दरअसल, यह सारे प्रयास अप्रत्यक्ष स्तर पर थे। इसे अज्ञानता वश हुई गलती बता कर क्षमा मांग ली गई।

परंतु, हालिया खुलासों ने इस तथ्य को स्थापित किया है कि फेसबुक का असल उद्देश्य गलत खबरों का प्रचार-प्रसार कर अव्यवस्था, अराजकता और निरंकुशता को बढ़ावा देना है। सत्य कड़वा होता है, उदासीन होता है अतः लोग पसंद नहीं करते। परंतु, झूठ करिश्माई विचारों से परे और मजेदार लगता है इसीलिए हम इसे आरण्य अग्नि की तरह ना सिर्फ इसे प्रसारित करते हैं बल्कि स्वयं के मस्तिष्क में भी इसे शिलालेख की तरह अंकित कर लेते हैं।

Tags: फेसबुक
शेयर19ट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

पेश है इस्लाम का ‘चीनी संस्करण’, विशेष ‘चीनी फीचर्स’ के साथ!

अगली पोस्ट

रुसी S-400: भारत पर प्रतिबंध लगाने को लेकर अमेरिकी सांसदों ने बाइडन को चेताया और वे गलत नहीं हैं

संबंधित पोस्ट

“रक्षा साझेदारी की नई उड़ान: भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57, रूस ने दिखाया भरोसा”
अर्थव्यवस्था

भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57 ! अमेरिका से तनाव के बीच रूस से आई ये खबर इतनी महत्वपूर्ण क्यों है?

2 September 2025

भारत और रूस के बीच रक्षा संबंध एक नए स्तर पर पहुंच सकते हैं। रूस ने भारत में अपनी पांचवीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान सुखोई...

“सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर
अर्थव्यवस्था

“सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

2 September 2025

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को सेमीकॉन इंडिया 2025 सम्मेलन में कहा कि भारत जल्द ही दुनिया का सेमीकंडक्टर सुपरपावर बनेगा। इस आयोजन में 40...

भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी
अर्थव्यवस्था

भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

30 August 2025

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दो दिवसीय आधिकारिक दौरे पर जापान पहुंचे हैं, जहां वे 15वें भारत-जापान वार्षिक शिखर सम्मेलन में हिस्सा ले रहे हैं। इस यात्रा...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Why PM Modi Is Compared to The Indus Valley Priest King! Amid uncertainty in India’s Neighbourhood!

Why PM Modi Is Compared to The Indus Valley Priest King! Amid uncertainty in India’s Neighbourhood!

00:06:42

‘The Bengal Files’ Exposing Bengal’s Darkest Chapter – What Mamata Won’t Show!

00:05:37

Why Periyar Is No Hero: The Anti-Hindu Legacy That Stalin & DMK Ecosystem Want You To Forget

00:06:26

Why Hindus Should Reclaim The Forgotten Truth of Onam | Sanatan Roots vs Secular Lies

00:07:03

Suhana Khan in Trouble? Alleged Fake Farmer Claim and the ₹22 Crore Land Deal

00:05:55
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited