उत्तर प्रदेश में आने वाले कुछ ही महीनों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। राजनीतिक पार्टियां जोर-शोर से अपनी तैयारियों में लग गई है। चुनाव से पहले प्रदेश में सियासी घटनाक्रम रोज बदल रहा है। यूपी की 403 विधानसभा सीटों पर राजनीतिक पार्टियां भिड़ने वाली हैं। खबरों की मानें तो प्रदेश में राजनीतिक तौर पर मुख्य लड़ाई भाजपा vs सपा और आरएलडी गठबंधन के बीच है। सपा एक बड़ी ताकत बनने के चक्कर में एक बार फिर अपने विरासत वाले वोट बैंक की ओर बढ़ चली है। मुस्लिम यादव वोट बैंक को लेकर अखिलेश यादव आगे बढ़ना चाह रहे हैं, लेकिन अब सियासी गलियारों से एक बड़ी खबर है। नए वर्ष पर भी पुराना राग अलापने वाले असदुद्दीन ओवैसी ने भी सपा पर जोरदार हमला बोला है। हैदराबाद से आकर यूपी के सियासी गलियारों में ताल ठोक रहे असदुद्दीन ओवैसी न सिर्फ बीजेपी, बल्कि समाजवादी पार्टी को भी अपने निशाने पर लेते रहे हैं। हाल ही में उन्होंने एक बार फिर से समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव पर जोरदार हमला बोला है।
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अखिलेश की वोटबैंक की राजनीति का खोल दिया कच्चा चिट्ठा
बीते शनिवार को सहारनपुर (Saharanpur) के बेहट विधानसभा में शोषित वंचित समाज सम्मेलन को संबोधित करते हुए गठबंधन के मुद्दे पर असदुद्दीन ओवैसी ने अखिलेश यादव को घेरा और उनके तुष्टिकरण और वोट बैंक वाली राजनीति का कच्चा चिट्ठा खोल दिया। उन्होंने कहा कि ‘अखिलेश साहब, इल्ज़ाम तो बस हम पर ही लगते हैं, आप पर तो कुछ नहीं लगता? आप रिवरफ्रंट बनाए, लखनऊ से कानपुर तक रोड बनाएं आप पर कोई आरोप नहीं, सड़कें बनाए, सब कुछ करें। आपकी दसों उंगलियां घी में थीं, मगर बकरी चोरी और भैंस चोरी का आरोप आज़म पर लगा।’
उन्होंने आगे कहा कि ये इल्जाम सिर्फ हम पर लगता है, 60 साल से लग रहा है. कभी आतंकवाद का, कभी फिरकापरस्ती के तो कभी पुलिस को मारने के। ओवैसी ने आगे कहा कि ‘यादव साहब इल्ज़ाम तो भारत के मुसलमानों के मुकद्दर का हिस्सा बन चुका है, अब हम इल्ज़ामात की फिक्र नहीं करेंगे। सुन लो अखिलेश यादव हमें तुमसे कोई सर्टिफिकेट की जरूरत नहीं है। मैं जनता के बीच जाकर दिल की बात करूंगा। तुम क्या दोगे, तुम 11 फीसद यादव हो, हम 19 फीसद मुसलमान हैं। अगर तुम मुख्यमंत्री बने या जनाब मुलायम सिंह मुख्यंत्री बने तो मुसलमानों के वोट की खैरात से बने यह याद रखो।’
असदुद्दीन ओवैसी ने आगे कहा कि जो लोग मुझे फिरकापरस्त कहते हैं। उनसे मैं सवाल करना चाहता हूं कि हरिद्वार में धर्म संसद में मुसलमानों के खिलाफ बात की जाती है, लेकिन अभी तक किसी की कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है। जब मुसलमानों के कत्लेआम की बात की जाती है, तब धर्म संसद के लोगों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होती है। यह वह भारत नहीं है, जिसको हमने अपने खून से आजाद किया था। भारत सबका है, लेकिन भाजपा इस मुल्क को सिर्फ एक मजहब से जोड़कर मानती है।
सत्ता पाने के बाद मुस्लिमों को भूल जाती है सपा
उसके बाद एक हिंदी टीवी चैनल के साथ बात करते हुए असदुद्दीन ओवैसी ने समाजवादी पार्टी को लेकर कुछ ऐसा कह दिया, जो चर्चा का हिस्सा बन गया है। न्यूज18 को दिए इंटरव्यू में एसपी से गठबंधन के सवाल पर ओवैसी ने कहा कि मोहब्बत कभी भी एकतरफा नहीं हो सकती है। उन्होंने एसपी पर वार करते हुए कहा कि ‘सत्ता पाने के बाद समाजवादी पार्टी मुस्लिमों को भूल जाती है। हम फ़साद में मारे जाते हैं और हमारी लाशों पर सत्ता आपको मिलती है। उन्होंने आगे कहा कि अखिलेश यादव उनपर आरोप लगाते रहते हैं। ओवैसी ने कहा, अखिलेश यादव ने ही बयान देकर जिन्ना को चुनावी मुद्दा बनाया, जिसकी वजह से बीजेपी को मुसलमानों के खिलाफ नफरत फैलाने का मौका मिला।
न्यूज18 ने जब असदुद्दीन ओवैसी से अखिलेश यादव चुनावी गठबंधन पर सवाल पूछा तो उन्होंने कहा कि “अक्सर लोग कहते हैं, ओवैसी अलायंस नहीं करना चाहते। हम तो अलायंस चाहते हैं। अब अगर कोई हमको नीचे गिराएगा और कहेगा इन पर इल्ज़ाम लगते हैं। मोहब्बत एकतरफा नहीं हो सकती। यह स्थिति धीरे-धीरे गम्भीर होते जा रही है।” गौरतलब है कि एक समय सपा का वोट बैंक माने जाने वाले यादव भी बड़ी संख्या में भाजपा के समर्थक हो गए हैं। प्रदेश में मुस्लिम वोट एक तरफ न जाये, यूपी की सियासत में इंट्री के साथ ही असदुद्दीन ओवैसी ने यह भी तय कर दिया है। आगामी चुनाव में कांग्रेस, सपा और AIMIM में मुस्लिम वोट बंटने की संभावना प्रबल है!
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