सिडनी में भारत और ऑस्ट्रेलिया (Ind vs Aus) के बीच खेले जा रहे पांचवें और अंतिम टेस्ट के पहले दिन का खेल रोमांचक रहा। भारत की पहली पारी महज 185 रनों पर सिमट गई, लेकिन दिन का अंत होते-होते भारतीय गेंदबाजों ने भी अपनी मौजूदगी दर्ज कराई। तीसरे ही ओवर में जसप्रीत बुमराह ने ओपनर उस्मान ख्वाजा को आउट कर भारत को पहली सफलता दिलाई। स्टंप्स तक ऑस्ट्रेलिया का स्कोर 9 रन पर 1 विकेट रहा।
टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी भारतीय टीम की शुरुआत बेहद खराब रही। ऐसा लग रहा था कि बल्लेबाजों को पिच पर पैर जमाने का मौका ही नहीं मिला। महज 17 रन के भीतर दोनों ओपनर पवेलियन लौट गए। विराट कोहली (Virat Kohli) से बड़ी उम्मीदें थीं, लेकिन वह भी अपनी पुरानी गलती दोहराते हुए ऑफ स्टंप के बाहर जाती गेंद पर छेड़छाड़ कर बैठे और विकेट के पीछे कैच आउट हो गए। यह इस सीरीज में सातवीं बार हुआ जब कोहली विकेट के पीछे लपके गए। उनका खराब फॉर्म टीम के लिए लगातार चिंता का कारण बना हुआ है।
हालांकि मुश्किल वक्त में रविंद्र जडेजा और ऋषभ पंत (Rishabh Pant) ने थोड़ी राहत दी। दोनों ने मिलकर 48 रनों की अहम साझेदारी की। पंत ने सबसे ज्यादा 40 रन बनाए, जबकि अंत में कप्तान बुमराह ने 22 रन की तेजतर्रार पारी खेलकर स्कोर को 185 तक पहुंचाने में मदद की।
हालांकि यह स्कोर जीत के लिए पर्याप्त नहीं दिखता, लेकिन अब गेंदबाजों पर उम्मीदें टिकी हैं कि वे सिडनी की मददगार पिच पर ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को जल्दी आउट करके भारत को वापसी का मौका दिलाएंगे।
बुमराह की धमाकेदार वापसी के साथ भारत की गेंदबाजी की शुरुआत
सिडनी टेस्ट में भारत की गेंदबाजी की शुरुआत थोड़ी रोमांचक रही। पहली ही गेंद पर ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज कॉंस्टास ने चौका जड़ते हुए अपनी टीम को आक्रामक अंदाज में आगे बढ़ाया। हालांकि, जसप्रीत बुमराह ने जल्दी ही पलटवार किया और तीसरे ओवर में ओपनर उस्मान ख्वाजा को पवेलियन वापस भेजकर भारत को पहली सफलता दिलाई। पहले दिन के खेल खत्म होने तक ऑस्ट्रेलिया ने 3 ओवर में 9 रन पर 1 विकेट गंवा दिया था।
भले ही शुरुआत में भारतीय फैंस को चौके से झटका लगा हो, लेकिन बुमराह और प्रसिद्ध कृष्णा की जोड़ी से अब भी बड़ी उम्मीदें हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक, सिडनी की यह पिच तेज गेंदबाजों के लिए मददगार बनी हुई है। अगर बुमराह अपनी घातक यॉर्कर और प्रसिद्ध अपनी बाउंस से सही लाइन-लेंथ पर गेंदबाजी करते रहे, तो भारत को जल्दी विकेट मिलने का पूरा मौका है। फैंस को अब बस यही उम्मीद है कि यह जोड़ी जल्द ही ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को दबाव में लाकर मैच का रुख भारत की ओर मोड़ेगी।
विराट का खराब फॉर्म: टीम इंडिया के लिए बढ़ती चिंता
विराट कोहली, जिन्हें कभी भारतीय टीम की रीढ़ माना जाता था, इस सीरीज में अपने पुराने रंग में लौटते नहीं दिखे। सिडनी टेस्ट में भी उनकी पारी निराशाजनक रही। 69 गेंदों में सिर्फ 17 रन बनाकर वह एक बार फिर वही पुरानी गलती दोहराते हुए आउट हो गए—ऑफ स्टंप के बाहर जाती गेंद को खेलने के चक्कर में। इस दौरान उनका एक भी चौका न लगाना साफ तौर पर बताता है कि वह पूरी पारी के दौरान आत्मविश्वास की कमी से जूझते रहे।
पिछले एक साल में कोहली का प्रदर्शन उम्मीदों से काफी दूर रहा है। पर्थ में शतक लगाने के बाद से उनकी बैटिंग में स्थिरता नजर नहीं आई। आंकड़े बताते हैं कि बीते एक साल में उन्होंने केवल दो बार ही 50 से ज्यादा का स्कोर बनाया है। इस ऑस्ट्रेलिया दौरे पर उन्होंने आठ पारियों में बल्लेबाजी की, जिनमें कुल 184 रन बनाए।
सबसे चिंता की बात यह है कि इन आठ पारियों में सात बार वह तेज गेंदबाजों की ऑफ स्टंप के बाहर जाती गेंद पर कैच आउट हुए हैं। कई बार ऐसा लगा कि वह उसी जाल में फंस रहे हैं जिसे गेंदबाजों ने उनके लिए तैयार किया है। स्कॉट बोलैंड ने तो अकेले तीन बार उन्हें आउट किया। उनकी पारियां 17, 5, 36, 3, 11, 7, 100*, और 5 रन की रही हैं, जो उनके संघर्ष को बखूबी बयान करती हैं। टीम इंडिया के लिए यह स्थिति चिंताजनक है, क्योंकि जब तक कोहली जैसे सीनियर बल्लेबाज रन नहीं बनाएंगे, टीम का आत्मविश्वास पूरी तरह से नहीं लौटेगा।