TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • बिहार डायरी
    • मत
    • समीक्षा
    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    जब भारत का लोकतंत्र मजबूत खड़ा है, हाइड्रोजन बम से दावे नहीं चलेंगे: राहुल गांधी के आरोप पर बीजेपी का जवाब

    जब भारत का लोकतंत्र मजबूत खड़ा है, हाइड्रोजन बम से दावे नहीं चलेंगे: राहुल गांधी के आरोप पर बीजेपी का जवाब

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    The Power of Reading in Building Economic Awareness

    The Power of Reading in Building Economic Awareness

    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशियाकी नई शक्ति-संतुलन रेखा

    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशिया की नई शक्ति-संतुलन रेखा

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    तेजस Mk1A और ‘स्वयं‑रक्षा कवच’: भारत के हल्के लड़ाकू विमान को स्टील्थ क्षमता देने की पूरी कहानी

    स्वदेशी तकनीक की ताकत: तेजस Mk1A को स्टील्थ बना DRDO ने बदल दिया युद्ध का नक्शा

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    मुनीर की ताजपोशी और अमेरिका-चीन की शह: पाकिस्तान में शुरू हुआ सत्ता-सेना गठबंधन का नया संस्करण, भारत को सीधे चुनौती

    मुनीर की ताजपोशी और अमेरिका-चीन की शह: पाकिस्तान में शुरू हुआ सत्ता-सेना गठबंधन का नया संस्करण, भारत को सीधे चुनौती

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    तेजस Mk1A और ‘स्वयं‑रक्षा कवच’: भारत के हल्के लड़ाकू विमान को स्टील्थ क्षमता देने की पूरी कहानी

    स्वदेशी तकनीक की ताकत: तेजस Mk1A को स्टील्थ बना DRDO ने बदल दिया युद्ध का नक्शा

    जो देश के लिए लड़ता रहा, अब देश उसके लिए खड़ा है: मेजर विक्रांत जेटली की वीरता और भारत की ताकत

    जो देश के लिए लड़ता रहा, अब देश उसके लिए खड़ा है: मेजर विक्रांत जेटली की वीरता और भारत की ताकत

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    कार्तिक पूर्णिमा 2025: शिव-त्रिपुरारी से भगवान विष्णु मत्स्य अवतार तक, पौराणिक कथाओं का अद्भुत संगम

    कार्तिक पूर्णिमा 2025: शिव-त्रिपुरारी से भगवान विष्णु मत्स्य अवतार तक, पौराणिक कथाओं का अद्भुत संगम

    नगीना मस्जिद हमला

    जब सरदार पटेल पर मुस्लिम भीड़ ने किया था जानलेवा हमला:  घटना तो दूर 86 वर्षों तक हमलावरों के नाम भी सामने क्यों नहीं आने दिए गए ?

    सरदार पटेल: लौहपुरुष जिन्होंने मातृभूमि के लिए अपना सबकुछ कुर्बान कर दिया

    सरदार पटेल: लौहपुरुष जिन्होंने मातृभूमि के लिए अपना सबकुछ कुर्बान कर दिया

    क्या नेताजी सचमुच 1945 में मारे गए थे? मुथुरामलिंगा थेवर और गुमनामी बाबा ने खोला रहस्य

    क्या नेताजी का निधन सचमुच 1945 विमान हादसे में हुआ था? मुथुरामलिंगा थेवर और गुमनामी बाबा ने खोला रहस्य

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    आत्मनिर्भर भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • बिहार डायरी
    • मत
    • समीक्षा
    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    जब भारत का लोकतंत्र मजबूत खड़ा है, हाइड्रोजन बम से दावे नहीं चलेंगे: राहुल गांधी के आरोप पर बीजेपी का जवाब

    जब भारत का लोकतंत्र मजबूत खड़ा है, हाइड्रोजन बम से दावे नहीं चलेंगे: राहुल गांधी के आरोप पर बीजेपी का जवाब

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    The Power of Reading in Building Economic Awareness

    The Power of Reading in Building Economic Awareness

    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशियाकी नई शक्ति-संतुलन रेखा

    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशिया की नई शक्ति-संतुलन रेखा

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

    तेजस Mk1A और ‘स्वयं‑रक्षा कवच’: भारत के हल्के लड़ाकू विमान को स्टील्थ क्षमता देने की पूरी कहानी

    स्वदेशी तकनीक की ताकत: तेजस Mk1A को स्टील्थ बना DRDO ने बदल दिया युद्ध का नक्शा

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    मुनीर की ताजपोशी और अमेरिका-चीन की शह: पाकिस्तान में शुरू हुआ सत्ता-सेना गठबंधन का नया संस्करण, भारत को सीधे चुनौती

    मुनीर की ताजपोशी और अमेरिका-चीन की शह: पाकिस्तान में शुरू हुआ सत्ता-सेना गठबंधन का नया संस्करण, भारत को सीधे चुनौती

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    भारत-विरोधी विचारों वाला मेयर: Zohran Mamdani की राजनीति और पश्चिमी लोकतंत्र में फैलती हिंदू फोबिया

    तेजस Mk1A और ‘स्वयं‑रक्षा कवच’: भारत के हल्के लड़ाकू विमान को स्टील्थ क्षमता देने की पूरी कहानी

    स्वदेशी तकनीक की ताकत: तेजस Mk1A को स्टील्थ बना DRDO ने बदल दिया युद्ध का नक्शा

    जो देश के लिए लड़ता रहा, अब देश उसके लिए खड़ा है: मेजर विक्रांत जेटली की वीरता और भारत की ताकत

    जो देश के लिए लड़ता रहा, अब देश उसके लिए खड़ा है: मेजर विक्रांत जेटली की वीरता और भारत की ताकत

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    भारत ने चुपचाप बनाई नई भू-रणनीतिक धुरी, पीओके से लेकर बलूचिस्तान तक पाकिस्तान की दरकने लगी ‘पूर्वी दीवार’, जानें क्या है तालिबान-दिल्ली डील का असली मतलब?

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    कार्तिक पूर्णिमा 2025: शिव-त्रिपुरारी से भगवान विष्णु मत्स्य अवतार तक, पौराणिक कथाओं का अद्भुत संगम

    कार्तिक पूर्णिमा 2025: शिव-त्रिपुरारी से भगवान विष्णु मत्स्य अवतार तक, पौराणिक कथाओं का अद्भुत संगम

    नगीना मस्जिद हमला

    जब सरदार पटेल पर मुस्लिम भीड़ ने किया था जानलेवा हमला:  घटना तो दूर 86 वर्षों तक हमलावरों के नाम भी सामने क्यों नहीं आने दिए गए ?

    सरदार पटेल: लौहपुरुष जिन्होंने मातृभूमि के लिए अपना सबकुछ कुर्बान कर दिया

    सरदार पटेल: लौहपुरुष जिन्होंने मातृभूमि के लिए अपना सबकुछ कुर्बान कर दिया

    क्या नेताजी सचमुच 1945 में मारे गए थे? मुथुरामलिंगा थेवर और गुमनामी बाबा ने खोला रहस्य

    क्या नेताजी का निधन सचमुच 1945 विमान हादसे में हुआ था? मुथुरामलिंगा थेवर और गुमनामी बाबा ने खोला रहस्य

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    आत्मनिर्भर भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

फिर ढेर हुए 31 नक्सली, तेजी से सिमट रहा लाल आतंकियों का दायरा: आंकड़ों में समझिए साल भर में नक्सलियों का सफाया कितनी बड़ी चुनौती-कितना बड़ा नेटवर्क-किन राज्यों में मौजूदगी

Akash Sharma Nayan द्वारा Akash Sharma Nayan
10 February 2025
in क्राइम, चर्चित, रक्षा, रणनीति
नक्सली बीजापुर

तेजी से सिमट रहा लाल आतंकियों का दायरा (फ़ोटो साभार: TNW)

Share on FacebookShare on X
अनुच्छेद 370 हटने के बाद से कश्मीर में शांति है। पाकिस्तान परस्त आतंकवाद सफाए के करीब है। देश के अन्य हिस्सों में आतंक की साजिश रचने वाले आतंकी भी लगातार जांच एजेंसियों द्वारा पकड़े जा रहे हैं। लेकिन देश के अंदर बैठे नक्सली लगातार हिंसक घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं। हाल ही में छत्तीसगढ़ के बीजापुर में हुए नक्सली हमले में 8 जवान और एक ड्राइवर बलिदान हो गए थे। इसका बदला लेते हुए जवानों ने अब तक 45 नक्सलियों को मार गिराया है। राज्य और केंद्र सरकार नक्सलियों के खात्मे के लिए भरपूर प्रयास कर रही है। इन लाल आतंकियों के सफाए के लिए गृह मंत्री अमित शाह 2026 तक का अल्टीमेटम भी दे चुके हैं।
ऊपर जिन 45 नक्सलियों के मारे जाने की बात लिखी गई है। उसमें से 31 नक्सलियों को सुरक्षा बलों ने रविवार (9 फरवरी, 2025) को मार गिराया गया है। नक्सलियों और जवानों के बीच यह मुठभेड़ छत्तीसगढ़-महाराष्ट्र बॉर्डर पर हुई। दुखद यह है कि इस दौरान 2 जवान भी बलिदान हो गए, साथ ही 2 जवान घायल भी हुए हैं। इस एनकाउन्टर के दौरान जवानों ने नक्सलियों के पास से भारी संख्या में हथियार और विस्फोटक सामग्री बरामद की है।
देश में आतंक का पर्याय बन चुके नक्सली यूं तो अब देश के 9 राज्यों में सीमित रह गए हैं। इसमें छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, ओडिशा, झारखंड, पश्चिम बंगाल, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र शामिल और केरल शामिल हैं। इन प्रदेशों में भी नक्सलियों की स्थिति नाज़ुक होती जा रही है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह कई मौकों पर साफ तौर पर कह चुके हैं कि 31 मार्च 2026 तक नक्सलियों का सफाया हो जाएगा। गृह मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार बीते 5 सालों में नक्सली हिंसा में लगभग 50 प्रतिशत तक की कमी भी आई है। वहीं नक्सली हिंसा से मरने वालों की संख्या में भी 50 प्रतिशत से अधिक की कमी हुई है।
आम नागरिकों के अलावा पिछले 5 वर्षों में सुरक्षाबलों की जान जाने में भी बड़ी कमी देखने को मिली है। इसके अलावा नक्सलियों के एनकाउंटर में 65 प्रतिशत तक बढ़ोतरी हुई है। अर्थात नक्सली घटनाएं व उससे होने वाली जन धन हानि में बड़ी कमी आयी है। लेकिन नक्सली तेजी से मारे जा रहे हैं। देखा जाए तो नक्सलियों की शक्तियां ज़रूर कम हुई हैं, लेकिन बीते कुछ महीनों में जवानों पर घात लगाकर किए गए हमले नक्सलियों को कमज़ोर समझने के बढ़े खतरे को बयान करते हैं। एक बात तो साफ है कि अब नक्सलियों में अचानक से हमला करने की क्षमता बिल्कुल नहीं है, वह सिर्फ प्री-प्लानिंग के हिसाब से ही हमला कर रहे हैं।

ऐसा हमेशा से माना जाता रहा है कि नक्सली देश की सरकार को नेस्तनाबूद करने के लिए हिंसा की राह पर हैं। लेकिन इसमें वे धीरे-धीरे अपनी जमीन और पैदल सिपाही गंवाते जा रहे हैं। यदि सिर्फ छत्तीसगढ़ की ही बात करें जहां माओवादियों की सबसे अधिक मौजूदगी थी, ज्यादातर दक्षिणी जिलों में, माओवादियों के कब्जे वाले इलाके कम होकर महज 5,000 वर्ग किमी से भी कम रह गए हैं। एक दशक पहले के आंकड़े देखें तो 20,000 वर्ग किमी से अधिक इलाके पर नक्सलियों का ‘कब्जा’ था।

केंद्र में सत्ता स्थापित होने के बाद से नरेंद्र मोदी सरकार ने नक्सलियों और उससे जुड़े तमाम नेटवर्क को लगातार ध्वस्त करने का प्रयास किया है। सुरक्षा बलों ने भी खुलकर शहरी माओवादियों यानी अर्बन नक्सलियों पर भी शिकंजा कसा है। ज्यादातर अर्बन नक्सली या तो जेल में हैं या जो बाहर हैं उन पर पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों की कड़ी नजर है। इन सबके बाद भी नक्सली घटनाएं पूरी तह से खत्म नहीं हुई हैं।

आकंड़ों को देखें तो सिर्फ़ 2010 में माओवादी हिंसा में 1005 लोग मारे गए थे, यह संख्या साल 1999 में हुए कारगिल युद्ध में बलिदान हुए जवानों की संख्या के दोगुने से भी अधिक है। हालांकि इसके बाद से माओवादी हिंसा में शहीद होने वालों की तादाद धीरे-धीरे घटती गई है। अगस्त 2024 में, केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने नक्सलवाद से जुड़े आंकड़े संसद में रखे थे।

इस दौरान उन्होंने कहा था था कि 2010 की तुलना में 2024 में नक्सली घटनाओं में 73% की कमी आई है। इसी तरह से इन नक्सली घटनाओं में होने वाली मौतें भी 86% तक कम हुई हैं। 2010 में नक्सली घटनाओं में 1005 मौतें हुई थीं, जबकि 2023 में 138 लोग मारे गए थे। इनमें बलिदान हुए जवानों की संख्या भी शामिल है। उन्होंने यह भी कहा था कि साल 2013 तक देश भर के 10 राज्यों के 126 जिले नक्सल प्रभावित थे। वहीं, अप्रैल 2024 तक 9 राज्यों के 38 जिलों तक ही नक्सलियों का प्रभाव रह गया है।

अगर इतिहास को देखें तो 1990 के बाद से नक्सलवाद का खतरनाक रूप सामने आने लगा था। साल 1996 में नक्सली हमलों में कुल 156 लोगों की जान गई थी। साल 1997 में ये आंकड़ा बढ़कर 348 तक पहुंच गया था। फिर साल-दर-साल ये आंकड़ा बढ़ता ही रहा। तत्कालीन सरकारें नक्सली और उनके द्वारा की जाने वाली हिंसक घटनाओं को रोकने के प्रयास में लगी रहीं। लेकिन सफलता नहीं मिल रही थी।

साल 2009 और 2010 में नक्सली हमले में सबसे ज्यादा लोगों की मौत हुई। दोनों ही साल ये आंकड़ा एक हजार के पार रहा। कुल आंकड़ों की बात करें तो साल 1995 के बाद से 2024 तक कुल 5490 नक्सली घटनाएं हुई हैं, जिसमें करीब साढ़े 5 हजार से ज्यादा आम नागरिकों की मौत हुई है। वहीं इस दौरान 3 हजार से अधिक जवान भी बलिदान हुए। वहीं, 5 हजार से ज्यादा नक्सली भी मारे गए। एक तरीके देखें तो नक्सलियों की वजह से कुल मौत का आंकड़ा 14 हजार से अधिक का है।

4 साल पहले तक बिहार के 10 जिले नक्सलियों से प्रभावित थे, लेकिन अब वहां इनका सफाया हो चुका है। इसी तरहओडिशा, आंध्र प्रदेश, झारखंड और तेलंगाना जैसे राज्यों में भी नक्सली कुछ जिलों तक ही सिमट कर रह गए हैं। साल 2021 तक झारखंड के 16 जिले नक्सलियों से प्रभावित थे। हालांकि अब सिर्फ 5 जिलों में ही नक्सलियों का प्रभाव रह गया है। आंध्र प्रदेश का आलुरी सीतारामराजू, केरल का वायनाड और कन्नूर, मध्य प्रदेश का बालाघाट, मंडला और डिंडोरी, महाराष्ट्र का गढ़चिरौली और गोंदिया, तेलंगाना का भद्रादी-कोतागुदेम और मुलुगु और पश्चिम बंगाल का झारग्राम जिला ही नक्सल प्रभावित है।

केंद्र सरकार के आंकड़ों को देखें तो साल 2010 तक 96 जिलों के 465 पुलिस थानों तक नक्सलवाद फैला हुआ था। वहीं साल 2023 के आखिर तक नक्सली 42 जिलों के 171 पुलिस थानों तक सिमट कर रह गए थे। जून 2024 तक देश के 30 जिलों के 89 पुलिस थाने ही ऐसे थे, जहां नक्सलियों की मौजूदगी थी। आंकड़े बताते हैं कि पिछले कुछ सालों में देश में नक्सली कमजोर हुए हैं।

वहीं नक्सलियों के खात्मे के लिए चलाए जा रहे ऑपरेशन में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। लाल आतंकियों को मुख्य धारा में लाने के लिए सरकार द्वारा प्रयास किए जा रहे हैं। साथ ही कई योजनाएं भी चलाई जा रही हैं। हथियार छोड़कर घर वापस आने के लिए नक्सलियों को नौकरी, रोजगार, सरकारी योजनाओं का लाभ समेत कई प्रकार के प्रलोभन दिए जा रहे हैं। नक्सल प्रभावित इलाकों में सुरक्षा बलों का जाल बढ़ाया गया है। साथ ही निगरानी तंत्र को मजबूत करने के भरपूर प्रयास किए गए हैं।

इन तमाम बातों के बीच इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता कि छत्तीसगढ़ के कुछ इलाओं में नक्सलियों का नेटवर्क अब भी मजबूत है। उन्हें स्थानीय लोगों द्वारा आश्रय से लेकर सुरक्षाबलों के मूवमेंट तक की जानकारी उपलब्ध कराई जाती है। इतना ही नहीं नक्सलियों के घायल होने पर उनके इलाज में मदद भी स्थानीय लोग ही करते हैं। इसके पीछे एक कारण तो डर है और दूसरा यह कि जिनके घरों में आकर नक्सली रुकते हैं, उन्हें गांव के अन्य लोगों द्वारा किसी भी प्रकार से परेशान नहीं किया जाता। सीधे शब्दों में कहें तो प्रभाव दिखाने के लिए कई बार लोग नक्सलियों के मददगार बन जाते हैं। चूंकि नक्सली किसी भी मारने में दया नहीं दिखाते, इसलिए डर के चलते लोग नक्सलियों के छिपे होने या उनके मददगारों की सूचना सुरक्षा बलों तक नहीं पहुंचाते हैं।

छत्तीसगढ़ के बस्तर अंचल के नारायणपुर जिले में स्थित अबूझमाड़ के जंगल जिसका कुछ हिस्सा छत्तीसगढ़ समेत महाराष्ट्र तथा आंध्र प्रदेश मे पड़ता है, ये छत्तीसगढ़ के बीजापुर, नारायणपुर और दंतेवाड़ा में तकरीबन 4,000 किमी के भूभाग में फैले हैं, ये जंगल माओवाद के प्रमुख गढ़ रहे हैं, साथ ही नक्सलियों की सबसे बड़ी तादाद यहीं इकट्ठा रही है। अबूझमाड़ के जंगलों में ही नक्सली अपनी समानांतर सरकार चलाते रहे हैं जिसे वे ‘जनताना सरकार’ कहते हैं। लेकिन माओवादियों का सबसे बड़ा गढ़ है सुकमा जिसकी सीमा आंध्र प्रदेश, ओडिशा और तेलंगाना से सीधे मिलती है। सुकमा को ही ‘नक्सली हुकूमत की असल राजधानी’ भी कहा जाता है, यह वही सुकमा है जिसके नाम मात्र से माओवादियों की याद आ जाती है। इसके अलावा, हाल के दिनों में महाराष्ट्र और तेलंगाना की सीमा से सटे बीजापुर में भी नक्सली घटनाएं देखने को मिली हैं।

यूं तो सुकमा ‘नक्सलियों की राजधानी’ है, लेकिन सुकमा जिले की सीमा से लगे हुए दो और जिले भी इनसे प्रभावित हैं, पहला है ओडिशा का मलकानगिरि और तेलंगाना का भद्राद्री कोथागुडेम जिला। चूंकि सुकमा की सीमा 4 राज्यों से जुड़ती है। वहीं बीजापुर की सीमा 3 राज्यों से जुड़ती है। ऐसे में नक्सलियों के आने जाने व हथियारों के लिहाज से यह क्षेत्र जन्नत की तरह है। यहां के जंगल उनके लिए घर हैं, सिर्फ घर ही क्यों नक्सलियों के लिए सबसे सुरक्षित स्थान भी यहां के घने जंगल ही हैं, जिनकी आड़ में रहकर ये लाल आतंकी दशकों से खूनी खेल रहे हैं।

वास्तव में देखें तो नक्सली हर उस चीज़ से नफरत हैं जो विकास का रूपक है, चाहे वह सड़क हो, स्कूल, बिजली के खंभे या फिर मोबाइल टॉवर। आम तौर नक्सली सड़कों या ऐसे ही अन्य विकास को आईईडी लगाकर विस्फोट के जरिए नष्ट कर देते हैं। यहां तक कि नदियों के पुलों को भी नष्ट करने की कई घटनाएं सामने आ चुकी हैं। इन सबके बीच अहम बात यह है कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह नकलियों के खात्मे के लिए अपनी प्रतिबद्धता दिखा रहे हैं।

संबंधितपोस्ट

भारत से नक्सलवाद का अंत: पीएम मोदी के विज़न और अमित शाह के संकल्प की ऐतिहासिक जीत

जंगलराज बनाम सुशासन की वापसी! बिहार में बीजेपी का शब्द वार, ‘महालठबंधन’ की छवि को ध्वस्त करने की सुनियोजित रणनीति

अमित शाह का ‘मिशन बिहार’: नीतीश से चिराग और कुशवाहा तक, NDA की एकता का राजनीतिक संदेश

और लोड करें

नक्सल मुक्त भारत बनाने की दिशा में सुरक्षा बलों ने छत्तीसगढ़ के बीजापुर में बड़ी सफलता हासिल की है। इस ऑपरेशन में 31 नक्सलियों को ढेर करने के साथ ही भारी मात्रा में हथियार और विस्फोटक सामग्री भी बरामद की गयी है।

मानवता विरोधी नक्सलवाद को समाप्त करने में आज हमने अपने दो बहादुर…

— Amit Shah (@AmitShah) February 9, 2025

9 फरवरी को जवानों और नक्सलियों के बीच हुई मुठभेड़ के बाद उन्होंने एक्स पर पोस्ट कर कहा, “नक्सल मुक्त भारत बनाने की दिशा में सुरक्षा बलों ने छत्तीसगढ़ के बीजापुर में बड़ी सफलता हासिल की है। इस ऑपरेशन में 31 नक्सलियों को ढेर करने के साथ ही भारी मात्रा में हथियार और विस्फोटक सामग्री भी बरामद की गयी है। मानवता विरोधी नक्सलवाद को समाप्त करने में आज हमने अपने दो बहादुर जवानों को खोया है। यह देश इन वीरों का सदा ऋणी रहेगा। शहीद जवानों के परिजनों के प्रति भावपूर्ण संवेदनाएँ व्यक्त करता हूँ। साथ ही पुनः यह संकल्प दोहराता हूं कि 31 मार्च 2026 से पहले हम देश से नक्सलवाद को जड़ से समाप्त कर देंगे, ताकि देश के किसी भी नागरिक को इसके कारण अपनी जान न गंवानी पड़े।”

 

Tags: Amit ShahChhattisgarhNaxalismNaxaliteअमित शाहछत्तीसगढ़नक्सली
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

दिल्ली की हार के बाद अब पंजाब में AAP में हलचल, केजरीवाल ने विधायकों को तलब किया: जहां-जहां गए भगवंत मान, वो सारी सीटें हारी पार्टी

अगली पोस्ट

टोल से मिल जाएगी लाइफटाइम छुट्टी, नहीं करना होगा बार-बार रिचार्ज…सरकार ला रही खास प्लान

संबंधित पोस्ट

वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल
चर्चित

वोट के लिए कितनी नीचता तक गिर सकते हैं नेता? राहुल गांधी के सेना वाले बयान ने भारत में जाति की राजनीति पर उठाए गंभीर सवाल

5 November 2025

भारत का लोकतंत्र, उसकी सुरक्षा और सामाजिक संरचना हमेशा बहुआयामी रही है। यह केवल जाति, पंथ या वर्ग तक सीमित नहीं है। इसके भीतर साझा...

तेजस Mk1A और ‘स्वयं‑रक्षा कवच’: भारत के हल्के लड़ाकू विमान को स्टील्थ क्षमता देने की पूरी कहानी
आयुध

स्वदेशी तकनीक की ताकत: तेजस Mk1A को स्टील्थ बना DRDO ने बदल दिया युद्ध का नक्शा

5 November 2025

भारत की हवाई श्रेष्ठता और आत्मनिर्भर रक्षा रणनीति हमेशा से वैश्विक स्तर पर उसकी ताकत और प्रभाव का प्रतीक रही है। स्वदेशी तकनीकी विकास की...

जो देश के लिए लड़ता रहा, अब देश उसके लिए खड़ा है: मेजर विक्रांत जेटली की वीरता और भारत की ताकत
Uncategorized

जो देश के लिए लड़ता रहा, अब देश उसके लिए खड़ा है: मेजर विक्रांत जेटली की वीरता और भारत की ताकत

5 November 2025

भारत को समझना हो तो भारत के सैनिक को देखना पड़ता है। मेजर (रिटायर्ड) विक्रांत कुमार जेटली का मामला इस सच्चाई का जीवंत प्रमाण है...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

How an Unverified US Shoplifting Incident Is Turned Into A Political Attack Against India & Modi

How an Unverified US Shoplifting Incident Is Turned Into A Political Attack Against India & Modi

00:07:47

How Astra Mk-I Based VL-SRSAM will Power India’s Naval Air Defense Network?

00:05:52

What Is The Reason Behind India’s Withdrawal from Tajikistan’s Ayni Air Base?

00:06:48

How Pakistan’s Navy Is Linked to the Global Meth Smuggling Network?

00:04:44

How Marya Shakil Whitewashed RJD’s Genocidal ‘Bhura Baal Saaf Karo’ Slogan?

00:07:12
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited