पत्नी की संपत्ति में पति का कोई हक नहीं- सुप्रीम कोर्ट
26 April 2024
जो दर्द भारत ने झेला अब अमेरिका झेला रहा है।
26 April 2024
बचपन में दादी से एक बात सुने थे, इसे अगर लालू के जीवन के संदर्भ में देखें, तो ये कहना गलत नहीं होगा कि, “ललुआ बिना रहल न जाए, ललुआ देखे मूड़ पिराए!” इस लेख में जानिये समय क्यों आ जाएगा लालू प्रसाद यादव की पुनः जेल यात्रा का, और ...
कहते हैं कि बच्चे अपने पिता से सीखते हैं। भारतीय राजनीति में यह कहावत बिल्कुस सही साबित होती दिखती है। पिता राजीव गांधी ने सिख विरोधी दंगों और नरसंहार पर कहा था, 'बड़ा पेड़ गिरता है तो धरती हिलती ही है', उसी तरह राहुल गांधी भी आज कल प्रत्येक मुद्दे ...
आपको तो वह दृश्य याद ही होगा, जिसमें राहुल गांधी एक रैली में अपने कुर्ते की जेब में हाथ डालते हैं- हाथ डालकर वो दिखाना चाहते हैं कि उनके पास कुछ नहीं है और वो बहुत ईमानदार राजनेता हैं लेकिन सच नेशनल हेराल्ड के द्वारा अब सामने आ रहा है. ...
भ्रष्टाचार के साथ भी और भ्रष्टाचार के बाद भी एक ही नाम दोहराया जाएगा, लालू प्रसाद यादव और उनका परिवार! फर्क नहीं पड़ता कि वो सत्ता में रहे या न रहे, भ्रष्टाचार करना है तो कहीं से भी रास्ता निकाल ही लेंगे। केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने राष्ट्रीय जनता दल ...
कौआ चला देखो हंस की चाल, अब ममता चली हैं लालू की चाल। जी हां, यहां पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और आरजेडी के सर्वेसर्वा उन्हीं लालू प्रसाद को संबोधित किया गया है जो इन दिनों एक काम में जुड़वा भाई-बहन से कम नहीं लग रहे हैं। वो काम है भ्रष्टाचार ...
बिहार की राजनीति में आरजेडी भले ही आज सबसे बड़ी राजनीतिक पार्टी हो, किन्तु एक सत्य ये है कि आरजेडी के नेता तेजस्वी यादव पार्टी को हथियाने के प्रयास कर रहे हैं। वहीं दिलचस्प बात ये भी है कि आरजेडी संस्थापक लालू प्रसाद यादव भी तेजस्वी के साथ खड़े दिखाई ...
विरासत में मिली चीजों को अगली पीढ़ियां अकसर नहीं संभाल पाती हैं, क्योंकि उस विरासत के पीछे लगी मेहनत का कोई अंदाजा नहीं होता, कुछ ऐसा ही हाल देश की कई राजनीतिक पार्टियों के अगली पीढ़ी के नेताओं का भी है, जिन्हें राजनीतिक करियर थाली में सजाकर दिया गया है। ...
कमंडल की राजनीति के धुर विरोधी और मंडल राजनीति की धुरी लालू प्रसाद यादव के सुर अब बदलने लगे हैं। रथ-यात्रा से लेकर मोदी के विजयी रथ को रोकने की कोशिश करने वाले लालू की तल्खी अब थोड़ी हल्की हो गई है। भाजपा और आरएसएस के विचारों के कट्टर आलोचक ...
लालू प्रसाद यादव का नाम आते ही सबसे पहले उनका जंगलराज याद आता है। बिहार की वो कहानी जब शाम सात बजे के बाद लोगों का सड़कों पर घूमना दुश्वार था, लेकिन इन सब के बाद भी बिहार ने 15 वर्षों तक लालू का शासन देखा और लालू का समर्थन ...
बिहार के जंगलराज का पर्याय बन चुके लालू यादव वापस आ चुके हैं। परंतु वे अब न पहले जितने प्रभावशाली हैं; और न ही अब वे उतने धाकड़ हैं, जितने पहले थे। लालू यादव अपनों के लिए, अपनी ही पार्टी के लिए नासूर बन गए हैं, ठीक वैसे ही जैसे ...
बिहार की राजनीति में कोरोना को लेकर लगातार नौटंकी देखने को मिल रही हैं। ऐसा नहीं है कि राज्य में सारी व्यवस्था मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के शासन में अच्छी ही हैं, लेकिन कुछ को लेकर भ्रम भी फैलाया जा रहा है। ऐसे में जन अधिकार पार्टी के मुखिया पप्पू यादव ...
बिहार विधानसभा चुनावों के बाद भी विवादों का दौर समाप्त नहीं हुआ है। रिपोर्ट्स के मुताबिक RJD अपनी “लालूनीति” से अभी भी BJP के MLA को विधानसभा अध्यक्ष के चुनाव के लिए खरीद कर सरकार बनाने की कोशिश कर रही थी। रिपोर्ट्स के अनुसार लालू जेल से ही कई MLA ...