कमाल राशिद खान: बॉलीवुड के लिए जी का जंजाल!
लोगों का मनोरंजन करना एक कला है, लोगों को हंसाना उससे भी बड़ी कला है, परंतु सार्वजनिक तौर पर अपना पोपट बनाना और उसी को अपना व्यापार बनाना एक अद्वितीय कला है जिसकी सिद्धि सभी को नहीं मिलती है। ...
लोगों का मनोरंजन करना एक कला है, लोगों को हंसाना उससे भी बड़ी कला है, परंतु सार्वजनिक तौर पर अपना पोपट बनाना और उसी को अपना व्यापार बनाना एक अद्वितीय कला है जिसकी सिद्धि सभी को नहीं मिलती है। ...
बड़ी कठिन डगर है इस समय बॉलीवुड की। न कोई इनकी सुनना चाहता है, न कोई इनकी फिल्में चाहता है। ऊपर से सुधरने के बजाए इस उद्योग के कलाकार ऊटपटाँग बयान देकर अपनी ही लंका लगाने का पूर्ण प्रबंध ...
आखिर वो समय आ ही चुका है, देशप्रेमियों को जिसकी मानों दशकों से प्रतीक्षा थी। सदैव हमें इस बात से आपत्ति थी कि भारतीय सिनेमा भारत के असली नायकों और उनके योगदानों, भारत के असल इतिहास के अनुसार फिल्में ...
फर्जी खबरों का दायरा आजकल काफी बढ़ चुका है। आए दिन कोई ना कोई फर्जी खबर हमें फैलती हुए देखने को मिल ही जाती है। सोशल मीडिया के माध्यम से कुछ ही सेकेंड में फर्जी खबरों बड़ी तेजी से ...
जब पैरों के नीचे से जमीन खिसकती हुई दिखनी लगे तो आमतौर पर व्यक्ति बौखला जाता है। ऐसा ही कुछ हाल इस वक्त बॉलीवुड का हो रहा है। बायकॉट बॉलीवुड के ट्रेंड को जो बॉलीवुडिया गैंग अब तक मजाक ...
समय जब करवट लेता है तो राजा को रंक बनते देर नहीं लगती। एक समय ऐसा था जब तीनों खान बॉलीवुड के राजा हुआ करते थे और पूरी इंडस्ट्री पर राज करते थे। बॉलीवुड में तीनों खानों का सिक्का ...
आमिर खान की लाल सिंह चड्ढा बुरी तरह से फ्लॉप हो गई. दूसरे दिन आमिर खान की फ़िल्म ने 7.25 करोड़ रुपये कमाए. इस कमाई को जोड़कर देखा जाए तो 2 दिन में लाल सिंह चड्ढा ने कुल 18.75 ...
भारत अपनी स्वतंत्रता का 75वां वर्ष मना रहा है. ऐसे वक्त में पूरे देश में लोगों के बीच उत्साह है. सरकार हर घर तिरंगा अभियान चला रही है. लेकिन इस ख़ुशी में- इस उत्साह में- इस स्वतंत्रता में कुछ ...
गेंहू के साथ घुन भी पिस जाता है, अभिनेता अक्षय कुमार की रक्षा बंधन मूवी की हालत भी कुछ ऐसी ही हो गई है जो वास्तव में नहीं होनी चाहिए थी। फिल्म रक्षाबंधन 11 अगस्त को रिलीज़ हो गई ...
कमाल की बात है न, ई बॉलीवुड का गोला मा गजब ही झोल मिलते रहते हैं। जब भी सोचो कि बॉलीवुड में कुछ अच्छा होगा, तभी कुछ न कुछ कांड हो ही जाना है। लाल सिंह चड्ढा के बॉयकॉट ...
हम अपना इतिहास उठाकर देखेंगे तो इसे वीरगाथाओं से भरा पाएंगे। ऐसे ना जाने कितने वीरे थे, जिन्होंने देश के लिए लड़ते-लड़ते अपने प्राण न्यौछावर कर दिए। केवल वीर ही नहीं ऐसी कई वीरंगनाएं भी रही, जिन्होंने देश के ...
"मिटाने से नहीं मिटते, डराने से नहीं डरते, वतन के नाम पर हम सर कटाने से नहीं डरते" द लीजेंड ऑफ भगत सिंह फिल्म के यह बोल भारत भूमि की भव्यता को परिलक्षित करते हैं। अब भारत भूमि की ...
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