केंद्र की मोदी सरकार अंतरिम बजट या इससे पहले किसानों और एग्रीकल्चर सेक्टर के लिए बड़े पैकेज का ऐलान कर सकती है। सरकार लगातार किसानों के लिए हितकारी योजनाओं पर काम कर रही है। इस कड़ी में अब मोदी सरकार देश के किसान को ब्याज रहित और बिना गांरटी वाला लोन उपलब्ध कराने की योजना पर काम कर रही है। सूत्रों के अनुसार कृषि मंत्रालय नीति आयोग के साथ बातचीत करके एक ऐसी योजना बना रहा है जिसमें छोटे और सीमांत किसानों की आय बढ़ाने और वित्तीय सहायता देना शामिल होगा। इस योजना में किसानों को तीन लाख रुपये तक का ब्याज रहित लोन दिए जाने की बात कही जा रही है। सरकार पहले से ही ऐसे किसानों को ब्याज पर सब्सिडी दे रही है, जो समय पर अपना कर्ज अदा कर रहे हैं। सरकारी सूत्रों के अनुसार वित्त मंत्रालय पहले ही सभी मंत्रालयों और विभागों से नई योजनाओं को लेकर उनकी फंडिंग से जुड़ी जरूरतों के बारे में पूछ चुका है। ताकि वह फरवरी में पेश होने वाले बजट में उसे शामिल कर सके।
किसानों के इस पैकेज में सरकार का दूसरा प्रस्ताव बिना गारंटी के कर्ज उपलब्ध करवाने का है। इस कर्ज की राशि 2-3 लाख रुपये होगी। हालांकि, बैंक तब तक बिना गारंटी के कर्ज देने को लेकर सहज नहीं दिख रहे जब तक कि, सरकार क्रेटिड गारंटी तंत्र को लागू नहीं करती।
दरअसल, बैंकर्स और रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया राज्यों द्वारा की जाने वाली कर्जमाफी के खिलाफ है। रिजर्व बैंक के गवर्नर शशिकांत दास ने हाल ही में किसानों की कर्जमाफी के कल्चर को गलत बताया था। शशिकांत दास ने कहा था कि, कर्जमाफी से क्रेडिट कल्चर और कर्जदाताओं के व्यवहार पर प्रतिकूल प्रभाव डालता है। सूत्रों के मुताबिक बैंकों के प्रतिनिधि वित्त मंत्रालय के साथ संपर्क में है। बैंक बिना संपत्ति गिरवी रखे किसानों को लोन देने के मुद्दे पर सरकार से अलग रुख अपना रही हैं। ऐसे में अभी इस मुद्दे पर चर्चा चल रही है कि, क्या उन किसानों को ही ब्याज मुक्त कर्ज और अन्य किसान कल्याणकारी योजनाओं का फायदा दिया जाएं, जो समय पर कर्ज अदा करते है, या फिर सभी किसानों के लिए कोई स्कीम लाएं।
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की एक शोध रिपोर्ट के अनुसार, ‘किसानों की कर्जमाफी परेशानी का हल नहीं है। हमें किसानों की आय को बढ़ाना होगा। इसीलिए पूरे भारत में आय बढ़ाने वाली योजना को लागू करने की सख्त जरूरत है।’ देश में 21.6 करोड़ छोटे और मंझले किसान हैं। जिनमें से ज्यादातर कर्ज वापस करने या कर्ज के लिए गारंटी देने की स्थिति में नहीं हैं। इस तरह की योजना के जरिए उनकी जरूरतों को पूरा किया जाएगा।
गौरतलब है कि, केंद्र सरकार की एक योजना यह भी आने वाली है, जिसमें किसानों को खेती के लिए 4000 रूपए प्रति एकड़ की दर से हर सीजन में आर्थिक मदद दी जाएगी। मोदी सरकार अब किसानों की आर्थिक स्थिति मजबूत करने की दिशा में बड़ी तेजी से काम कर रही है। आने वाले बजट में किसानों से जुड़ी योजनाओं के लिए एक बड़ा पैकेज होने की बातें कही जा रही हैं।