प्रधानमंत्री मोदी की अगुआई में देश को एक और तोहफा मिल गया है। हाल ही में गुजरात में बनी दुनिया की सबसे बड़ी प्रतिमा यानी स्टैच्यू ऑफ यूनिटी को अब पर्यटक सी प्लेन से भी देख सकेंगे। यही नहीं, इसके अलावा पर्यटक गुजरात के चार अन्य स्थलों के लिए भी सी प्लेन से यात्रा कर सकेंगे। इसके लिए केन्द्र सरकार योजनाएं तैयार कर रही है। गुजरात विधानसभा चुनाव में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी सी प्लेन से चुनाव प्रचार कर चुके है।
यह जानकारी गुजरात पर्यटन विभाग के प्रबंधन निदेशक जैन देवन ने दी है। जैन देवन ने बताया कि केवडिया में स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के लोकार्पण होने के बाद से यह स्थल विश्वभर में फेमस हो गया है। यहां स्टैच्यू ऑफ यूनिटी का दीदार करने के लिए देश भर से लोग पहुंच रहे हैं। खबरों की मानें तो केवल स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के टिकट से डेढ़ महीने में दस करोड़ की आवक हुई है। यही कारण है कि अब गुजरात सरकार द्वारा पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए तमाम प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध कराने का काम कर रही है।
जैन देवन ने कहा कि दिल्ली की एविएशन कंपनी ने स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के पास पर्यटकों के लिए हेलिकॉप्टर सेवा की शुरुआत की है। इसके लिए यहां एक हेलीपैड बनाया गया है। एक बार में छह से सात पर्यटक 10 मिनट तक हेलिकॉप्टर में बैठकर स्टैच्यू आफ यूनिटी, नर्मदा बांध, वैली आफ फ्लावर सहित आसपास का नजारा देख सकेंगे। इसके लिए प्रति व्यक्ति 2900 रुपये चुकाने पड़ेंगे। केवल तीन दिनों में ही 100 से अधिक पर्यटकों ने हेलिकॉप्टर में बैठकर यह नजारा देखा है। पर्यटकों के उत्साह को देखते हुए आगामी दिनों दूसरे हेलिकॉप्टर भी लाये जायेंगे।
देवन ने यह भी बताया कि सरकार ने प्रदेश के चार स्थलों से केवडिया कालोनी तक सी प्लेन उड़ाने की भी योजना बनायी है। अहमदाबाद के साबरमती रिवरफ्रन्ट, धरोई डेम, शैंत्रूज्य डेम तथा नर्मदा बांध के बीच सी प्लेन उड़ाया जाएगा। पर्यटक सी प्लेन से केवडिया कालोनी तक भी जा सकेंगे। इसके लिए केन्द्र सरकार ने पर्यटक विभाग में से स्पेशियल ग्रान्ट आवंटित करने की घोषणा की है। नागरिक उड्डयन विभाग द्वारा सीप्लेन उड़ाने का परिक्षण किया जा रहा है। इसमें सफलता मिलने के बाद इस योजना का अमल किया जायेगा।
अधिकारियों ने बताया कि सरकार के इसी निर्णय को देखते हुए स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के आसपास के इलाके से लगभग 300 से ज्यादा मगरमच्छों को दूसरी जगहों पर भेजा जा रहा है। वन अधिकारियों का कहना है कि पर्यटकों के लिए सी-प्लेन सेवा शुरू करने से पहले सुरक्षा के लिहाज से यह फैसला किया गया। उनका मानना है कि 182 मीटर ऊंची वल्लभभाई पटेल की इस प्रतिमा को देखने के लिए देश-विदेश से पर्यटक यहां पहुंचते हैं। अब सी-प्लेन के शुरू होने से यह संख्या और तेजी से बढ़ने की संभावना है। ऐसे में पर्यटकों की सुरक्षा के लिहाज से ऐसा निर्णय लिया जा रहा है। वन अधिकारी अनुराधा साहू ने बताया कि तीन मीटर से ज्यादा लंबाई के मगरमच्छों को शिफ्ट किया जा रहा है। इन्हें पिंजरों में बंद करके ट्रक के जरिए गुजरात की ही दूसरी जगहों पर शिफ्ट किया जा रहा।
बता दें कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पिछले साल गुजरात विधानसभा चुनाव के समय ही अहमदाबाद के सबरमती रिवरफ्रंन्ट से सीप्लेन में बैठकर धरोई डेम तक की यात्रा की थी। इसके बाद वे अंबाजी मंदिर में दर्शन करने के बाद चुनावी सभा को सम्बोधित कर सी प्लेन में बैठकर वापस अहमदाबाद रिवरफ्रंन्ट आये थे।
दूसरी तरफ सरकार ने गुजरात में साधुबेट टापू पर स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के पास स्थित गुरुडेश्वर मंदिर के निकट नर्मदा घाट बनाने का निर्णय लिया है। खबरों की मानें तो जिस तरह से वाराणसी में भव्य गंगा आरती की जाती है उसी तरह नर्मदा बांध के भी घाट बनाकर वहां नर्मदा नदी की आरती की जायेगी। जानकारों की मानें तो मोदी सरकार के इस निर्णय से राज्य सरकार के राजस्व में बढ़ोत्तरी होगी और लोगों को रोजगार मिलेगा।