चुनावी नतीजों के लिहाज से बीजेपी के लिए आज का दिन सबसे बेहतरीन रहा है। बिहार विधानसभा चुनावों में रुझानों ने तो उसे बहुमत दे दिया है लेकिन बीजेपी के लिए उपचुनाव हमेशा ही निराशाजनक रहते हैं। इसके बावजूद इस बार बीजेपी के लिए उपचुनाव भी खुशखबरी लेकर आए हैं। मध्य प्रदेश के विधानसभा उपचुनाव में जहां बीजेपी का ज्योतिरादित्य सिंधिया फैक्टर सामने आया है तो दूसरी ओर यूपी में उसे सपा-बसपा की लड़ाई का फायदा मिला है। इन सारी परिस्थितियों को देखते हुए ये कहा जा सकता है कि बीजेपी ने अपने बिगड़े उपचुनावी नतीजों के ग्राफ को एक झटके में ही सुधार दिया हैं।
मध्य प्रदेश के महत्वपूर्ण विधानसभा उप-चुनावों ने बीजेपी की बल्ले-बल्ले करवा दी है। बीजेपी यहां 28 सीटों में से 21 पर आगे चल रही हैं। वहीं कांग्रेस को 6 सीटों पर ही बढ़त मिलती दिख रही है। इस बढ़त के आधार पर इस वक्त सबसे ज्यादा खुश मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान होंगे। उन्होंने अपनी एक रैली के दौरान कहा भी था कि वो अभी अल्पमत में थे। इन रुझानें के नतीजों में बदलने के साथ ही प्रदेश में अब शिवराज की सरकार बहुमत में आ जाएगी और उसे अब हटाने का दम किसी में भी नहीं होगा।
सिंधिया का जादू
मध्य प्रदेश के विधानसभा उप-चुनावों में जिस तरह से बीजेपी ने अपनी अल्पमत की सरकार के लिए बहुमत हासिल किया है उसमें सबसे महत्वपूर्ण भूमिका ज्योतिरादित्य सिंधिया की ही है। सिंधिया के कांग्रेस से बीजेपी में आने के कारण बीजेपी की सरकार तो बनी लेकिन विधानसभा उपचुनाव करना पड़ा और अब उपचुनावों में सबसे ज्यादा जादू सिंधिया का ही चला है । 28 में से 16 सीटों पर सिंधिया के कारण ही बीजेपी को जीत मिलती दिख रही है, जो कि बीजेपी के लिए फायदेमंद कदम साबित हुआ। सिंधिया को ग्वालियर चंबल में एक बड़े नेता के रुप में देखा जाता है और वो इन परिणामों से भी सिद्ध हो रहा है।
केवल मध्य प्रदेश ही नहीं इस बार उत्तर प्रदेश के उपचुनावों में भी बीजेपी को बड़ा फायदा ही हुआ है। बीजेपी को यूपी में उपचुनाव की सात सीटों में से 6 पर बढ़त मिल गई है। सतवीं सीट पर सपा और निर्दलीय उम्मीदवार के बीच टक्कर की स्थिति है। पिछले उपचुनाव में बीजेपी पहले काफी सीटें हार चुकी थी जिसके बाद ये माना जाने लगा था कि अब यूपी में सीएम योगी आदित्यनाथ का जादू खत्म हो रहा है। ऐसे में सीएम योगी के नेतृत्व में उपचुनावों के दौरान जीत हासिल करके सभी सवाल उठाने वालों को भाजपा ने एक झटका दिया है।
हाल में बसपा-सपा के बीच लड़ाई का भी बीजेपी को बड़ा फायदा मिला है। बसपा के विधायकों के सपा में जाने पर बसपा सुप्रीमो मायावती भड़क गई हैं। उन्होंने तो यहां तक कह दिया है कि हम ऐसी स्थिति में भाजपा का समर्थन कर सकते है। हालांकि वो अपने इस बयान से भी पलट गई, लेकिन दो बिल्लियों की इस लड़ाई में सबसे ज्यादा फायदा बीजेपी का ही हुआ, वो न केवल उपचुनाव में ज्यादा सीटें जीत रही हैं बल्कि उसके उम्मीदवारों की जीत का अंतर भी बढ़ता जा रहा है।
बिहार विधानसभा चुनावों के अलावा उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में जिस तरह बीजेपी ने प्रदर्शन किया है उससे उसका भविष्य में जनाधार बढ़ना तय हो गया है। वहीं, उपचुनावों में बीजेपी को लेकर अगर ज्योतिरादित्य सिंधिया को हीरो और सपा-बसपा की आपसी लड़ाई को बीजेपी के लिए एक्स-फैक्टर कहा जाता है तो ये गलत नहीं होगा।