कांग्रेस नेता राहुल गांधी की किस्मत इतनी खराब है कि उनके साथ-साथ मुसीबतों का एक रेला चलता है, जिससे पार्टी के लिए मुसीबतें बढ़ने लगती हैं और निशानें पर आते हैं केवल राहुल गांधी। केंद्र शासित प्रदेश पुडुचेरी के साथ भी अब कुछ ऐसा ही हो रहा है। राहुल गांधी वहां जाने वाले थे और उससे पहले शुरू हुई सियासी उठा-पटक के कारण कांग्रेस की सरकार अल्पमत में आ गई है। दूसरी ओर गठबंधन के साथी डीएमके पहले ही कांग्रेस को नाकों चने चबवाने पर उतारू है, जो दिखाता है कि कांग्रेस की राह अब काफी मुश्किल होती जा रही है।
सियासत के बुरे दौर से गुजर रही कांग्रेस पार्टी के लिए सबसे बड़ी मुसीबत उसकी अंदरूनी कलह बनती जा रही है जिसके चलते मध्य प्रदेश में कांग्रेस की सरकार गिरी थी। आज की स्थिति में राजस्थान, छत्तीसगढ़, झारखंड पंजाब और गठबंधन के जरिए महाराष्ट्र और पुडुचेरी में कांग्रेस सरकार में है लेकिन पुडुचेरी में स्थितियां बदल रही है। पिछले कुछ वक्त में वहां लगातार इस्तीफे दिये जा रहे हैं। राहुल गांधी के जाने के पहले पर राज्य में दो अन्य विधायकों ने भी इस्तीफा दे दिया है जो कि मुख्यमंत्री नारायणसामी के लिए ख़तरे की घंटी बन गया है।
और पढ़ें- किसान आंदोलन को समर्थन देने पहुंचे राहुल गांधी को दिखाए गए काले झंडे, पोस्टर तक फाड़ दिए गए
अप्रैल-मई में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले अब कांग्रेस के विधायक ए जॉन कुमार और हेल्थ मिनिस्टर एम कृष्ण राव ने इस्तीफा दे दिया है। पिछले एक महीने में कांग्रेस के कुल चार विधायक पार्टी छोड़ चुके हैं। इससे पहले पब्लिक वर्क मंत्रालय संभाल रहे नामाशिवयम और ई थिपैदन ने इस्तीफा दे दिया था और दिल्ली जाकर बीजेपी में शामिल हो गए थे जो कि कांग्रेस के लिए एक सबसे बड़ा झटका था। इस पूरे प्रकरण के बाद विधानसभा में विधायकों की संख्या 33 से घटकर 28 रह गई है। इस्तीफों के बाद विधानसभा में कांग्रेस के विधायकों की संख्या घटकर 10 रह गई है। इसमें डीएमके के 3 और एक निर्दलीय विधायक के समर्थन को जोड़ा जाए, तो नारायणस्वामी सरकार के पास सिर्फ 14 विधायकों का समर्थन रह गया है, जो 28 विधायकों में बहुमत से कम है। वहां सरकार अल्पमत में आ गई है, और ये कांग्रेस के लिए एक सबसे बड़ी चिंता का विषय है।
और पढ़ें- पुद्दुचेरी में सभी सीटों पर उम्मीदवार उतारेगी DMK, TN में भी मिलेगा कांग्रेस को झटका
राहुल गांधी जो अब पार्टी अध्यक्ष का पद फिर से संभालने की तैयारी में हैं, वो बुधवार को पुडुचेरी जाकर चुनावी तैयारियों का जायजा लेने वाले थे, लेकिन राहुल की क़िस्मत देखिए उनके पहुंचने से पहले ही पार्टी की सरकार अल्पमत में आ गई। ये इस बात का प्रमाण है कि राहुल के नेतृत्व पर अब किसी को खास भरोसा नहीं रहा है। देश के कुछ राज्यों में ही कांग्रेस किसी तरह सत्ता में है, लेकिन राहुल की बुरी किस्मत उनका पीछा नहीं छोड़ रही है।
राहुल के पुडुचेरी दौरे से ठीक पहले कांग्रेस सरकार का अल्पमत में आना और कुछ बागी विधायकों का बीजेपी में जाना उनके लिए संकेत है कि उनके नेतृत्व पर अब किसी को कुछ खास खास भरोसा नहीं रहा है और इसके चलते अब वो पार्टी छोड़ रहे हैं। साफ है कि राहुल के जाने से पहले कांग्रेस का सूपड़ा पुद्दुचेरी से साफ हो जाएगा।