सोशल मीडिया जहां लोगों को एक दूसरे के करीब ला रहा है, तो वहीं पर ये वैमनस्य बढ़ाने और साइबर क्राइम, ऑनलाइन स्टॉकिंग, अश्लीलता इत्यादि को बढ़ावा देने का भी काम कर रहा है। टिक टॉक पर भले ही केंद्र सरकार ने प्रतिबंध लगा दिया हो, परंतु उसकी जगह इंस्टाग्राम रील्स ने ले ली है, जहां दिन रात कॉन्टेन्ट के नाम पर कोई बाइकों पर ऊटपटाँग हरकतें करता है, तो कोई अश्लीलता के नित नये आयाम स्थापित करता है। इसी बीच एक इंस्टाग्राम इन्फ्लूएन्सर, जो कभी-कभी यूट्यूब पर भी वीडियो पोस्ट करता है, अपने निकृष्ट वीडियो के लिए काफी विवादों के घेरे में इन दिनों रहा है। इसका नाम है आमिर माजिद, और इनके जैसों को सबक सिखाना अब अवश्यंभावी हो चुका है।
लेकिन ये आमिर माजिद है कौन, और इसने ऐसा क्या किया, जिसके पीछे इसे सोशल मीडिया पर कोपभाजन का शिकार होना पड़ रहा है? असल में यह जम्मू का निवासी एक बाइकर है, जो इंस्टाग्राम पर अपने ऊटपटाँग हरकतों वाले रील्स अपलोड करता है। सोशल मीडिया पर ऐसे लोगों को सोशल मीडिया लिंगो यानि ‘भाषा’ में ‘छपरी’ की संज्ञा दी जाती है। इसका उत्तराखंड निवासी एक प्रतिद्वंदी बाइकर से विवाद हो गया, जिसका नाम था अनुराग।
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अब दो व्यक्तियों की लड़ाई में यूट्यूब का क्या काम? असल में ये लड़ाई खुद आमिर ने ही शुरू की, और इसे आमिर ने ही आगे बढ़ाया। जब लड़ाई आमिर और अनुराग तक सीमित रही, तो किसी का ध्यान नहीं गया। परंतु आमिर ने एक ‘डिस ट्रैक’ निकाला, जिसमें वह अनुराग को अपमानित करना चाहता था, परंतु उसने न केवल अनुराग की महिला मित्र पर अश्लील फब्तियाँ कसी, अपितु उसके नेपाली मूल का उपहास उड़ाते हुए, उसे एक वेश्या भी कहा, और अप्रत्यक्ष रूप से उसका दुष्कर्म करने की धमकियाँ दी। आश्चर्य की बात तो यह है कि इतना अश्लील और फूहड़ गीत होने के बाद भी इसे अब तक यूट्यूब ने डिलीट नहीं किया है।
इस पूरे प्रकरण से दुखी होकर अनुराग ने IGTV पर एक मार्मिक वीडियो बनाया, जिसकी ओर सम्राट भाई, एलविश यादव और लक्षय चौधरी नामक दक्षिणपंथी यूट्यूबर्स ने न केवल ध्यान आकर्षित कराया, बल्कि उसे अपना समर्थन भी दिया। आमिर माजिद ने माफी मांगने के बजाए इन तीनों यूट्यूबर्स को उल्टा सीधा सुनाना शुरू कर दिया, और यहाँ तक धमकियाँ दी कि यदि इनमें से कोई भी जम्मू कश्मीर में आया भी, तो उसका हश्र अच्छा नहीं होगा।
इस पर लक्षय, एलविश और सम्राट ने ताबड़तोड़ वीडियो बनाते हुए न केवल आमिर माजिद की पोल खोली, बल्कि उसे समर्थन देने वाले, और अनुराग एवं उसके महिला मित्र के निजी डीटेल्स सार्वजनिक करने वाले बाइकर सेमी [जोकि ईसाई है] का भी कच्चा चिट्ठा खोला। अनुराग ने अपनी ओर से खबर लिखे जाने तक शिकायत तो दर्ज की है, परंतु कार्रवाई क्या होगी ये तो भगवान ही जाने।
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हालांकि, केवल कार्रवाई से ही कुछ नहीं होगा, क्योंकि जब तक आमिर माजिद जैसे ऑनलाइन गुंडों को ध्रुव राठी, देवदत्त पटनायक की भांति एकजुट होकर इनका स्थान नहीं बताया जाता, तब तक इनमें लोगों की भावनाएँ / किसी समुदाय / व्यक्ति को अपमानित करने की जो खुजली मचती रहती है, वो निरंतर बनी रहेगी। ‘भय बिनु होई न प्रीति’ तब भी सार्थक था और आज भी आमिर माजिद जैसे सड़कछाप गुंडों के लिए सार्थक है।