नए विश्लेषण से पता चला है कि लंदन दुनिया का सबसे भीड़भाड़ वाला शहर बन गया है। यातायात सूचना आपूर्तिकर्ता इन्रिक्स के अनुसार, 2021 में जाम में फंसने से लंदन के ड्राइवरों को औसतन 148 घंटे का नुकसान होगा। इसके लिए साइकिल लेन को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है। वहीं, एक साइकिलिंग चैरिटी का कहना है कि ऐसे मामलों के लिए नई साइकिल लेन को दोष देना अविश्वसनीय रूप से गलत है।
पिछले साल, लंदन को 16 वां सबसे भीड़भाड़ वाला शहर बताया गया था। 2021 में, पेरिस 140 घंटे की यातायात बर्बादी के साथ सबसे अधिक भीड़भाड़ वाले शहर के वैश्विक रैंकिंग में दूसरे स्थान पर था, इसके बाद क्रमशः ब्रुसेल्स (134 घंटे), मॉस्को (108 घंटे) और न्यूयॉर्क (102 घंटे) थे। इको फ्रेंडली यात्रा को प्रोत्साहित करने के लिए कोरोना वायरस के प्रकोप के बाद, पिछले साल लंदन में नई साइकिल लेन स्थापित की गई थी।
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साइकिल लेन की स्थापना का पड़ा नकारात्मक प्रभाव
कई परिषदों ने मोटर चालकों द्वारा मुखर विरोध के बाद साइकिल लेन स्थापन के योजनाओं को उलट दिया, लेकिन कुछ गलतियां यथावत हैं। इन्रिक्स के संचालन निदेशक पीटर लीस ने कहा कि साइकिल लेन की स्थापना का “भीड़ पर नकारात्मक प्रभाव” पड़ा। उन्होंने कहा, “सड़कों का उपयोग आपूर्ति और मांग के बारे में है और साइकिल लेन की स्थापना इसे प्रभावित करती है। अगर मांग बढ़ जाती है लेकिन सड़क की जगह परिवहन के अन्य रूपों के साथ साझा की जा रही है, तो कारों के लिए प्रभावी रूप से कम टरमैक होता है, जो तब सड़क पर गति और भीड़ पर प्रभाव डालता है।” हालांकि, उन्होंने कहा कि ट्रैफिक जाम रैंकिंग में लंदन की वृद्धि का मुख्य कारण अन्य वैश्विक शहरों की तुलना में महामारी पश्चात लंदन की अपेक्षाकृत मजबूत आर्थिक सुधार था।
चैरिटी साइकिलिंग UK के प्रमुख नहीं है इससे सहमत
चैरिटी साइकिलिंग यूके के अभियानों के प्रमुख डंकन डॉलीमोर इस बात से सहमत नहीं है कि अतिरिक्त भीड़ के लिए साइकिल लेन जिम्मेदार हैं। उन्होंने कहा, “इस पर विचार किए बिना कि सड़क की जगह कितनी कुशलता से उपयोग की जाती है, इन्रिक्स का यह सुझाव देना अविश्वसनीय रूप से गलत है कि सड़क का उपयोग आपूर्ति और मांग के बारे में है।” हालांकि, उन्होंने कहा कि ट्रैफिक जाम रैंकिंग में लंदन की वृद्धि का मुख्य कारण अन्य वैश्विक शहरों की तुलना में महामारी पश्चात अपेक्षाकृत मजबूत आर्थिक सुधार था।
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लंदन के शहरीकरण और प्रबंधन की पोल खोलते हैं ऐसे तथ्य
संपूर्ण यूके में, इस वर्ष वाहन चालक औसतन 73 घंटे यातायात में बर्बाद करेंगे। यह 2020 से 36 घंटे ज्यादा है, लेकिन पूर्व-कोविड 2019 की तुलना में 42 घंटे कम है। ट्रांसपोर्ट फॉर लंदन (TFL) के नेटवर्क प्रबंधन निदेशक ग्लिन बार्टन ने कहा, “लंदन की अर्थव्यवस्था दुनिया भर के कई शहरों की तुलना में मजबूत हुई है, जिससे प्रत्यक्ष तुलना मुश्किल हो जाती है। इस रिपोर्ट से पता चलता है कि 2019 की तुलना में लंदन में भीड़भाड़ कम है और साइकिल चलाना हमारे इको फ्रेंडली यात्रा की दिशा में एक अभूतपूर्व कदम है, लेकिन हम लंदन को एक हरियाली और कम भीड़भाड़ वाला शहर बनाने के लिए हर संभव प्रयास करने के लिए मेयर के साथ काम करने के लिए दृढ़ है।”
गौरतलब है कि लंदन हमेशा से एक सपनों का शहर रहा है। परन्तु, ऐसे तथ्य उसके शहरीकरण और प्रबंधन की कलई खोलते है। स्मार्ट सिटी की राह की ओर अग्रसर भारत को इससे सीखते हुए लंदन और पूरे विश्व के लिए शहरीकरण के मामले में एक मानद उदाहरण स्थापित करना चाहिए।