मेरठ का सोतीगंज बाजार भारत का सबसे बड़ा चोरी की कारों का बाजार है। मर्सिडीज से लेकर फॉर्च्यूनर तक, आप सब कुछ वहां प्राप्त कर सकते हैं। आप गाड़ी के कलपुर्जे की मांग करके देखिए, आपको सबकुछ मिलेगा। एक लंबे समय से कार के चोर बाजार के नाम से मशहूर सोतीगंज बाजार पर योगी शासन का लठ पड़ गया है।
कुख्यात कार-ब्रेकिंग और चोरी हुए ऑटो-पार्ट्स के सबसे फलते-फूलते बाजार में से एक, मेरठ के सोतीगंज बाजार में रविवार को पुलिस द्वारा बड़े पैमाने पर कार्रवाई की गई।
पुलिस ने CRPC की धारा 91 के तहत दुकानों को रिकॉर्ड और GST दस्तावेज जमा करने के लिए नोटिस दिया, जो कई लोगों के पास नहीं है। दिल्ली, NCR और देश के कई अन्य हिस्सों से सबसे महंगी से सबसे सस्ती कारों को लाने वाले कुख्यात सोतीगंज बाजार को बंद करने के कुछ ही समय बाद इस अवैध व्यापार के दो बड़े नाम, हाजी गल्ला और हाजी इकबाल को गिरफ्तार कर लिया गया है।
पुलिस की जांच में सामने आया है कि छह माह में कबाडिय़ों ने नीलामी के सिर्फ छह वाहनों का कटान किया है, जबकि हर रोज करीब 50 से 70 वाहनों के पुर्जे यहां से बेच दिए जाते हैं। पड़ताल में सामने आया कि पहले काटी गई चोरी की गाडिय़ों के पुर्जे गोदामों से बेचे जा रहे हैं। कुछ अन्य स्थानों पर भी वाहन कटान कर पुर्जों को सोतीगंज बाजार में लाकर बेचा जा रहा था। साफ है कि सोतीगंज बाजार में हर दुकान पर चोरी के वाहनों के पुर्जे बेचे जा रहे थे। ऐसे में पुलिस अब हर दुकान की पड़ताल कर रही है। फोरेंसिक लैब में पुर्जों के नंबर की जांच की जाएगी। पुलिस की इस कार्रवाई तक सभी दुकानों को बंद रखा जाएगा।
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सोतीगंज बाजार में 300 से अधिक दुकानें हैं और 1,000 से अधिक लोग कार्यरत हैं। व्यापारियों ने रविवार को टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया कि उन सभी को अगले आदेश तक स्टोर बंद रखने के लिए कहा गया है। मामले पर प्रशासनिक व्यवस्था का पक्ष रखते हुए मेरठ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) प्रभाकर चौधरी ने कहा, “हमने बाजार में 100 दुकानों की पहचान की है जो अवैध व्यापार में शामिल हैं। जब तक वे स्टॉक विवरण जमा नहीं करते, हम उन्हें किसी भी सामान तक पहुंचने नहीं देंगे।”
व्यापारियों ने कहा कि सदर बाजार के थाना प्रभारी (SHO) द्वारा मौखिक रूप से निर्देश दिए गए थे। घोषणा के बाद शांति और व्यवस्था बनाए रखने के लिए, 200 से अधिक पुलिसकर्मियों ने दोपहर में बाजार में फ्लैग मार्च किया।
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पश्चिम उत्तर प्रदेश व्यापार मंडल के एक पदाधिकारी पंडित आशु शर्मा ने कहा, “हम सोमवार को पुलिस से बात करेंगे। व्यापारियों को इस तरह परेशान नहीं किया जाना चाहिए। उनमें से कई सही हैं और जीएसटी और स्टॉक विवरण रखते हैं। कुछ अवैध व्यापार में हैं और कार्रवाई केवल उन्हीं तक सीमित रहनी चाहिए”
कुछ व्यापारी ऐसे दस्तावेज़ पेश करने को लेकर चिंतित हैं, जिन्हें वे कहते हैं कि इकट्ठा करना मुश्किल है। एक व्यापारी ने बताया, “पुलिस हमें ऐसे दस्तावेज़ दिखाने के लिए कह रही है जो हममें से अधिकांश के पास नहीं हैं। यह अनिवार्य रूप से हमें दुकान बंद करने के लिए कहा जा रहा है। इससे शहर में केवल अपराध बढ़ेगा क्योंकि यहां कार्यरत सभी लोग अब बेरोजगार हो जाएंगे।”
उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हमेशा से कानून की सर्वोच्चता की वकालत करते रहे हैं। कोई भी राज्य में अवैध कार्य नहीं कर सकता है। सरकार एक तरफ मुख्तार अंसारी जैसे कुख्यात अपराधियों के आशियानों को धराशायी कर रही है तो दूसरी ओर वह ऐसे बाजारों को भी नही छोड़ रही है, जो कि काफी अच्छी चीज है।