TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • बिहार डायरी
    • मत
    • समीक्षा
    ट्रंप से फेस टू फेस होने से बचना चाहते हैं पीएम मोदी, जानें कांग्रेस के इस आरोप में कितना है दम

    जंगलराज बनाम सुशासन की वापसी! बिहार में बीजेपी का शब्द वार, ‘महालठबंधन’ की छवि को ध्वस्त करने की सुनियोजित रणनीति

    महाभारत के ‘पाँच पांडव” और आज के युग के संघ के ‘पाँच परिवर्तन’

    महाभारत के ‘पाँच पांडव” और आज के युग के संघ के ‘पाँच परिवर्तन’

    ट्रंप से फेस टू फेस होने से बचना चाहते हैं पीएम मोदी, जानें कांग्रेस के इस आरोप में कितना है दम

    ट्रंप से फेस टू फेस होने से बचना चाहते हैं पीएम मोदी, जानें कांग्रेस के इस आरोप में कितना है दम

    कर्पूरी की धरती से पीएम मोदी का संकल्प: लालटेन का युग खत्म, सुशासन का सवेरा शुरू

    कर्पूरी की धरती से पीएम मोदी का संकल्प: लालटेन का युग खत्म, सुशासन का सवेरा शुरू

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशियाकी नई शक्ति-संतुलन रेखा

    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशिया की नई शक्ति-संतुलन रेखा

    भारत-अमेरिका व्यापार समझौता जल्द: 15 से 16 फीसदी तक हो सकती है टैरिफ, जानिए आखिर क्यों हो रहा ऐसा

    भारत-अमेरिका व्यापार समझौता जल्द: 15 से 16 फीसदी तक हो सकती है टैरिफ, जानिए क्या होंगे इसके असर

    बिहार में 12 रैलियों से हुंकार भरेंगे पीएम मोदी: राष्ट्रनिर्माण की पुकार बन जाएगा चुनावी अभियान

    आर्थिक शक्ति, राष्ट्रीय अस्मिता और आत्मनिर्भर भारत: पीएम मोदी के भाषण का राष्ट्रवादी अर्थ

    भारत और अफगानिस्तान: बदलती भू-राजनीतिक परिदृश्य में मजबूत रणनीतिक साझेदार

    भारत और अफगानिस्तान: बदलती भू-राजनीतिक परिदृश्य में मजबूत रणनीतिक साझेदार

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    बीबीसी की निराशा और भारत का शांत Gen Z: सड़कों पर आग की नहीं, नवाचार और सुधार की क्रांति

    बीबीसी की निराशा और भारत का शांत Gen Z: सड़कों पर आग की नहीं, नवाचार और सुधार की क्रांति

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    गुलामी से कफाला तक: सऊदी अरब के ‘प्रायोजक तंत्र’ का अंत और इस्लामी व्यवस्था के भीतर बदलते समय का संकेत

    गुलामी से कफाला तक: सऊदी अरब के ‘प्रायोजक तंत्र’ का अंत और इस्लामी व्यवस्था के भीतर बदलते समय का संकेत

    जब उल्काएं थीं दीप, और दीप थे उत्सव: यहां जानें, क्यों आतिशबाज़ी भारतीय परंपरा का हिस्सा है, आयातित नहीं?

    जब उल्काएं थीं दीप, और दीप थे उत्सव: यहां जानें, क्यों आतिशबाज़ी भारतीय परंपरा का हिस्सा है, आयातित नहीं?

    राजनीतिक इस्लाम बनाम सनातन चेतना: योगी आदित्यनाथ का वैचारिक शंखनाद और संघ का शताब्दी संकल्प

    राजनीतिक इस्लाम बनाम सनातन चेतना: योगी आदित्यनाथ का वैचारिक शंखनाद और संघ का शताब्दी संकल्प

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    आत्मनिर्भर भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • बिहार डायरी
    • मत
    • समीक्षा
    ट्रंप से फेस टू फेस होने से बचना चाहते हैं पीएम मोदी, जानें कांग्रेस के इस आरोप में कितना है दम

    जंगलराज बनाम सुशासन की वापसी! बिहार में बीजेपी का शब्द वार, ‘महालठबंधन’ की छवि को ध्वस्त करने की सुनियोजित रणनीति

    महाभारत के ‘पाँच पांडव” और आज के युग के संघ के ‘पाँच परिवर्तन’

    महाभारत के ‘पाँच पांडव” और आज के युग के संघ के ‘पाँच परिवर्तन’

    ट्रंप से फेस टू फेस होने से बचना चाहते हैं पीएम मोदी, जानें कांग्रेस के इस आरोप में कितना है दम

    ट्रंप से फेस टू फेस होने से बचना चाहते हैं पीएम मोदी, जानें कांग्रेस के इस आरोप में कितना है दम

    कर्पूरी की धरती से पीएम मोदी का संकल्प: लालटेन का युग खत्म, सुशासन का सवेरा शुरू

    कर्पूरी की धरती से पीएम मोदी का संकल्प: लालटेन का युग खत्म, सुशासन का सवेरा शुरू

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशियाकी नई शक्ति-संतुलन रेखा

    भारत की कूटनीति अब ‘वर्चुअल’ नहीं, रणनीतिक है: आसियान शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी का डिजिटल नेतृत्व और एशिया की नई शक्ति-संतुलन रेखा

    भारत-अमेरिका व्यापार समझौता जल्द: 15 से 16 फीसदी तक हो सकती है टैरिफ, जानिए आखिर क्यों हो रहा ऐसा

    भारत-अमेरिका व्यापार समझौता जल्द: 15 से 16 फीसदी तक हो सकती है टैरिफ, जानिए क्या होंगे इसके असर

    बिहार में 12 रैलियों से हुंकार भरेंगे पीएम मोदी: राष्ट्रनिर्माण की पुकार बन जाएगा चुनावी अभियान

    आर्थिक शक्ति, राष्ट्रीय अस्मिता और आत्मनिर्भर भारत: पीएम मोदी के भाषण का राष्ट्रवादी अर्थ

    भारत और अफगानिस्तान: बदलती भू-राजनीतिक परिदृश्य में मजबूत रणनीतिक साझेदार

    भारत और अफगानिस्तान: बदलती भू-राजनीतिक परिदृश्य में मजबूत रणनीतिक साझेदार

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    पीएम मोदी की हत्या की साजिश: ढाका की रहस्यमयी घटनाओं से ASEAN तक फैली साजिश का खुलासा

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    12 दिनों तक सूखती रहेगी मुनीर की हलक: जब पाकिस्तान की सरहदों पर गरजेगा भारत का ‘त्रिशूल’

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    ड्रैगन की नई चाल: पैंगोंग के उस पार खड़ा हुआ चीन का सैन्य किला, भारत भी कर रहा ये तैयारियां

    बीबीसी की निराशा और भारत का शांत Gen Z: सड़कों पर आग की नहीं, नवाचार और सुधार की क्रांति

    बीबीसी की निराशा और भारत का शांत Gen Z: सड़कों पर आग की नहीं, नवाचार और सुधार की क्रांति

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    श्रीनगर एयरस्ट्रिप की ‘कड़कड़ाती रात’: जब RSS के स्वयंसेवकों ने उठाई बंदूक, बर्फ हटा कर भारतीय सेना को कराया लैंड

    गुलामी से कफाला तक: सऊदी अरब के ‘प्रायोजक तंत्र’ का अंत और इस्लामी व्यवस्था के भीतर बदलते समय का संकेत

    गुलामी से कफाला तक: सऊदी अरब के ‘प्रायोजक तंत्र’ का अंत और इस्लामी व्यवस्था के भीतर बदलते समय का संकेत

    जब उल्काएं थीं दीप, और दीप थे उत्सव: यहां जानें, क्यों आतिशबाज़ी भारतीय परंपरा का हिस्सा है, आयातित नहीं?

    जब उल्काएं थीं दीप, और दीप थे उत्सव: यहां जानें, क्यों आतिशबाज़ी भारतीय परंपरा का हिस्सा है, आयातित नहीं?

    राजनीतिक इस्लाम बनाम सनातन चेतना: योगी आदित्यनाथ का वैचारिक शंखनाद और संघ का शताब्दी संकल्प

    राजनीतिक इस्लाम बनाम सनातन चेतना: योगी आदित्यनाथ का वैचारिक शंखनाद और संघ का शताब्दी संकल्प

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    आत्मनिर्भर भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    PariPesa के सर्वश्रेष्ठ भारतीय ऑनलाइन गेम्स

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    एशिया कप हारने के बाद पाकिस्तान के लोगों ने ही पाकिस्तान टीम को सोशल मीडिया पर धो डाला! उड़ाया मजाक

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

Axel का बलिदान: भारतीय सेना में लड़ाकू भूमिका में कैसे योगदान देते हैं ‘कॉम्बैट डॉग’

'कॉम्बैट डॉग' की कैसे ट्रेनिंग होती है, कितने महत्वपूर्ण होते हैं, सबकुछ जानिए!

TFI Desk द्वारा TFI Desk
3 August 2022
in चर्चित
Dogs

Source- TFIPOST.in

Share on FacebookShare on X

29 राष्ट्रीय राइफल्स में शामिल खोजी कुत्ता ‘एक्सेल’ जम्मू-कश्मीर के बारामुला में आतंकवादियों के साथ लड़ते-लड़ते मुठभेड़ में शहीद हो गया है। ‘एक्सेल’ को आतंकवादियों ने गोली मार दी थी, जिसके बाद वो घायल हो गया। फिर बाद में उसकी मौत हो गई। इस दुखद घटना के बाद सभी देशवासी ‘एक्सेल’ को श्रदांजलि दे रहें हैं और उसके सालों से कायम विराजमान अदम्य साहस को सलाम कर रहें हैं। हम बचपन से ही देखते आएं हैं कि कैसे फिल्मों में कोई कुत्ता अपने मालिक के प्रति किस हद तक वफादार रहता है। वो हर घड़ी में अपने मालिक के साथ खड़ा रहता है। वो कैसे दुश्मनों से लड़ने में हीरो की मदद करता है। किस तरह किसी कुत्ते को फिल्म का एक महत्वपूर्ण किरदार बना दिया जाता है।

लेकिन हम ये भी सोचते हैं कि ये तो फिल्में हैं। यहां तो सब चलता है। कभी कुत्ते, कभी घोड़े, कभी हाथी कभी कुछ लेकिन हमारी भारतीय सेना में शामिल खोजी कुत्ते अर्थात आर्मी डॉग्स उपर्युक्त सभी बातों को वास्तविकता में इससे भी कई ज्यादा सच साबित कर देते हैं। ये खोजी कुत्ते एक भारतीय सिपाही के कंधे से कंधा मिलाकर काम करते हैं। ये खोजी कुत्ते भारत की सुरक्षा में उतना ही योगदान देते हैं, जितना कोई सैनिक देता है। हमेशा ये खोजी कुत्ते दुश्मनों को किसी भी परिस्थिति में मज़ा चखाने के लिए तत्पर रहते हैं।

संबंधितपोस्ट

सेना प्रमुख की बड़ी चेतावनी: ‘जल्द हो सकता है अगला युद्ध’

आतंकियों की भाषा बोलने लगी है पाकिस्तान की आर्मी

आतंकी हमले में बलिदान हुआ ‘फैंटम’, सेना की मदद करते समय लगी गोली, जानिए कैसे होती है डॉग्स की ट्रेनिंग

और लोड करें

इस लेख में हम जानेंगे कि कैसे ये जांबाज खोजी कुत्तों के भारतीय सेना में क्या-क्या काम होते हैं? कौन-कौन से कुत्ते भारतीय सेना में शामिल होने योग्य होते हैं? रिटायरमेंट के बाद इनको भारतीय सेना गोली क्यों मार देती हैं? वो साल 1959 का था, जब भारतीय सेना में सहायता के लिए पहली बार खोजी कुत्तों (आर्मी डॉग्स) को शामिल किया गया था। तब से लेकर अब तक विभिन्न प्रकार की नस्लों के कुत्ते भारतीय सेना में शामिल हो चुके हैं। इन खोजी कुत्तों ने भारतीय सेना में अपने शौर्य और बहादुरी का परिचय देने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी हैं।

और पढ़ें: भारतीय वायुसेना दोतरफा युद्ध के लिए है तैयार?

खोजी कुत्तों के क्या काम होते हैं

सबसे पहले इन खोजी कुत्तों को सेना में शामिल होने से पहले एक कड़े प्रशिक्षण के दौर से गुजरना पड़ता है। जिसमें इन्हें कुछ निश्चित आदेशों पर प्रतिक्रिया देते हुए कुछ कार्रवाई करना सिखाया जाता है। इन खोजी कुत्तों को भारतीय सेना बड़ी शिद्द्त के साथ ट्रेंड करती है। ये खोजी कुत्ते सामान्य कुत्तों से बिल्कुल भिन्न होते हैं। ये खोजी कुत्ते मानों जमीन में छुपाए गए विस्फोटक पदार्थों को सूंघकर पता लगा लेते हैं। जिसके फलस्वरूप सेना को ज्यादा मेहनत नहीं करनी पड़ती और वो कुत्ते की सूचना के आधार पर बम डिफ्यूज कर देती है। ये संदिग्ध व्यक्ति को सूंघकर उसकी शिनाख्त आसानी से कर लेते हैं। ये कुत्ते हिंसक भीड़ का पीछा करने और फरार आतंकवादियों का पता लगाने में भी बखूबी माहिर होते हैं। बहुत सारे कुत्तों को अशांत क्षेत्रों में तैनात किया जाता हैं। इन कुत्तों की सूंघने की क्षमता इंसान की सूंघने की क्षमता से 50 गुना अधिक होती है। प्रशिक्षण से लेकर सेना में शामिल होने तक भारत की सरकार एक बड़ी धनराशि इन खोजी कुत्तों पर खर्च करती हैं।

भारतीय सेना में शामिल होने वाली कुत्तों की नस्ल

लैब्राडोर, जर्मन शेफर्ड, बेल्जियन मेलिनोइस, ग्रेटर स्विस माउंटेन डॉग और बुलडॉग वाली कुत्तों की नस्लों को ज्यादतर भारतीय सेना में शामिल किया जाता है। क्योंकि इन नस्लों में सीखने की क्षमता सबसे ज्यादा होती है। सेना, इन कुत्तों को इनके बेहतरीन कार्यों के लिए समय-समय पर पुरस्कारों से सम्मानित भी करती रहती है।

लैब्राडोर

लैब्राडोर नस्ल को आमतौर पर ऐसा कुत्ता माना जाता है, जो परिवार के साथ घुल-मिलकर रहते हैं। यही घुल-मिलकर रहने की प्रवत्ति उसे सेना के लिए बहुत महत्वपूर्ण बनाती है। लैब्राडोर कुत्ते के बारे में कहा जाता है कि ये बहुत ज्यादा वफादार होते हैं। इनमें सूंघने की शक्ति बहुत तेज होती है। कहा जाता है कि वियतनाम-अमेरिका युद्ध में अमेरिकी सेना ने करीब चार हज़ार कुत्तों का प्रयोग किया था। इन कुत्तों में से ज्यादातर लैब्राडोर ही थे। लैब्राडोर कुत्तों ने घायल अमेरिकी सैनिकों और पानी के नीचे छिपे दुश्मन सैनिकों को खोज निकालने में अमेरिकी सेना की बहुत मदद की थी।

वहीं लैब्राडोर कुत्तों की भारतीय परिपेक्ष्य में बात करें, तो लैब्राडोर कुत्तों ने एंटी-मिलिटेंट अभियानों में सेना और सुरक्षाबलों की खूब सहायता की है। ऐसे कई मौके सामने आएं, जब उग्रवादियों और सेना के जवानों के बीच झड़प हुई और घायल होने के बाद कई उग्रवादी भागने में सफल रहें तो ऐसे में लैब्राडोर कुत्तों ने उग्रवादियों की महक की सहायता से उन्हें पता लगाया और भारतीय सेना की मदद की है। लैब्राडोर कुत्ते सैन्य ऑपरेशन के साथ-साथ सैनिकों के तनाव कम करने में भी मदद कर रहे हैं।

और पढ़ें: मिसाइल, बम दागने वाले मानवरहित ‘घातक’ ड्रोन भारतीय सेना को बदलकर रख देंगे

जर्मन शेफर्ड

जर्मन शेफर्ड नस्ल के कुत्तों का सेना से काफी पुराना संबंध है। पहली बार जर्मन शेफर्ड का प्रयोग प्रथम विश्वयुद्ध के समय जर्मन सेना ने किया था। इन कुत्तों ने जर्मन सेना की युद्ध में बहुत मदद की थी। जर्मन शेफर्ड नस्ल के कुत्ते शारीरिक रूप से काफी मज़बूत होने के साथ काफी फुर्तीले भी होते हैं। फुर्तीले होने की वजह से प्रथम विश्वयुद्ध के समय इन्होंने छोटे-मोटे हथियारों को इधर से उधर ले जाने में अहम भूमिका निभाई थी। इन कुत्तों ने सैनिकों की टुकड़ियों के बीच संदेशवाहक का भी काम किया था। घायल सैनिकों को चिकित्सीय सहायता प्रदान करने में भी जर्मन शेफर्ड की अहम भूमिका रहीं थी।

प्रथम विश्वयुद्ध में इन कुत्तों के महत्वपूर्ण योगदान को देखते हुए अमेरिका और ब्रिटेन ने भी जर्मन शेफर्ड कुत्तों का अपने स्क्वाड में शामिल किया। जिसका फ़ायदा ये हुआ कि द्वितीय विश्व युद्ध में अमरीकी और ब्रिटेन सेना के लिए जर्मन शेफर्ड ने काफी हद तक मदद की। भारतीय सेना भी मुख्यतः इन कुत्तों का प्रयोग सैन्य ऑपरेशनों के दौरान ही करती है। ये संवेदनशील इलाकों में सन्देश पहुंचाए जाने के काम आते हैं। इस लिहाज से ये कह सकते हैं कि ये सैनिकों के ख़ास साथी होते हैं। सेना में ऐसे कई मौके आए जब सैनिकों द्वारा वायरलेस से आपस में बात करना खतरे से खाली नहीं था। ऐसे में इन कुत्तों ने सैनिकों की मदद की।

बेल्जियन मेलिनोइस

बेल्जियन मेलिनोइस नस्ल के कुत्ते जर्मन शेफर्ड कुत्ते की तरह थोड़े-थोड़े होते हैं। ये सबसे तेज दिमाग वाले कुत्तों की श्रेणी में आते हैं। ये पतले, मजबूत और फुर्तीले होते हैं। इनकी सुनने की क्षमता भी बहुत अधिक होती है। बेल्जियन मेलिनोइस नस्ल के कुत्ते बहुत ही साहसी और चतुर भी होते हैं। इनकी यहीं बात इन्हें सेना के लिए ख़ास बनाती है। इनका प्रयोग ज्यादातर बचाव कार्यों में किया जाता है। इनका उपयोग सेना के खोज ऑपरेशनों में और सीमा सुरक्षा में भी किया जाता है। द्वितीय विश्व युद्ध के समय से ही इन कुत्तों का प्रयोग विभिन्न देशों की सेनाएं करती आ रहीं हैं।

ग्रेटर स्विस माउंटेन

ग्रेटर स्विस माउंटेन डॉग नस्ल के कुत्तों की सबसे बड़ी ख़ास बात यह है कि आप इनके ऊपर कभी भी आँख मूंदकर विश्वास कर सकते हैं। ये कभी भी आपकी आज्ञा का उल्लंघन नहीं करते हैं। ग्रेटर स्विस माउंटेन कुत्ते शारीरिक रूप से काफी बलवान होते हैं। ऐतिहासिक स्त्रोत बताते हैं कि बहुत पुराने समय से ही इन कुत्तों का प्रयोग सेनाओं द्वारा किया जा रहा है। इनकी मजबूती और मालिक के प्रति प्रतिबद्धता को देखते हुए विभिन्न देशों की सेना ने अपने स्क्वाड में शामिल किया। द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान इनका भारी संख्या में प्रयोग किया गया। ग्रेटर स्विस माउंटेन कुत्ते दुश्मन की शिनाख्त करने और उनका तेजी से पीछा करने में बहुत तेज होते हैं, इसलिए सेना के सैन्य ऑपरेशन में ये बहुत काम आते हैं। ये छोटी सी छोटी हलचल को बहुत दूर से भांप लेते हैं, जिनकी वजह से इनको सेना कैम्पों की सुरक्षा की निगरानी के लिए तैनात किया जाता है।

और पढ़ें: ‘अब परिंदे भी पर नहीं मार पाएंगे’, घुसपैठ को नाकाम करने हेतु AI का इस्तेमाल कर रही है भारतीय सेना

रिटायरमेंट के बाद खोजी कुत्तों को क्यों मार दिया जाता है

यह जानकर बहुत हैरानी और दुःख की अनुभूति होती है कि जो खोजी वफादार कुत्ते हमारे देश की सुरक्षा में हमारे सैनिकों का भरपूर साथ देते हैं, दुश्मनों के छक्के छुडा देते हैं, यहां तक कि कई बार अपनी जान तक न्योछावर कर देते हैं। उन कुत्तों को रिटायरमेंट के बाद हमारी सेना गोली मार देती हैं। इन कुत्तों को गोली मारने पर भारतीय सेना का तर्क है कि सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए इन्हें मारा जाता है। क्योंकि ये डर हमेशा बना रहता है कि रिटायर होने के बाद ये कुत्ते कहीं गलत लोगों के हाथ न लग जाएं और अगर ऐसा हुआ तो देश को न जाने किन-किन तरह की मुसीबतों का सामना करना पड़ सकता है।

क्योंकि कुत्ते को हर उस गुप्त स्थान के बारे में पूरी जानकारी होती है, जो सेना के अंडर रहता है। ऐसे में ना रहेगी कुत्ते की जिंदगी, और ना देश को किसी तरह की हानि का सामना करना पड़ेगा। गोली मारने से पहले इन कुत्तों की बड़े सम्मान के साथ विदाई दी जाती है। साथ ही देश के शहीद हुए सैनिक के भांति इनका भी बड़े सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाता है। वैसे इन कुत्तों को रिटायरमेंट के बाद मारे जाने का चलन अंग्रेजों के शासन काल से ही शुरू किया गया था। अमेरिका में रिटायर होने के बाद इन खोजी कुत्ते को लोगों के द्वारा एडॉप्ट कर लिया जाता है और जिन्हें एडॉप्ट नहीं किया जाता। उन कुत्तों को एक खास एनजीओ को दे दिया जाता है। जो उनके आखिरी के दिनों में उनकी दवा आदि की अच्छी व्यवस्था करता है।

वहीं रूस और चीन जैसे देशों में भी कुत्तों को रिटायर होने के बाद गोली मारने का प्रावधान नहीं है। जापान में इन रिटायर हुए कुत्तों के लिए अलग से एक हॉस्पिटल होता है। यहां कुत्तों के लिए बिल्कुल इंसानों जैसी सुविधाएं होती हैं। 2015 में केंद्र सरकार ने कहा था कि ‘वह ऐसी नीति तैयार कर रही है, जिसके तहत सेना में प्रयोग होने वाले खोजी कुत्ते को मारा नहीं जाएगा, बल्कि इसका कोई दूसरा तरीका ढूंढा जाएगा’। इन तरीकों में से एक उन्हें एडॉप्ट करना भी है। यह मामला दिल्ली हाईकोर्ट में भी गया था। जिसमें अदालत का कहना था-‘सैन्य जानवरों को मौत की नींद सुलाने का चलन पशु क्रूरता रोकथाम कानून 1960 के प्रावधानों का पूरी तरीके से खुला उल्लंघन करता है’।

और पढ़ें: भारतीय नौसेना खरीदने जा रही है फाइटर जेट, राफेल और सुपर हार्नेट में चल रही है टक्कर

TFI का समर्थन करें:

सांस्कृतिक राष्ट्रवाद की ‘राइट’ विचारधारा को मजबूती देने के लिए TFI-STORE.COM से बेहतरीन गुणवत्ता के वस्त्र क्रय कर हमारा समर्थन करें।

Tags: खोजी कुत्तोंरिटायरमेंटसेनासैन्य ऑपरेशन
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

द्रविड़ राजनीति हमेशा से इतनी ही ‘गंदी’ रही है, बस अब दिखने लगी है

अगली पोस्ट

गुमनाम नायक: रासबिहारी बसु भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के ‘गॉड फादर’

संबंधित पोस्ट

अब क्या करेगा पाकिस्तान, भारत की तरह अब अफगानिस्तान भी रोकने जा रहा है पानी, तालिबान का कुनार बांध, चीन की दिलचस्पी और जल-राजनीति के नए दक्षिण एशियाई समीकरण
कृषि

अब क्या करेगा पाकिस्तान, भारत की तरह अब अफगानिस्तान भी रोकने जा रहा है पानी, तालिबान का कुनार बांध, चीन की दिलचस्पी और जल-राजनीति के नए दक्षिण एशियाई समीकरण

24 October 2025

दक्षिण एशिया के मानचित्र पर नदियां हमेशा से जीवन की नसों की तरह रही हैं। वे केवल खेतों को नहीं सींचतीं, बल्कि संस्कृतियों, सभ्यताओं और...

आज़ाद हिंद फौज: भारत की वह बंदूक जिसने ब्रिटिश साम्राज्य की नींव हिला दी
इतिहास

आज़ाद हिंद फौज: भारत की वह बंदूक जिसने ब्रिटिश साम्राज्य की नींव हिला दी

21 October 2025

1942 का वर्ष भारत के स्वतंत्रता आंदोलन के इतिहास में केवल एक तारीख़ नहीं था, यह उस समय की गवाही थी, जब देश के भीतर...

भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा
चर्चित

आत्मनिर्भर भारत की वैज्ञानिक विजय: ‘नैफिथ्रोमाइसिन’, कैंसर और डायबिटीज के मरीजों के उम्मीदों को मिली नई रोशनी, जानें क्यों महत्वपूर्ण है ये दवा

21 October 2025

भारत ने वह कर दिखाया है जो कभी केवल विकसित देशों की प्रयोगशालाओं की सीमाओं में संभव माना जाता था। देश ने अपना पहला स्वदेशी...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

How Pakistan’s ISI Is Using Western Vloggers to Wage a Narrative War Against India

How Pakistan’s ISI Is Using Western Vloggers to Wage a Narrative War Against India

00:07:04

Why Mahua Moitra Agreed with a Foreign Hate-Monger Who Insulted Hindus!

00:07:31

The Nepal Template: How BBC Is Subtly Calling for ‘Gen Z’ Riots in India?

00:08:13

Bihar Files: When Scam Money Didn’t Reach Minister’s House but Landed at ‘Boss’ Residence

00:06:22

Why India’s 800-km BrahMos Is a Nightmare for Its Adversaries

00:06:22
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited