जगुआर के बाद अब टाटा ने खरीदी ‘फोर्ड’, 725 करोड़ में हुई डील

TFI ने तो पहले ही इसकी भविष्यवाणी कर दी थी!

Tata aquries ford

Source- TFI

TFI का एक और विश्लेषण सत्य साबित हुआ है। अक्टूबर 2021 में ही टीएफआई ने यह भविष्यवाणी कर दी थी कि ऑटोमोबाइल सेक्टर की दिग्गज भारतीय कंपनी टाटा मोटर्स अमेरिकी कंपनी फोर्ड मोटर्स के प्लांट्स को खरीदने की तैयारी कर रही है। तब हमने आपको बताया था कि फोर्ड मोटर्स के प्लांट खरीदने की दिशा में टाटा मोटर्स ने अपने कदम आगे बढ़ा दिए है। अब हमारी यह भविष्यवाणी एकदम सत्य साबित हुई है और टाटा मोटर्स ने फोर्ड इंडिया का गुजरात स्थित साणंद कार मैन्युफैक्चरिंग प्लांट खरीद लिया है। लंबे समय तक चली बातचीत के बाद दोनों कंपनियों में आखिरकार डील फाइनल हो ही गई। इस समझौते के बाद अब टाटा मोर्टस की गाड़ियों का निर्माण फोर्ड इंडिया के प्लांट में भी हो सकेगा। खबरों की मानें तो इस यूनिट का उपयोग टाटा मोटर्स इलेक्ट्रिक वाहनों के निर्माण के लिए करेगी।

टाटा मोटर्स ईवी सब्सिडियरी ने साणंद मैन्युफैक्चरिंग प्लांट को 725.7 करोड़ रुपये की कीमत में खरीदा है। दोनों कंपनियों के बीच हुए करार के अनुसार, फोर्ड की इस यूनिट की पूरी भूमि और भवनों के साथ-साथ मशीनरी और सभी उपकरण भी अब टाटा के हो जाएंगे। बताया तो यह भी जा रहा है कि इसके साथ ही टाटा मोटर्स साणंद प्लांट में काम करने वाले फोर्ड इंडिया के सभी योग्य कर्मचारियों का ट्रांसफर भी अपने यहां करेगी। साणंद में यह टाटा का दूसरा प्लांट होगा।

और पढ़ें: नेक्सन, अल्ट्रोज़ और हैरियर: टाटा ने अपने ‘बोरियत’ भरे डिजाइन को ‘अपग्रेड’ किया!

टाटा मोटर्स पैसेंजर वाहन लिमिटेड और टाटा इलेक्ट्रिक मोबिलिटी लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर शैलेश चंद्रा ने इस डील को लेकर कहा, “इस समझौते से सभी स्टेकहोल्डर्स को लाभ होगा और टाटा मोटर्स की बाजार में पोजिशन और ज्यादा मजबूत हो रही है। कंपनी इलेक्ट्रिक वाहन के सेगमेंट में एक लीडर के तौर पर अपना दबदबा बनाए रखेगी। इससे भारतीय ऑटो इंडस्ट्री का विकास होगा, जो आत्मनिर्भर भारत की राह में आगे बढ़ते कदम हैं।” फोर्ड इंडिया की यूनिट खरीदने के बाद टाटा अब अपनी प्रोडक्शन क्षमता बढ़ाने पर काम करेगी। टाटा मोटर्स इस प्लांट का इस्तेमाल इलेक्ट्रिक वाहनों के निर्माण के लिए करेगी। टाटा मोटर्स का दावा है कि उसका लक्ष्य प्रति वर्ष 300,000 ईवी को रोल आउट करने के लिए प्लांट का इस्तेमाल करना है जो प्रति वर्ष 420,000 यूनिट तक बढ़ाया जा सकता है।

बता दें कि फोर्ड अमेरिका की एक दिग्गज कार कंपनी है परंतु भारत में फोर्ड कंपनी कुछ खास कमाल नहीं दिखा पाई। भारतीयों के बीच अपनी पकड़ बनाने में फोर्ड असफल रहा, जिसके कारण कंपनी को अपना कारोबार यहां से समेटने पर मजबूर होना पड़ा। व्यापार में हो रहे लगातार घाटे की वजह से इस कंपनी ने भारत छोड़ने का फैसला ले लिया। सितंबर 2021 में जब फोर्ड ने भारत से अपना कारोबार समेटा था तब उसकी भारतीय कार बाजार में हिस्सेदारी 2 प्रतिशत से भी कम थी। दो दशकों से भी अधिक समय तक कंपनी भारतीय बाजार में मुनाफा कमाने के लिए संघर्ष ही करती रही थी।

देखा जाए तो फोर्ड कंपनी के साथ टाटा मोटर्स का यह दूसरा बड़ा सौदा है। इससे पहले वर्ष 2008 में टाटा ने फोर्ड की जगुआर लैंड रोवर को खरीदकर उसकी किस्मत बदल दी थी। तब टाटा ने जगुआर लैंड रोवर को खरीदा था तो इस ब्रांड की हालत बेहद ही खराब थी, जिसके कारण अमेरिकी कंपनी फोर्ड को भी काफी नुकसान झेलना पड़ा था। परंतु फिर इसे बचाने के लिए टाटा ग्रुप मसीहा बनकर सामने आया। टाटा के हाथों में आते ही जगुआर लैंड रोवर की किस्मत बदल गई और JLR मुनाफे में आ गई। मौजूदा समय में इस कंपनी की गाड़ियों को देश में काफी ज्यादा पसंद किया जाता है।

यहां गौर करने वाली बात यह है कि यह वही फोर्ड कंपनी है, जिसने एक समय रतन टाटा को अपमानित किया था। जब टाटा इंडिका की असफलता के बाद रतन टाटा ने उस कार डिवीजन को फोर्ड को बेचने का निर्णय लिया था, तब कंपनी के चेयरमैन बिल फोर्ड ने उन्हें यह कहकर अपमानित किया गया कि कार का व्यवसाय उन्हें कभी शुरू ही नहीं करना चाहिए था क्योंकि इसकी उन्हें कोई समझ नहीं है। बिल फोर्ड ने तो रतन टाटा से यह तक कह दिया था कि वो कंपनी खरीदकर उन पर एहसान कर रहे है। इस अपमान के बाद रतन टाटा ने फोर्ड के साथ सौदा ही नहीं किया लेकिन जब टाटा ग्रुप ने जगुआर लैंड रोवर खरीदा तो उसके बाद फोर्ड की टीम मुंबई आई और फोर्ड कंपनी के चेयरमैन बिल फोर्ड ने रतन टाटा को धन्यवाद देते हुए कहा कि “आप हम पर बड़ा फेवर कर रहे हैं।” समय ने करवट बदली और जिस फोर्ड के चेयरमैन द्वारा रतन टाटा को अपमानित किया गया था, उन्हीं ही कंपनी पर टाटा ने अपना दबदबा कायम कर लिया। पहले जगुआर लैंड रोवर को खरीदकर टाटा ने उसकी किस्मत बदली, अब टाटा मोटर्स, फोर्ड इंडिया के प्लांट पर अपना कब्जा जमा रही है।

और पढ़ें: ‘शून्य से शिखर तक’ TATA मोटर्स के उदय की बेहतरीन कहानी

TFI का समर्थन करें:

सांस्कृतिक राष्ट्रवाद की ‘राइट’ विचारधारा को मजबूती देने के लिए TFI-STORE.COM से बेहतरीन गुणवत्ता के वस्त्र क्रय कर हमारा समर्थन करें।

Exit mobile version