सरदार पटेल ने असम के राज्यपाल अकबर हैदरी को त्रिपुरा भेजकर हालात नियंत्रण में रखने को कहा। स्थिति नियंत्रित होते ही रानी कंचनप्रभा ने 11 नवंबर, 1947 को त्रिपुरा के भारत में विलय का औपचारिक ऐलान कर दिया।
TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • बिहार डायरी
    • मत
    • समीक्षा
    छोटे मंदिरों के लिए खुशखबरी, TTD ने मूर्तियों और माइक सेट पर दी भारी छू

    TTD की बड़ी पहल: छोटे मंदिरों को रियायती दरों पर मिलेंगी मूर्तियां और माइक सेट

    सुप्रीमकोर्ट

    गिरफ्तारी से पहले जमानत से इनकार पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, कहा—बोलने की आज़ादी पर नहीं लग सकती रोक

    बांग्लादेश

    हिंदू दीपू दास की इस्लामी भीड़ के हाथों बर्बर हत्या उस्मान हादी हत्याकांड का ‘साइड इफेक्ट’ नहीं है, ये मजहबी कट्टरता को आत्मसात कर चुके बांग्लादेश का नया सच है

    ‘The journey within’: श्रीखंड कैलाश से आत्मबोध तक की यात्रा

    ‘The journey within’: श्रीखंड कैलाश से आत्मबोध तक की यात्रा

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    खनन क्षेत्र में बेहतरीन काम के लिए केंद्र सरकार ने धामी सरकार की तारीफ की

    खनन सुधारों में फिर नंबर वन बना उत्तराखंड, बेहतरीन काम के लिए धामी सरकार को केंद्र सरकार से मिली 100 करोड़ रुपये की प्रोत्साहन राशि

    तेल, हीरे और हिंदुस्तान की नई भू-राजनीति: जब अफ्रीका की धरती पर एक साथ गूंजेगी भारत की सभ्यता, रणनीति और शक्ति की आवाज

    तेल, हीरे और हिंदुस्तान की नई भू-राजनीति: जब अफ्रीका की धरती पर एक साथ गूंजेगी भारत की सभ्यता, रणनीति और शक्ति की आवाज

    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    16 दिसंबर को पाकिस्तान के पूर्वी मोर्चे के कमांडर जनरल ए के नियाजी ने 93,000 सैनिकों के साथ सरेंडर किया था

    ढाका सरेंडर: जब पाकिस्तान ने अपने लोगों की अनदेखी की और अपने देश का आधा हिस्सा गंवा दिया

    संसद हमले की बरसी: आपको कॉन्स्टेबल कमलेश कुमारी याद हैं? 

    संसद हमले की बरसी: आपको कॉन्स्टेबल कमलेश कुमारी याद हैं? 

    शिप बेस्ड ISBM लॉन्च के पाकिस्तान के दावे में कितना दम है

    पाकिस्तान जिस SMASH मिसाइल को बता रहा है ‘विक्रांत किलर’, उसकी सच्चाई क्या है ?

    ऑपरेशन सिंदूर 2:0

    दिल्ली धमाका और PoK के नेता का कबूलनामा: क्या भारत के लिए ‘ऑपरेशन सिंदूर 2.0’ का समय आ गया है?

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    nick fluentes

    कौन हैं निक फ्यूएंटेस और क्यों अमेरिका के लिए ख़तरा है उनका यहूदी-विरोध

    sajid akram

    सिडनी हमलावर साजिद अकरम का इंडिया लिंक, तेलंगाना पुलिस ने किया खुलासा

    17 दिसंबर राइट ब्रदर्स दिवस: मानव उड़ान की ऐतिहासिक शुरुआत और विज्ञान की जीत

    17 दिसंबर राइट ब्रदर्स दिवस: मानव उड़ान की ऐतिहासिक शुरुआत और विज्ञान की जीत

    दिल्ली ब्लास्ट के बाद पाकिस्तान में हड़कंप: असीम मुनीर की सेना हाई अलर्ट पर, एयर डिफेंस सक्रिय, भारत की ताकत और रणनीति ने आतंकियों और पड़ोसी को किया सतर्क

    दिल्ली ब्लास्ट के बाद पाकिस्तान में हड़कंप: असीम मुनीर की सेना हाई अलर्ट पर, एयर डिफेंस सक्रिय, भारत की ताकत और रणनीति ने आतंकियों और पड़ोसी को किया सतर्क

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    goa mukti diwas

    गोवा मुक्ति दिवस: राष्ट्रीय सम्मान और संकल्प का प्रतीक

    kakori hatyakand

    क्रान्ति की मशाल : काकोरी कांड के अमर नायक पंडित रामप्रसाद ‘बिस्मिल’

    kakori hatya kand

    बलिदान दिवस : देश की आजादी के लिए अपने प्राणों की आहूति देने वाले अमर

    राष्ट्रीय अपमान का बदला: सांडर्स वध से गूंजा भारत का क्रांतिकारी प्रतिशोध

    राष्ट्रीय अपमान का बदला: सांडर्स वध से गूंजा भारत का क्रांतिकारी प्रतिशोध

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    The Rise of Live Dealer Games in Asia: Why Players Prefer Real-Time Interaction

    The Rise of Live Dealer Games in Asia: Why Players Prefer Real-Time Interaction

    शोले फिल्म में पानी की टंकी पर चढ़े धर्मेंद्र

    बॉलीवुड का ही-मैन- जिसने रुलाया भी, हंसाया भी: धर्मेंद्र के सिने सफर की 10 नायाब फिल्में

    नीतीश कुमार

    जेडी(यू) के ख़िलाफ़ एंटी इन्कंबेसी क्यों नहीं होती? बिहार में क्यों X फैक्टर बने हुए हैं नीतीश कुमार?

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • बिहार डायरी
    • मत
    • समीक्षा
    छोटे मंदिरों के लिए खुशखबरी, TTD ने मूर्तियों और माइक सेट पर दी भारी छू

    TTD की बड़ी पहल: छोटे मंदिरों को रियायती दरों पर मिलेंगी मूर्तियां और माइक सेट

    सुप्रीमकोर्ट

    गिरफ्तारी से पहले जमानत से इनकार पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, कहा—बोलने की आज़ादी पर नहीं लग सकती रोक

    बांग्लादेश

    हिंदू दीपू दास की इस्लामी भीड़ के हाथों बर्बर हत्या उस्मान हादी हत्याकांड का ‘साइड इफेक्ट’ नहीं है, ये मजहबी कट्टरता को आत्मसात कर चुके बांग्लादेश का नया सच है

    ‘The journey within’: श्रीखंड कैलाश से आत्मबोध तक की यात्रा

    ‘The journey within’: श्रीखंड कैलाश से आत्मबोध तक की यात्रा

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    खनन क्षेत्र में बेहतरीन काम के लिए केंद्र सरकार ने धामी सरकार की तारीफ की

    खनन सुधारों में फिर नंबर वन बना उत्तराखंड, बेहतरीन काम के लिए धामी सरकार को केंद्र सरकार से मिली 100 करोड़ रुपये की प्रोत्साहन राशि

    तेल, हीरे और हिंदुस्तान की नई भू-राजनीति: जब अफ्रीका की धरती पर एक साथ गूंजेगी भारत की सभ्यता, रणनीति और शक्ति की आवाज

    तेल, हीरे और हिंदुस्तान की नई भू-राजनीति: जब अफ्रीका की धरती पर एक साथ गूंजेगी भारत की सभ्यता, रणनीति और शक्ति की आवाज

    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    80% खेती सिंधु पर, तालाब भी नहीं बचे! भारत की जल-नीति और अफगानिस्तान के फैसले ने पाकिस्तान को रेगिस्तान में धकेला, अब न पानी होगा, न रोटी, न सेना की अकड़

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    हमसे दुश्मनी महंगी पड़ेगी: भारत की सतर्कता और बांग्लादेश की गलती, जानें बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था पर कैसे पड़ रही चोट

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    16 दिसंबर को पाकिस्तान के पूर्वी मोर्चे के कमांडर जनरल ए के नियाजी ने 93,000 सैनिकों के साथ सरेंडर किया था

    ढाका सरेंडर: जब पाकिस्तान ने अपने लोगों की अनदेखी की और अपने देश का आधा हिस्सा गंवा दिया

    संसद हमले की बरसी: आपको कॉन्स्टेबल कमलेश कुमारी याद हैं? 

    संसद हमले की बरसी: आपको कॉन्स्टेबल कमलेश कुमारी याद हैं? 

    शिप बेस्ड ISBM लॉन्च के पाकिस्तान के दावे में कितना दम है

    पाकिस्तान जिस SMASH मिसाइल को बता रहा है ‘विक्रांत किलर’, उसकी सच्चाई क्या है ?

    ऑपरेशन सिंदूर 2:0

    दिल्ली धमाका और PoK के नेता का कबूलनामा: क्या भारत के लिए ‘ऑपरेशन सिंदूर 2.0’ का समय आ गया है?

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    nick fluentes

    कौन हैं निक फ्यूएंटेस और क्यों अमेरिका के लिए ख़तरा है उनका यहूदी-विरोध

    sajid akram

    सिडनी हमलावर साजिद अकरम का इंडिया लिंक, तेलंगाना पुलिस ने किया खुलासा

    17 दिसंबर राइट ब्रदर्स दिवस: मानव उड़ान की ऐतिहासिक शुरुआत और विज्ञान की जीत

    17 दिसंबर राइट ब्रदर्स दिवस: मानव उड़ान की ऐतिहासिक शुरुआत और विज्ञान की जीत

    दिल्ली ब्लास्ट के बाद पाकिस्तान में हड़कंप: असीम मुनीर की सेना हाई अलर्ट पर, एयर डिफेंस सक्रिय, भारत की ताकत और रणनीति ने आतंकियों और पड़ोसी को किया सतर्क

    दिल्ली ब्लास्ट के बाद पाकिस्तान में हड़कंप: असीम मुनीर की सेना हाई अलर्ट पर, एयर डिफेंस सक्रिय, भारत की ताकत और रणनीति ने आतंकियों और पड़ोसी को किया सतर्क

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    goa mukti diwas

    गोवा मुक्ति दिवस: राष्ट्रीय सम्मान और संकल्प का प्रतीक

    kakori hatyakand

    क्रान्ति की मशाल : काकोरी कांड के अमर नायक पंडित रामप्रसाद ‘बिस्मिल’

    kakori hatya kand

    बलिदान दिवस : देश की आजादी के लिए अपने प्राणों की आहूति देने वाले अमर

    राष्ट्रीय अपमान का बदला: सांडर्स वध से गूंजा भारत का क्रांतिकारी प्रतिशोध

    राष्ट्रीय अपमान का बदला: सांडर्स वध से गूंजा भारत का क्रांतिकारी प्रतिशोध

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    The Rise of Live Dealer Games in Asia: Why Players Prefer Real-Time Interaction

    The Rise of Live Dealer Games in Asia: Why Players Prefer Real-Time Interaction

    शोले फिल्म में पानी की टंकी पर चढ़े धर्मेंद्र

    बॉलीवुड का ही-मैन- जिसने रुलाया भी, हंसाया भी: धर्मेंद्र के सिने सफर की 10 नायाब फिल्में

    नीतीश कुमार

    जेडी(यू) के ख़िलाफ़ एंटी इन्कंबेसी क्यों नहीं होती? बिहार में क्यों X फैक्टर बने हुए हैं नीतीश कुमार?

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    क्यों PariPesa भारत रोमांचक एविएटर क्रैश गेम्स का अनुभव लेने के लिए सबसे बेहतरीन जगह है

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

त्रिपुरा को पाकिस्तान में मिलाना चाहता था गेदू मियां, रानी कंचनप्रभा ने नहीं पूरा होने दिया ख्वाब

कैसे भारत का एक और राज्य कश्मीर बनने से बचा

TFI Desk द्वारा TFI Desk
15 October 2024
in इतिहास, ज्ञान, राजनीति
रानी कंचनप्रभा, त्रिपुरा

रानी कंचनप्रभा ने विफल की भारत विरोधियों की साजिश, फिर हुआ त्रिपुरा का विलय

Share on FacebookShare on X

आजादी के बाद से कश्मीर और हैदराबाद के भारत में शामिल होने की कहानियां साल-दर-साल सुनाई जाती रही हैं। लेकिन एक घटना जो शायद ही कभी आम जनता की जुबान तक आ पाई हो, वह है एक राजा के फैसले, एक रानी के अदम्य साहस, और त्रिपुरा रियासत के भारत में शामिल होने की कहानी।

साल 1947, आजादी के लिए संघर्ष तेज़ होता जा रहा था। एक ओर भारत के बंटवारे की गहमागहमी थी, तो दूसरी ओर रियासतों के भारत या पाकिस्तान में विलय को लेकर जद्दोजहद चल रही थी। पूर्व से लेकर पश्चिम और उत्तर से लेकर दक्षिण तक पूरे देश में यही स्थिति थी। कुछ रियासतें भारत में विलय को तैयार थीं, तो कुछ निजाम पाकिस्तान की गोद में बैठने को आतुर थे।

संबंधितपोस्ट

अष्टलक्ष्मी की उड़ान: प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में पूर्वोत्तर से उभरती विकास, संस्कृति और आत्मगौरव की नई कहानी

अगरतला की प्रभुबाड़ी पूजा: नित्यानंद महाप्रभु के वंशजों द्वारा शुरू की गई 170 वर्ष पुरानी पूजा क्यों है विशेष और क्या है इतिहास ?

डिजिटल दोस्ती: बांग्लादेश की गुलशाना अख्तर ने प्रेमी दत्ता यादव से मिलने के लिए अवैध रूप से पार की सीमा, BSF ने दोनों को पकड़ा

और लोड करें

त्रिपुरा रियासत, माणिक्य राजवंश और बंगाली शरणार्थी

इनमें से एक रियासत त्रिपुरा भी थी। पूर्वोत्तर भारत में स्थित इस रियासत पर माणिक्य वंश का शासन था और इसके राजा थे बीर बिक्रम किशोर देब बर्मन। अंग्रेज इस रियासत को हिल टिप्पेरा कहते थे, जिसमें टिप्पेरा नामक एक जिला भी था। यह राज्य वर्तमान बांग्लादेश के नोआखाली और सिलहट तक फैला हुआ था। जब भारत का बंटवारा हुआ, तो अंग्रेजों के वकील रेडक्लिफ ने, लाहौर की तरह, नोआखाली और टिप्पेरा को भी पाकिस्तान को सौंप दिया, बावजूद इसके कि वहां हिंदू आबादी अधिक थी।

1941 के ढाका दंगों के बाद त्रिपुरा में बंगाली प्रवासियों की संख्या बढ़ गई थी। दंगों के दौरान ही त्रिपुरा के राजा बीर बिक्रम किशोर देब बर्मन ने बंगालियों के लिए अपनी सीमाएं खोल दी थीं। 1947 में जब फिर से दंगों की आशंका बनी, तो बड़ी संख्या में प्रवासी त्रिपुरा में शरण लेने लगे।

राजा बीर बिक्रम को यह समझ आ गया था कि अगर भारत-पाक बंटवारे का ऐलान हुआ, तो दंगे भड़केंगे और हालात बेकाबू हो जाएंगे। इसलिए उन्होंने 28 अप्रैल 1947 को त्रिपुरा के भारत में विलय का ऐलान कर दिया। कोई चूक न हो, इसलिए राजा बीर बिक्रम ने संविधान सभा के सचिव HVR अयंगर को टेलीग्राम भेजकर भी अपने फैसले की सूचना दी।

राजा बीर बिक्रम के इस फैसले से त्रिपुरा की जनता ने राहत की सांस ली, लेकिन नियति को कुछ और ही मंजूर था। त्रिपुरा के भारत में विलय के फैसले के 19 दिन बाद, यानी 17 मई 1947 को राजा बीर बिक्रम की अचानक मृत्यु हो गई। त्रिपुरा के युवराज किरीट बिक्रम किशोर माणिक्य की उम्र सिंहासन संभालने के योग्य नहीं थी। इसलिए रानी कंचनप्रभा देवी ने रीजेंसी काउंसिल (राजा की मृत्यु के बाद अस्थायी सरकार) बनाकर सत्ता की बागडोर अपने हाथ में ले ली।

रानी कंचनप्रभा और उनके विरुद्ध षड्यंत्र

त्रिपुरा अब राजा-विहीन हो चुका था, और सत्ता रानी कंचनप्रभा के हाथों में थी। ऐसे में सत्ता हथियाने के लिए षड्यंत्र रचे जाने लगे। इनमें से एक षड्यंत्र त्रिपुरा के भीतर ही पनपा। राजा बीर बिक्रम के सौतेले भाई दुर्जय किशोर ने, जो राजा बनने का सपना देख रहा था, रानी कंचनप्रभा को सत्ता से हटाने के लिए अलगाववादी मोहम्मद अब्दुल बारिक खान (जिसे गेदू मियां भी कहा जाता था) से हाथ मिला लिया। गेदू मियां ने मुस्लिम लीग के समर्थन वाली ‘अंजुमन-ए-इस्लामिया’ नामक राजनीतिक पार्टी बनाई थी और त्रिपुरा को पाकिस्तान में मिलाने की कोशिशों में लगा था।

दुर्जय किशोर को उम्मीद थी कि त्रिपुरा के पाकिस्तान में विलय के बाद वह राजा बन जाएगा, जबकि गेदू मियां त्रिपुरा को पाकिस्तान में मिलाना चाहता था। लेकिन इन दोनों के सपने जल्द ही टूट गए। 11 जून 1947 को रानी कंचनप्रभा ने जनता को बताया कि महाराजा बीर बिक्रम ने त्रिपुरा रियासत के भारत में विलय का फैसला पहले ही कर लिया था।

महारानी कंचनप्रभा देवी और राजा वीर विक्रम देववर्मा
महारानी कंचनप्रभा देवी और राजा बीर बिक्रम किशोर देब बर्मन (फ़ोटो साभार: Tripura Infoway)

यह खबर देश भर में आग की तरह फैल गई। साथ ही यह भी खबर फैली कि त्रिपुरा पर हमला करने की तैयारी हो रही है और पूर्वी पाकिस्तान में पर्चे बांटकर मुस्लिमों को उकसाया जा रहा है। अखबारों में भी ऐसी खबरें थीं, हालांकि इनमें अफवाहें भी शामिल थीं। लेकिन इन खबरों की सच्चाई परख पाना मुश्किल था।

भारतीय संघ में त्रिपुरा का विलय

रानी कंचनप्रभा ने सख्ती दिखाते हुए दुर्जय किशोर का समर्थन करने वाले मंत्रियों का इस्तीफा लेकर उन्हें राज्य से बाहर भेज दिया। कुछ मंत्रियों के त्रिपुरा में प्रवेश पर रोक लगा दी गई और रीजेंसी काउंसिल भंग कर खुद को एकमात्र रीजेंट घोषित कर दिया। रानी कंचनप्रभा जानती थीं कि अगर जल्दी कार्रवाई नहीं की गई, तो त्रिपुरा के हालात कश्मीर जैसे हो सकते हैं। उन्होंने दिल्ली जाकर सरदार पटेल से मुलाकात की और त्रिपुरा की स्थिति के बारे में बताया। सरदार पटेल ने उन्हें हर संभव सुरक्षा और सैन्य सहायता का आश्वासन दिया।

सरदार पटेल ने असम के राज्यपाल अकबर हैदरी को त्रिपुरा भेजकर हालात नियंत्रण में रखने को कहा। स्थिति नियंत्रित होते ही रानी कंचनप्रभा ने 11 नवंबर, 1947 को त्रिपुरा के भारत में विलय का औपचारिक ऐलान कर दिया। फिर 9 सितंबर, 1949 को उन्होंने भारत सरकार के साथ विलय समझौते पर हस्ताक्षर किए। 15 अक्टूबर 1949 को त्रिपुरा रियासत अस्तित्व में नहीं रही और भारत का हिस्सा बन गई। 1956 में त्रिपुरा को केंद्र शासित प्रदेश का दर्जा मिला और 1972 में इसे पूर्ण राज्य का दर्जा दिया गया।

दुर्जय किशोर और गेदू मियां का क्या हुआ?

दुर्जय किशोर पहले ही इस्तीफा दे चुका था और बाद में उसे राज्य छोड़ना पड़ा। गेदू मियां और उसका परिवार पूर्वी पाकिस्तान के कोमिला भाग गए। अगरतला में बने उनके घर को सरकार ने जब्त कर लिया और आज वहाँ क्षेत्रीय कोचिंग सेंटर अगरतला स्थित है।

स्रोत: Bir Bikram Kishore Debbarma, Maharani Kanchan Prava Devi, Tripura, महारानी कंचनप्रभा देवी, महाराजा बीर विक्रम देब बर्मन, त्रिपुरा, Accession To India, भारत में विलय
Tags: Kanchan Prava DeviManikyaTripuraकंचनप्रभा देवीत्रिपुरामाणिक्य
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

बहराइच हिंसा: ‘खून के बदले खून की मांग करते हैं, बुलडोजर एक्शन लें योगी बाबा’

अगली पोस्ट

‘हमने माहौल बनाया, कांग्रेस फायदा नहीं उठा पाई’: किसान नेता ने ही खोल दी आंदोलन की पोल, हरियाणा की हार पर आपस में ही रार

संबंधित पोस्ट

छोटे मंदिरों के लिए खुशखबरी, TTD ने मूर्तियों और माइक सेट पर दी भारी छू
भारत

TTD की बड़ी पहल: छोटे मंदिरों को रियायती दरों पर मिलेंगी मूर्तियां और माइक सेट

20 December 2025

तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) ने एक बार फिर हिंदू धार्मिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए बड़ा कदम उठाया है। टीटीडी ने छोटे हिंदू मंदिरों...

सुप्रीमकोर्ट
भारत

गिरफ्तारी से पहले जमानत से इनकार पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, कहा—बोलने की आज़ादी पर नहीं लग सकती रोक

20 December 2025

सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम फैसला सुनाया है, जिसमें उसने कहा है कि   बोलने की आजादी की कोई सीमा  है, कोर्ट ने बेंगलुरू के एक...

बांग्लादेश
चर्चित

हिंदू दीपू दास की इस्लामी भीड़ के हाथों बर्बर हत्या उस्मान हादी हत्याकांड का ‘साइड इफेक्ट’ नहीं है, ये मजहबी कट्टरता को आत्मसात कर चुके बांग्लादेश का नया सच है

20 December 2025

बांग्लादेश इस समय गहरी अस्थिरता से गुज़र रहा है। दुर्भाग्य से ये अस्थिरता सिर्फ राजनैतिक नहीं है, ये नैतिक और सामाजिक भी है। अलग भाषाई...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Captured Turkish YIHA drone Showed by the Indian Army |Defence News| Operation Sindoor

Captured Turkish YIHA drone Showed by the Indian Army |Defence News| Operation Sindoor

00:00:58

A War Won From Above: The Air Campaign That Changed South Asia Forever

00:07:37

‘Mad Dog’ The EX CIA Who Took Down Pakistan’s A.Q. Khan Nuclear Mafia Reveals Shocking Details

00:06:59

Dhurandar: When a Film’s Reality Shakes the Left’s Comfortable Myths

00:06:56

Tejas Under Fire — The Truth Behind the Crash, the Propaganda, and the Facts

00:07:45
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited