EVM पर सवाल उठाने वालों को लगा सुप्रीम झटका।
29 April 2024
बस्तर में कैसे दम तोड़ रहा नक्सलवाद?
29 April 2024
विश्वास नहीं होता, यह वही भारत है, जहाँ से अर्थशास्त्र, रामायण, महाभारत जैसी कालजयी रचनायें निकली है. ये वो भारत नहीं लगता, जहाँ चंद्रकांता, आवरण जैसी रचनाओं से साहित्यिक जगत को समृद्ध किया गया. इस लेख में वो कारण जानिये, जिनके पीछे भारतीय साहित्य की छवि पर प्रश्नचिन्ह लग चूका ...
"अरुण ये मधुमय देश हमारा, जहां पहुंच अंजान क्षितिज को मिलता एक सहारा" यदि इस छंद को आपने पढ़ा हो तो समझ लीजिए कि आपने अपने स्कूल टाइम में हिंदी को गंभीरता से लिया है। अब हिंदी साहित्य वो कला है जिसमें रचनात्मकता और विविधता की कोई कमी नहीं होती, ...
कहते हैं कि ग्रैबियल गार्सिया मार्केज़ ने एकाकीपन के सौ वर्ष अर्थात 'वन हंड्रेड ईयर्स ऑफ़ सॉलिटियूड' लिखने के बाद दुनियाभर में 7 मकान खरीदे। धर्मवीर भारती ने गुनाहों का देवता लिखने के बाद संपत्ति तो बहुत ज्यादा नहीं बनाई लेकिन उन्होंने लोगों का प्यार बहुत कमाया। गुनाहों का देवता ...
साहित्य उस अक्षय पात्र समान है, जिससे आप कितना भी ग्रहण करें, उस पात्र में व्यंजन अथवा सामग्री की कोई कमी नहीं रहेगी। अब इसी साहित्य को जब नाट्य मंच अथवा चलचित्र के माध्यम से कोई जनता के एक विशाल वर्ग तक अपनी पहुंच बढ़ाना चाहता है, तो वो रोचक ...
Tulsidas Biography in hindi : तुलसीदास बायोग्राफी इन हिंदी : साहित्यिक एवं रचनाएं स्वागत है आपका आज के इस लेख में हम जानेंगे Tulsidas Biography in hindi साथ ही इससे जुड़े साहित्यिक एवं रचनाएं के बारें में भी चर्चा की जाएगी अतः आपसे निवेदन है कि यह लेख अंत तक ...
“मेरे जीवन का यह है जब प्रथम चरण, इसमें कहाँ मृत्यु? है जीवन ही जीवन अभी पड़ा है आगे सारा यौवन स्वर्ण-किरण कल्लोलों पर बहता रे, बालक-मन, मेरे ही अविकसित राग से विकसित होगा बन्धु, दिगन्त; अभी न होगा मेरा अन्त”। विपत्ति से किसे दो चार नहीं होना पड़ता परंतु ...
मैथिलीशरण गुप्त का जन्म : साहित्यिक परिचय स्वागत है आपका आज के इस लेख में हम जानेंगे की मैथिलीशरण गुप्त के बारे में साथ ही इससे जुड़े कुछ तथ्यों के बारें में भी चर्चा की जाएगी अतः आपसे निवेदन है कि यह लेख अंत तक जरूर पढ़ें. राष्ट्रकवि मैथिलीशरण ...
प्रेम माने निश्छल समर्पण, प्रेम माने त्याग प्रेम यह तो बिल्कुल नहीं है कि वो मेरी नहीं तो किसी की नहीं या प्रेम यह भी नहीं है कि किसी के पीछे आप स्वयं को नष्ट कर लो परंतु जहां गोस्वामी तुलसीदास जी तनिक रुक गए, उससे मीलों आगे एक लेखक ...
लेखक, कवि नरेश मेहता का जीवन परिचय नरेश मेहता साहित्यिक के बड़े कवि रहें हैं. नरेश मेहता का जन्म सन् 15 फ़रवरी, 1922 ई. में मध्य प्रदेश के मालवा क्षेत्र के शाजापुर कस्बे में हुआ था. नरेश मेहता का मूल नाम पूर्णशंकर शुक्ला है. नरसिंहगढ की राजमाता ने इनका नाम ...
फेसबुक का इस्तेमाल आप क्यों करते हैं? सम्भवतः अपने जान पहचान के लोगों से जुड़े रहने के लिए, उनके गतिविधियों को देखने समझने के लिए आप इसका इस्तेमाल करते होंगे। अगर आपने ध्यान दिया होगा तो अपने पाया होगा कि फेसबुक पर बहुत सी चीजें ऐसी है, जिसको देखकर आप ...
भारत में आज़ादी के बाद वामपंथ की विचारधारा को एक मजबूत बल मिला। वामपंथी ताकतों द्वारा जहां एक तरफ योजनाबद्ध तरीके से दक्षिणपंथी विचारकों की आवाज़ दबाई गई, तो वहीं दूसरी तरफ देश के बुद्धिजीवी वर्ग में सिर्फ वामपंथी विचारधारा का ही बोलबाला था। आलम यह था कि वर्ष 1990 ...
देश में चुनावी माहौल चल रहा है। 2019 के लोकसभा चुनावों का आज पहले चरण का मतदान हुआ है। इस बीच अब साहित्य जगत के 907 बड़े नामों ने चुनावी सरगर्मी को और तेज करने का काम किया है। दरअसल, इन सभी बड़े चेहरों ने भाजपा का समर्थन करते हुए ...