'जयशंकर' के लिए खोज परिणाम

वैश्विक मुद्दों पर दखल न देने वाली सोच को बदलना होगा, हमें इससे ऊपर उठने की जरुरत है- एस जयशंकर

मजबूत आवाजों की गूंज पूरी दुनिया में सुनाई देती हैं। वर्तमान समय में भारत के परिप्रेक्ष्य में यह बात एकदम सही और सटीक बैठती है। विश्व पटल पर भारत की आवाज लगातार बुलंद हो रही है। आज के समय ...

“No Asia for Asians”, एस जयशंकर ने पढ़ाया चीनियों को वैश्विक कूटनीति का पीठ

जब धरती लगे फटने तो खैरात लगी बंटने। कुछ ऐसा ही हाल इस समय चीन का है, जहां वह एशिया में कम होते अपने प्रभाव को बचाने के लिए बिलबिलाता घूम रहा है। वहीं, चीन के साथ आगामी भविष्य ...

‘भारतीयों के लिए बेहतर डील सुनिश्चित करना मेरा कर्तव्य है’, जयशंकर ने पश्चिमी देशों की हेकड़ी निकाल दी है

जहां एक ओर अधिकांश देशों ने यूक्रेन और रूस क युद्ध के मध्य रूस पर कई तरह के प्रतिबंध लगाते हुए उससे कुछ भी खरीदने पर प्रतिबंध लगा दिया, वहीं, दूसरी ओर भारत रूस से कच्चे तेल का लगातार ...

‘स्वाभिमान जगाने’ के लिए पाकिस्तानियों को एस. जयशंकर की वीडियो दिखा रहे हैं इमरान खान

सच्चिदानंद हीरानंद वात्स्यायन अज्ञेय, हिंदी के सबसे बड़े लेखकों और कवियों में से एक. अज्ञेय की एक बहुत ही अच्छी कविता है. अज्ञेय लिखते हैं- आपने कभी चाय पीते हुए पिता के बारे में सोचा है? अच्छी बात नहीं ...

जयशंकर की एक चाल और चीनी ‘जासूसी जहाज’ श्रीलंका से बाहर

राजनीति में अपना दुश्मन सोच समझकर बनाना चाहिए और दोस्त बनाने से पहले तो हज़ार बार सोचना चाहिए. शायद श्रीलंका को आखिरकार यह बात समझ आ ही गई है. बीते कुछ दिनों से खबर आ रही थी 11 अगस्त ...

एस जयशंकर ने अमेरिका को ज्ञान देने लायक नहीं छोड़ा

भारत की “जयशंकर नीति” का प्रभाव आज पूरी दुनिया पर पड़ता हुआ देखने को मिला रहा है। जब से सुब्रमण्यम जयशंकर के हाथों में मंत्रालय की कमान आई है, तब से भारत की विदेश नीति में जमीन आसमान का ...

भारत की विदेश नीति में अपनी अमिट छाप कैसे छोड़ रहे हैं डॉ. एस. जयशंकर ?

जब भी बात भारत के विदेश मंत्रियों की आती है तो दिमाग में सबसे पहला नाम डॉ एस जयशंकर का आता है. उनसे पहले देश के जो भी विदेश मंत्री रहे वे शायद ही किसी को याद हों लेकिन ...

जयशंकर ने एक साथ राहुल गांधी, चीन और पिनराई विजयन तीनों को पटक-पटक कर धोया

एस जयशंकर जब से विदेश मंत्री बने हैं तब से भारत की विदेश नीति में बड़ा बदलाव देखने को मिल रहा है। भारत आज हर मुद्दे पर मुखर होकर बेबाकी से अपनी बातें रख रहा है। किसी भी वैश्विक ...

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने ‘विस्तारवादी चीन’ की इस बार शांति से बैठकर ‘क्लास’ ली है

एस. जयशंकर ने अपनी श्रेष्ठता और सार्थकता दोनों सिद्ध कर दी है। विदेश मंत्री के पद पर उनकी नियुक्ति इस बात का प्रत्यक्ष प्रमाण है कि आखिर क्यों भारत के अहम मंत्रालय को संभालने की जिम्मेदारी एक पढ़े-लिखे व्यक्ति ...

यूरोप वैश्विक समाज का ठेकेदार न बने– जयशंकर ने यूरोप को छठी का दूध याद दिलाया

एक होते हैं वीर, फिर आते हैं भौकाल और फिर आते हैं सुब्रह्मण्यम जयशंकर। भय और प्रोटोकॉल इनके शब्दकोश में मानो है ही नहीं। कभी अमेरिका को हड़का देते हैं तो कभी यूरोप को स्पष्ट रूप से सुना देते ...

एस. जयशंकर ने की पूर्वोत्तर भारत के लिए वैश्विक कनेक्टिविटी की वकालत

भारत के राज्यों में सबसे अहम हिस्सा पूर्वोत्तर का है पर विडंबना ऐसी थी कि आजादी के 70 वर्षों के बाद भी उसका उत्थान दूसरे राज्यों की तुलना में धीरे-धीरे हुआ। इसी से उभरने की आवश्यकता काफी वर्षों से ...

“जयशंकर डोज़” के बाद राहुल को मिला हिमंता का “बूस्टर डोज़”

आप सभी सोशल मीडिया पर ये छंद कभी न कभी तो शेयर किया ही होगा, “ऐसी वाणी बोलिए की जमकर झगड़ा होय, पर उनसे न पंगा लीजिए जो आपसे तगड़ा होय!" अब अपने राहुल बाबा इस विषय पर घोर ...

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