TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    आपातकाल में जोड़े गए शब्द नासूर हैं: संविधान से ‘सेक्युलर और सोशलिस्ट’ हटाने की मांग के बीच VP धनखड़ का बड़ा बयान

    आपातकाल में जोड़े गए शब्द नासूर हैं: संविधान से ‘सेक्युलर और सोशलिस्ट’ हटाने की मांग के बीच VP धनखड़ का बड़ा बयान

    कांग्रेस ने फिर दिखाया भारत का गलत नक्शा, भाजपा ने बताया राष्ट्रविरोधी कदम

    कांग्रेस ने फिर दिखाया भारत का गलत नक्शा, भाजपा ने बताया राष्ट्रविरोधी कदम

    हेमंत खंडेलवाल (बाएं) और राजीव बिंदल (दाएं)

    मध्य प्रदेश में हेमंत खंडेलवाल बन सकते हैं BJP अध्यक्ष, हिमाचल में बिंदल होंगे रिपीट!

    बिहार विधानसभा चुनाव के लिए NDA ने ज़ोरदार तैयारी शुरू कर दी है

    बिहार विधानसभा चुनाव: ‘M’ फैक्टर के जवाब में NDA का ‘MMM’ फैक्टर

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत, कैसे घुटनों पर आया बांग्लादेश

    मारन भाइयों की कहानी

    तमिलनाडु की राजनीति और मीडिया के ‘पावर प्लेयर्स’: मारन बंधुओं के संघर्ष और विवाद की पूरी कहानी

    बोईंग शेयर क्रैश

    प्लेन क्रैश के बाद धड़ाम हुए बोइंग के शेयर, प्री-मार्केट में 8% की गिरावट

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    अंतरिक्ष रक्षा

    भारत के साथ संघर्ष के दौरान पाकिस्तान को चीनी उपग्रह से मिली खुफिया जानकारी

    रूस और भारत

    विनिर्माण, मुद्रा और नवाचार: आत्मनिर्भर भारत के तीन स्तंभ

    ऑपरेशन सिंदूर

    ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाक पर हमला करने वाली थी नौसेना: रिपोर्ट

    कॉम्पैक्ट सीक्यूबी कार्बाइन

    सीमित जगहों की जंग में अब बढ़ेगी सेना की मारक क्षमता, जल्द मिलेगी नई CQB कार्बाइन

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    कैथरीन पेरेज़-शकदम (Photo - IBT)

    कैसे मोसाद की ‘ब्लैक लेडी’ ने खामेनेई तक बनाई पहुंच, इज़रायल को दिए न्यूक्लियर ठिकानों के पते

    ईरान में पत्रकारों पर खतरा बढ़ा: धमकी, हमला और दमन का नया दौर शुरू

    ईरान में पत्रकारों पर खतरा बढ़ा: धमकी, हमला और दमन का नया दौर शुरू

    काश पटेल जल्द ही 2020 के राष्ट्रपति चुनाव में चीनी हस्तक्षेप से जुड़े सबूत देंगे

    अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में चीन ने किया था हस्तक्षेप? US कांग्रेस को सबूत देगी FBI

    चीन ने भारत के खिलाफ चाल चल उसे आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ा दिया है

    फर्टिलाइजर को हथियार बना रहा चीन, खुल रही भारत की आत्मनिर्भरता की राह

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    इस साल अमेरिका में 7,500 नए करोड़पति आएंगे (Photo- Canva)

    इस साल बड़ी संख्या में पलायन करेंगे करोड़पति, जानें कहां बना रहे हैं ठिकाना

    विदुषी संवाद

    विदुषी संवाद: धार्मिक और दार्शनिक विमर्शों में महिलाओं की भागीदारी

    डॉ हिमंत बिश्व शर्मा

    असम में घुसपैठियों के कब्जे से छुड़ाई जा रही सत्र भूमि क्या है?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    कुमार विश्वास

    कुमार विश्वास ने सरदार जी3 के लिए दिलजीत को लगाई लताड़

    शेफाली ज़रीवाला

    शेफाली ज़रीवाला का अचानक निधन: ग्लैमर की दुनिया में शोक की लहर

    मलयालम फिल्म उद्योग

    मलयालम फिल्म उद्योग में यौन उत्पीड़न के सभी 35 मामले समाप्त

    K-6 मिसाइल

    हिंद महासागर में भारत का नया ‘Game-Changer’: K-6 मिसाइल

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    आपातकाल में जोड़े गए शब्द नासूर हैं: संविधान से ‘सेक्युलर और सोशलिस्ट’ हटाने की मांग के बीच VP धनखड़ का बड़ा बयान

    आपातकाल में जोड़े गए शब्द नासूर हैं: संविधान से ‘सेक्युलर और सोशलिस्ट’ हटाने की मांग के बीच VP धनखड़ का बड़ा बयान

    कांग्रेस ने फिर दिखाया भारत का गलत नक्शा, भाजपा ने बताया राष्ट्रविरोधी कदम

    कांग्रेस ने फिर दिखाया भारत का गलत नक्शा, भाजपा ने बताया राष्ट्रविरोधी कदम

    हेमंत खंडेलवाल (बाएं) और राजीव बिंदल (दाएं)

    मध्य प्रदेश में हेमंत खंडेलवाल बन सकते हैं BJP अध्यक्ष, हिमाचल में बिंदल होंगे रिपीट!

    बिहार विधानसभा चुनाव के लिए NDA ने ज़ोरदार तैयारी शुरू कर दी है

    बिहार विधानसभा चुनाव: ‘M’ फैक्टर के जवाब में NDA का ‘MMM’ फैक्टर

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत, कैसे घुटनों पर आया बांग्लादेश

    मारन भाइयों की कहानी

    तमिलनाडु की राजनीति और मीडिया के ‘पावर प्लेयर्स’: मारन बंधुओं के संघर्ष और विवाद की पूरी कहानी

    बोईंग शेयर क्रैश

    प्लेन क्रैश के बाद धड़ाम हुए बोइंग के शेयर, प्री-मार्केट में 8% की गिरावट

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    अंतरिक्ष रक्षा

    भारत के साथ संघर्ष के दौरान पाकिस्तान को चीनी उपग्रह से मिली खुफिया जानकारी

    रूस और भारत

    विनिर्माण, मुद्रा और नवाचार: आत्मनिर्भर भारत के तीन स्तंभ

    ऑपरेशन सिंदूर

    ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाक पर हमला करने वाली थी नौसेना: रिपोर्ट

    कॉम्पैक्ट सीक्यूबी कार्बाइन

    सीमित जगहों की जंग में अब बढ़ेगी सेना की मारक क्षमता, जल्द मिलेगी नई CQB कार्बाइन

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    कैथरीन पेरेज़-शकदम (Photo - IBT)

    कैसे मोसाद की ‘ब्लैक लेडी’ ने खामेनेई तक बनाई पहुंच, इज़रायल को दिए न्यूक्लियर ठिकानों के पते

    ईरान में पत्रकारों पर खतरा बढ़ा: धमकी, हमला और दमन का नया दौर शुरू

    ईरान में पत्रकारों पर खतरा बढ़ा: धमकी, हमला और दमन का नया दौर शुरू

    काश पटेल जल्द ही 2020 के राष्ट्रपति चुनाव में चीनी हस्तक्षेप से जुड़े सबूत देंगे

    अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में चीन ने किया था हस्तक्षेप? US कांग्रेस को सबूत देगी FBI

    चीन ने भारत के खिलाफ चाल चल उसे आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ा दिया है

    फर्टिलाइजर को हथियार बना रहा चीन, खुल रही भारत की आत्मनिर्भरता की राह

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    इस साल अमेरिका में 7,500 नए करोड़पति आएंगे (Photo- Canva)

    इस साल बड़ी संख्या में पलायन करेंगे करोड़पति, जानें कहां बना रहे हैं ठिकाना

    विदुषी संवाद

    विदुषी संवाद: धार्मिक और दार्शनिक विमर्शों में महिलाओं की भागीदारी

    डॉ हिमंत बिश्व शर्मा

    असम में घुसपैठियों के कब्जे से छुड़ाई जा रही सत्र भूमि क्या है?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    कुमार विश्वास

    कुमार विश्वास ने सरदार जी3 के लिए दिलजीत को लगाई लताड़

    शेफाली ज़रीवाला

    शेफाली ज़रीवाला का अचानक निधन: ग्लैमर की दुनिया में शोक की लहर

    मलयालम फिल्म उद्योग

    मलयालम फिल्म उद्योग में यौन उत्पीड़न के सभी 35 मामले समाप्त

    K-6 मिसाइल

    हिंद महासागर में भारत का नया ‘Game-Changer’: K-6 मिसाइल

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम
MASHABLE IS A GLOBAL, MULTI-PLATFORM MEDIA AND ENTERTAINMENT COMPANY FOR MORE QUERIES AND NEWS CONTACT US ON THIS EMAIL: INFO@MASHABLEPARTNERS.COM

राफिया नाज़: अपनी ही बिरादरी द्वारा सताई गयी मुस्लिम योग शिक्षिका

Atul Kumar Mishra द्वारा Atul Kumar Mishra
16 November 2017
in मत
राफिया नाज़ योग
Share on FacebookShare on X

मैं एलर्जिक हुँ। दिल्ली में रहता हूँ। मैने लगभग ७ से ८ साल तक लगातार, एक लापरवाही भरा जीवन व्यतीत किया है, जो कॉर्पोरेट पैकेज के साथ ही मिल जाता है। मैंने अपने लापरवाही भरे जीवन में कई चीजों की उपेक्षाओं की हैं, जिसमें जंक फूड के प्रति मेरा जुनून, कम से कम व्यायाम करना और अनियंत्रित नींद आदि शामिल हैं और मुझे इसका नतीजा भी भुगतान पड़ा। जिसके परिणामस्वरूप मेरे फेफड़े कमजोर हो गए। जिसके कारण मुझे लगभग पूरे वर्ष, खांसी की वजह से होने वाली कई समस्याओं का सामना करना पड़ता था, ऐसे में मेरे लिए सर्दियों का मौसम, काफी कष्टदायक रहता था। ऐसी स्थिति में, मुझे मेरे एक दोस्त ने योग से जुड़ने की सलाह दी और मैं, इच्छा न होते हुए भी, योग-कक्षा में नामांकन करा लिया। अगर मैं ईमानदारी से कहूँ, तो कम से कम पहले कुछ हफ्तों के लिए, योग को लेकर मेरा अनुभव काफी बुरा रहा। योग कक्षाओं में जिम की तरह कोई ट्रेडमिल और डंबल प्रेस करने के लिए कोई बैंच नहीं थी। मेरे चारों ओर बैठे लोग शांत दिखाई दे रहे थे, उनमें जिम जाने वाले लोगों में पाई जाने वाली प्राकृतिक आक्रामकता की पर्याप्त कमी थी। योग कक्षाओं में किसी प्रकार का कोई संगीत उपलब्ध नहीं था। वहाँ मात्र एक प्रशिक्षक था और दस-से-बारह प्रशिक्षु (योग सीखने वाले लोग), जो चटाईयों (मैट) पर बैठे थे। प्रशिक्षक का काफी सारा ध्यान शिष्यों को साँस से सम्बन्धित एक योग प्रक्रियाओं को सिखाने पर होता था। प्रत्येक सत्र के खत्म होने के पश्चात, प्रशिक्षक एक अच्छी दिनचर्या की आवश्यकताओं के बारे में बात करते और बताते कि कैसे शरीर से बेहतर परिणाम प्राप्त करने के लिए, मानव शरीर की सर्कैडियन घड़ी को सूर्य के साथ समन्वित किया जाना चाहिए। मैं इन सभी चीजों से अत्यधिक प्रभावित हुआ।

मैं पिछले 2 वर्षों से नियमित रुप से योग कर रहा हूं और योग करने से मुझे अनेक फायदे हुए हैं। मेरे फेफड़ों में पहले की तुलना में काफी सुधार हूआ है (जैसा कि पीएफटी टेस्टों द्वारा साबित होता है), मैंने योग के माध्यम से अपने जीवन को नियन्त्रित करना सीख लिया है और इससे मेरे जीवन में, पहले से कहीं अधिक सुधार हुआ है। अब आप में से कुछ लोग यह सोच रहे होंगे कि क्या इस लम्बे प्राकथन की क्या आवश्यकता थी? दरअसल में मैं यह सिद्ध करना छह रहा था कि योग सिर्फ शरीर को स्वस्थ बनाने और अपने परिवेश के साथ समन्वय बनाएं रखने के बारे में है। योग, एक प्रशिक्षु को, हाथ की मांसपेशियों का निर्माण करने के लिए ५० किलोग्राम का भार उठाने के लिए निर्देशित नहीं करता है, लेकिन योग, उन मांसपेशियों को मजबूत बनाने के लिए दबाने और खींचने जैसे विभिन्न संयोजन क्रियाओं पर ध्यान देता है। इसी तरह, योग सही आसन, सही तरीके से साँस लेने की तकनीकों आदि पर भी अत्यधिक ध्यान देता है।

संबंधितपोस्ट

आधुनिक भारत को जोड़ने वाले ‘योग पुरुष’ हैं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक ‘डॉ हेडगेवार’

योग से जोड़ो, आयुर्वेद से संवारो: विश्व-व्यवस्था का भारतीय दर्शन

मोदी सरकार के 11 वर्ष पूरे होने का जश्न मनाने के लिए योग का व्यपाक जन अभियान चलाएगी BJP

और लोड करें

हालांकि यह एक तथ्य है कि योग की प्रकृति, स्वाभाविक रुप से हिंदू है, कई विद्यालय शिव वंदना के साथ अपने सत्र की शुरूआत करते हैं, परन्तु इन अनुष्ठानों में भाग लेने के लिए किसी पर किसी भी प्रकार से बंधन नहीं है। योगा से सम्बन्धित कई सांस नियंत्रण अभ्यास में हमें ‘ओम’ शब्द का उच्चारण करना पड़ता है – ‘ओम’ शब्द हिंदू धर्म में सबसे महत्वपूर्ण आध्यात्मिक बीज-शब्दों में से एक है, लेकिन एक प्रशिक्षु के लिए ओम का जप करना अनिवार्य नहीं है। तो मूल रूप से यह कहा जा सकता है कि योग किसी भी धार्मिक प्रतीकवाद के बिना भी किया जा सकता है, इसलिए हम योग को शुद्ध रूप से शरीर को मजबूत बनाने और आंतरिक चेतना को जागृत करने के एक उत्तम तरीके के रूप में देख सकते हैं। लेकिन हमारे देश के कुछ लोगों के लिए योग को पूर्ण रुप से समझना, बहुत मुश्किल प्रतीत होता है। वे लोग, योग को एक हिंदू अनुष्ठान मानते हैं और यह कहते हैं कि योग मात्र हिंदूओं को ही करना चाहिए। लोगों की ऐसी विचारधारा से, अन्य धर्मों और विशेष रुप से मुसलमानों और योग के प्रशिक्षुओं (योग सिखाने वाले) को बहुत बड़ा झटका लगा और उन्होंने इस बात का बहिष्कार भी किया।

ऐसी ही एक महिला राफिया नाज़ है। राफिया नाज़, रांची की रहने वाली एक मुस्लिम योग शिक्षक हैं। राफिया चार साल की उम्र से योग कर रही हैं।

राफिया नाज़ के अनुसार, एक मुस्लिम के रूप में योग का अभ्यास करना, उसके परिवार या पड़ोस के लिए कभी भी कोई परेशानी का कारण नहीं रहा, जिनके साथ वह अपना जीवन व्यतीत करती थी। राफिया ने कहा कि उसे उसके बुजुर्गों ने बताया था कि योग, किसी एक विशेष धर्म या जाति या विश्वास से संबंधित नहीं है और योग, उन सभी लोगों के लिए है जो अपने शरीर का उचित तरीके से ध्यान रखना चाहते हैं। युवा राफिया नाज़ के लिए, उनके बुजुर्गों द्वारा दी गई, यह एक ऐसी प्रेरणा थी, जिसकी वजह से राफिया नाज़ ने आगे बढ़कर योग शिक्षक के रूप में अपने काम की शुरुआत की।

राफिया नाज़, योग के महागुरु बाबा रामदेव के साथ मंच साझा करने के बाद, एक स्थानीय सेलेब्रिटी बन गई। राफिया नाज़ ने योग के क्षेत्र में कई मुक़ाम हासिल किये और पुरस्कार जीते। लेकिन प्रसिद्धि के साथ-साथ उन्हें लोगों की नफरत का भी सामना करना पड़ा। राफिया अपने समुदाय के लोगों के लिए एक सरल निशाना बन गई। राफिया को योग के अपने केंद्र को बन्द करने के लिए लगातार धमकियां मिल रही थी, लेकिन राफिया नाज़ ने उन धमकियों के नजरंदाज कर दिया और योग के प्रति निष्ठा का पालन करती रही। फिर राफिया को और परेशान किया गया, धमकियां मिली, फिर विगत बुधवार को, उनके समुदाय के लोगों के एक समूह ने उनके घर पर पत्थर फेंके। पुलिस को बुलाया गया था, जैसे तैसे भीड़ छटी लेकिन गुरुवार सुबह फिर से वही हिंसा शुरू हो गयी राफिया को अब आशंका है कि इन राक्षसों द्वारा उन्हें जान का ख़तरा है, वैसे राक्षस जिन्हें अपने धर्म के बाहर का सब कुछ गलत, पाप और ढोंग लगता है।

ज़ी न्यूज़ की इस रिपोर्ट के मुताबिक, राफिया नाज़ के खिलाफ एक फतवा भी जारी किया गया है। इस घटना के बाद योग-गुरु रामदेव, गायक सोनू निगम, शिया मौलाना सैफ अब्बास और अन्य दिग्गजों ने इसकी सख्त निंदा की।

हम विपक्षी दलों द्वारा रचे गए असहिष्णुता के आडम्बर को नहीं भूले हैं जिसे कई पत्रकारों और शिक्षा, साहित्य और सिनेमा के कई तथाकथित बुद्धिजीवियों द्वारा कार्यान्वित किया गया था। अचानक से इन लोगो ने घोषणा की, कि हिंदू बहुमत वाला भारत अचानक असहिष्णु बन गया है। तब से कई अवसर आये जहां भारत में असहिष्णुता का वही पुराना राग गाया गया। अखलाक की हत्या, असहिष्णुता। पहलू की हत्या, असहिष्णुता। एक ट्रेन में एक मुस्लिम युवा मारा गए (सीट पर विवाद), असहिष्णुता। गाय संरक्षक अगर गो-तस्करों का सामना करें, असहिष्णुता। फिर वही लोग केंद्र सरकार को बदनाम करने के लिए एक और नीच अभियान के साथ मैदान में उतर आए। इसे #NotInMyName कहा गया। उन्होंने आगे आकर भारत के एक लिंच (पीट पीट कर की गयी हत्या) मैप का निर्माण किया, जहां मोब (भीड़) लिंचिंग में मारे गए लोगों को नक्शे पर लाल बिंदुओं से पेश किया गया। उनके तथाकथित लिंच नक्शे में उमर फैय्याज जैसे देशभक्तों के लिए कोई स्थान नहीं था, जो कि कश्मीर में हत्यारों द्वारा मारे गए थे, या फिर सीपीआईएम के गुंडों द्वारा केरल में मारे जाने वाले वो तमाम आरएसएस कार्यकर्ता।

आम तौर पर सबसे पहले प्रतिक्रिया करने वाले ये ५ स्टार आन्दोलनकारी और NotInMyName के कार्यकर्ता अभी भी राफिया नाज घटना के बारे में अपनी राय व्यक्त नहीं कर पाए हैं।

देश के सामान्य हिंदू जो अपने दैनिक कार्य में व्यस्त हैं, उसके पास सहिष्णु-असहिष्णु खेलने का समय नहीं है। साधारण हिंदू के पास फ़तवे लिखने का या लोगों पर पत्थर फेंकने का समय नहीं है। उनके पास  निश्चित रूप से करने के लिए बेहतर चीजें हैं छद्म-उदारवादी बुद्धिजीवियों के अच्छे खासे प्रचार के बावजूद, यह तेजी से स्पष्ट हो रहा है कि आखिर सच में असहिष्णु कौन है। झूठ का विज्ञापन करने की ज़रूरत है, सच्चाई अपना प्रचार स्वयं कर लेती है।

Tags: योगराफिया नाज़
शेयर307ट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

कार्ल सेगन: आज तक के सबसे बड़े खगोल-शास्त्री हिंदू धर्म से प्रेरित थे

अगली पोस्ट

जीएसटी को लेकर कांग्रेस के फैलाये एक बड़े झूठ का हुआ पर्दाफाश

संबंधित पोस्ट

25 जून 1989 का ‘मोगा नरसंहार’: संघ के स्वयंसेवकों के अमर बलिदान की स्मृति
इतिहास

25 जून 1989 का ‘मोगा नरसंहार’: संघ के स्वयंसेवकों के अमर बलिदान की स्मृति

25 June 2025

25 जून एक ऐसी तिथि है जिसे देश शायद ही कभी भूल पाये। 25 जून 1975 की मध्य रात्रि इंदिरा गाँधी ने देश को आपातकाल...

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक ‘डॉ हेडगेवार’
भारत

आधुनिक भारत को जोड़ने वाले ‘योग पुरुष’ हैं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक ‘डॉ हेडगेवार’

22 June 2025

इस 21 जून को सम्पूर्ण विश्व ने ‘योग दिवस’ मनाया । योग दिवस ‘वसुंधरा परिवार हमारा’ इस ध्येय वाक्य को चरितार्थ करता है । सरल...

Baba Bageshwar Dham Dhirendra Shastri
मत

धीरेंद्र शास्त्री ने पहनी 65 हजार की जैकेट, हजारों का चश्मा; कहां गई सनातन की त्याग वाली सीख?

18 June 2025

मध्य प्रदेश के छतरपुर जिले में स्थित बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को आमतौर पर बाबा बागेश्वर के नाम से जाना जाता है।...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

The gulf crossroads: usa stakes, China's money and Iran's nuclear threat.

The gulf crossroads: usa stakes, China's money and Iran's nuclear threat.

00:30:34

HOW NDA IS MAKING IN- ROADS INTO TAMIL NADU?

00:05:57

the ganga treaty is about to expire. What happens next?

00:06:54

India's Rise: Defense and Diplomacy in 2047 Vision

00:22:51

1975 emergency: India's 21 month dictatorship.

00:10:29
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited