अखिलेश से तंग आकर Samsung छोड़ने वाली थी UP, योगी ने रोका और आज सबसे बड़ी प्लांट है नोएडा में

सीएम योगी

उत्तर प्रदेश के गौतमबुद्ध नगर जिले में स्थित नोएडा में सैमसंग ने दुनिया की सबसे बड़ी मोबाइल मैन्युफैक्चरिंग प्लांट स्थापित की है। एक समय में इस कंपनी ने पिछली सरकार की नीतियों के कारण उत्तर प्रदेश छोड़कर दूसरे राज्य में जाने का फैसला कर लिया था लेकिन सीएम योगी के प्रयासों और त्वरित कारवाईयों की वजह से सैमसंग ने इसे स्थापित किया। हिंदुस्तान टाइम्स को दिये एक इंटरव्यू में मुख्यमंत्री योगी ने इस बात का खुलासा किया है।

इंटरव्यू के दौरान सीएम योगी ने बताया कि जब वह सत्ता में आए और सरकार बने अभी 15 दिन भी हुए थे तब उन्हें पता चला कि कोरियन मोबाइल कंपनी सैमसंग उत्तर प्रदेश छोड़ कर जाने वाली है। इसके बाद उन्होंने तुरंत नौकरशाहों को तलब किया और इस मामले की पूरी जानकारी ली। नौकरशाओं ने उन्हें बताया कि सैमसंग ने 3000 करोड़ की लागत से एक यूनिट बैठाने का फैसला लिया था लेकिन अब वह बेहतर सुविधाओं और छूट न मिलने की वजह से दूसरे राज्य में जाने का फैसला किया है। इसके बाद उन्होंने सैमसंग के इंडिया हेड और फिर सीईओ से बातचीत करने का फैसला किया। सीएम योगी द्वारा सैमसंग के अधिकारियों से बातचीत करने के बाद पता चला कि वह योगी सरकार के आने से पहले ही पिछली सरकार की नीतियों के वजह से यूपी से अपनी इकाई को भारत के किसी अन्य राज्य में स्थानांतरित करने की योजना बना रहे थे। विकास उन्मुख सीएम योगी ने सैमसंग के वाइस-प्रेसिडेंट को मिलने के आमंत्रित किया और इस मुद्दे पर चर्चा के साथ ही उन्हें सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान करने का आश्वासन भी दिया। तीन महीने के भीतर ही 22 किलोमीटर पॉवर लाइन के जरिये कंपनी को 50 मेगावाट का पॉवर कनेक्शन प्रदान किया गया। उनके प्रयासों का ही नतीजा है कि सैमसंग ने दुनिया की सबसे बड़ी मैन्युफैक्चरिंग इकाई नॉएडा में खोला।

इसी तरह ऐसे कई उदाहरण है जब सपा की पिछली सरकार के उत्पीड़न की वजह से कंपनियां उत्तर प्रदेश छोड़कर किसी अन्य जगह पर जाना चाहती थीं। सीएम योगी के हस्तक्षेप के कारण ही पतंजलि ने अपने फूड पार्क को स्थानांतरित नहीं करने का फैसला किया। इसके अलावा इंटरव्यू में योगी ने बताया कि टाटा कल्सन्टेंसी सर्विस ने भी लखनऊ छोड़कर जाने का मन बना लिया था लेकिन फिर सीएम योगी के हस्तक्षेप से सभी परेशानियों को दूर किया गया और आज TCS नोएडा में भी एक केंद्र खोलने जा रही है जो 30000 नए रोजगार देगा।

बड़ी कंपनियों के निवेश से राज्यों और लोगों को कई तरह से फायेदे होते हैं। एक तो देश का नाम होता है और वहीं दूसरी ओर रोजगार के नए द्वार खुलते हैं।  सीएम योगी ने कठीन प्रयास किया और तीन महीनों के अंदर ही हालातों का रुख बदलकर करोड़ों निवेश और हजारों रोजगार को हाथ से जाने से बचाया। बता दें कि सीएम योगी ने सत्ता में आते ही ‘मेक इन इंडिया’ की तर्ज पर ‘मेक इन यूपी’ अभियान की शुरूआत की थी। सैमसंग मोबाइल कंपनी पहले हर साल भारत में करीब 60 मिलियन स्मार्टफोन बना रही थी जो नोएडा प्लांट के चालू होते ही 12 करोड़ पहुंच चुका है।

सैमसंग के उद्घाटन कार्यक्रम के दौरान अपने संबोधन में पीएम मोदी ने कहा था, “सैमसंग ने रोजगार के अवसर पैदा करने में अहम भूमिका निभाई है। सैमसंग ने लगभग 70,000 लोगों को रोजगार दिया है, जिनमें से लगभग 5000 नोएडा के हैं। इस नई इकाई से 1,000 और लोगों को रोजगार मिलेगा।” भारत में मोबाइल मैन्युफैक्चरिंग प्लांट्स की संख्या बढ़ रही है। वर्ष 2014 में भारत में केवल दो मोबाइल मैन्युफैक्चरिंग प्लांट्स थीं वहीं आज इनकी संख्या बढ़कर 120 हो गई है। तब से अब तक में लगभग 4 लाख नई नौकरियां पैदा हुई हैं। सीएम योगी ने यूपी की दशा और दिशा दोनों ही बदल कर रख दिया है। एक तरफ जहां यूपी में अपराध कम हुआ है तो वहीं अर्थव्यवस्था को ‘मेक इन यूपी’ अभियान के तहत बढ़ाया है और वर्ष 2024 तक इस राज्य की GDP 1 ट्रिलियन करने का लक्ष्य रखा है। जब से मोदी सरकार ने “मेक इन इंडिया” अभियान को बढ़ावा दिया है तब से भारत में विश्व की अनेक बड़ी कंपनियां निवेश कर अपनी प्रोडक्शन यूनिट खोल रही हैं। अनेक राज्यों में मेक इन इंडिया का लाभ सीधे तौर पर पहुंच रहा है। साथ ही तमाम युवाओं को रोजगार के अवसर भी मिल रहे हैं।

जहां योगी सरकार ने विदेशी कंपनियों को बेहतर मौका दिया वहीं अखिलेश सरकार की गलत नीतियों की वजह से कई विदेशी कंपनियां यूपी छोड़ दूसरे राज्यों में जाने वाली थीं हालांकि योगी सरकार सत्ता में ऐन वक्त पर आकर उन्हें जाने से रोक लिया जिस वजह से राज्य के लाखों युवाओं को रोजगार के अवसर मिले साथ ही राज्य सरकार को भी अच्छा राजस्व मिल रहा है।

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