वित्त वर्ष 2021-22 के लिए केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कई सारे ऐलान किए। इसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ड्रीम प्रोजेक्ट को ध्यान में रखा गया है जिसमें लेह भी शामिल है। अनुच्छेद 370 के हटने के बाद से लेह और लद्दाख राष्ट्र की मुख्यधारा में सामने आए हैं। केन्द्र वहां सीधे लोगों को लाभ पहुंचाने की नीति पर काम कर रही है और ये केवल कहने की बात नहीं रह गई है क्योंकि इस बार के बजट में वित्त मंत्री ने लेह के लिए खास ऐलान भी किए हैं।
किसी भी क्षेत्र के विकास के लिए शिक्षा को मुख्य माना गया है क्योंकि शिक्षा के कारण है लोगों के जीवन स्तर में सुधार आता है। ऐसे में सीमावर्ती होने के बावजूद लेह जैसे इलाकों में शिक्षा का बड़ा अभाव है। वहां के छात्रों को इस मामले में असुविधा होती है। दूसरी ओर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के लिए लेह महत्वपूर्ण माना जाता है। ऐसे में वित्त मंत्री ने पीएम के ड्रीम प्रोजक्ट को भी अपने बजट में विशेष जगह दी है।
बजट 2021-22 में केंद्र की ओर से वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा लद्दाख में केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने की घोषणा की गई है। आम बजट में किए गए इस ऐलान के बाद केंद्र शासित प्रदेश में खुशी का माहौल है। लद्दाख के हिस्से आई यूनिवर्सिटी को लेह में बनाया जाएगा। केन्द्रीय वित्त मंत्री ने सेट्रल यूनिवर्सिटी के ऐलान के साथ ही लद्दाख में 100 सैनिक स्कूल खोलने का भी ऐलान किया है जो कि बेहद ही सकारात्मक फैसला माना जा रहा है।
वित्त मंत्री के इस ऐलान के बाद लेह देश का 55वां शहर बन गया है जहां कि कोई केन्द्रीय विश्वविद्यालय है। यहां के छात्रों को उच्च शिक्षा के मुद्दे पर जम्मू-कश्मीर या श्रीनगर तक जाना पड़ता था। ऐसे में अनुच्छेद 370 क हटने के बाद लोग खुश तो थे, लेकिन इस क्षेत्र के लोगों को शिक्षा के मुद्दे पर चुनौतियां मिल रही थीं। लोग लंबे समय से मांग कर रहे थे कि राज्य में शिक्षा पर विशेष गौर किया जाए।
लद्दाख अब केन्द्र शासित प्रदेश होने के चलते मोदी सरकार के जिम्मे है। ऐसे में लद्दाख के लंबे समय से मुख्य धारा से वंचित लोगों की मांगों को मानने के लिए मोदी सरकार हमेशा ही प्रतिबद्ध रही है। वहीं, सीमावर्ती क्षेत्र होने के चलते इस पूरे क्षेत्र का महत्व कहीं और बढ़ जाता है। शायद इसीलिए पीएम मोदी इससे जुड़े सारे मामलों को खुद भी मॉनिटर कर रहे हैं।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने केन्द्रीय विश्वविद्यालय से लेकर सैनिक स्कूलों के खुलने का ऐलान करके साबित कर दिया है कि अनुच्छेद-370 के बाद मोदी सरकार लेह लद्दाख के विकास कार्यों के लिए कितनी ज्यादा कटिबद्ध है।