TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    देशहित में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ‘योगदान’ को नापने का ‘पैमाना’ क्या है?

    देशहित में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ‘योगदान’ को नापने का ‘पैमाना’ क्या है?

    कांग्रेस के मंत्री प्रियांक खरगे बोले- RSS को बैन करेंगे; मुस्लिम लीग से दोस्ती लेकिन संघ से दिक्कत क्यों?

    कांग्रेस के मंत्री प्रियांक खरगे बोले- RSS को बैन करेंगे; मुस्लिम लीग से दोस्ती लेकिन संघ से दिक्कत क्यों?

    बीजेपी में होगा नेतृत्व परिवर्तन, राज्यों के चुनाव से साफ होगी तस्वीर

    बीजेपी में होगा नेतृत्व परिवर्तन, राज्यों के चुनाव से साफ होगी तस्वीर

    बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे का दावा: कांग्रेस और CIA का रहस्यमयी संबंध

    बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे का दावा: कांग्रेस और CIA का रहस्यमयी संबंध

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत, कैसे घुटनों पर आया बांग्लादेश

    मारन भाइयों की कहानी

    तमिलनाडु की राजनीति और मीडिया के ‘पावर प्लेयर्स’: मारन बंधुओं के संघर्ष और विवाद की पूरी कहानी

    बोईंग शेयर क्रैश

    प्लेन क्रैश के बाद धड़ाम हुए बोइंग के शेयर, प्री-मार्केट में 8% की गिरावट

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    डिजिटल इंडिया

    डिजिटल इंडिया के 10 साल पूरे: पीएम मोदी ने बताया देश के सशक्तिकरण की क्रांति का सफर

    ऑपरेशन सिंदूर का असर: सैटेलाइट ने दिखाया कैसे खाक हुए PoK के आतंकी शिविर?

    ऑपरेशन सिंदूर का असर: सैटेलाइट ने दिखाया कैसे खाक हुए PoK के आतंकी शिविर?

    अंतरिक्ष रक्षा

    भारत के साथ संघर्ष के दौरान पाकिस्तान को चीनी उपग्रह से मिली खुफिया जानकारी

    रूस और भारत

    विनिर्माण, मुद्रा और नवाचार: आत्मनिर्भर भारत के तीन स्तंभ

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    ऊटा का कृष्ण मंदिर (Photo - ISKCON/ Vaibhavi Devi Dasi)

    अमेरिका में हिंदू मंदिर पर बड़ा हमला, इस्कॉन मंदिर परिसर को निशाना बनाकर दागी गईं 20-30 गोलियां

    ट्रंप और नेतन्याहू ‘खुदा के दुश्मन’ घोषित: ईरान के धर्मगुरु का फतवा बढ़ाएगा वैश्विक संकट?

    ट्रंप और नेतन्याहू ‘खुदा के दुश्मन’ घोषित: ईरान के धर्मगुरु का फतवा बढ़ाएगा वैश्विक संकट?

    स्विमिंग पूल में 2019 के पुलवामा हमले में शामिल चार आतंकियों मोहम्मद उमर फारूक, तल्हा राशिद अल्वी, मोहम्मद इस्माइल अल्वी और राशिद बिल्ला ने इसी स्विमिंग पूल में तस्वीरें खिंचवाई थीं (चित्र: द प्रिंट)

    ऑपरेशन सिंदूर के कुछ हफ्तों बाद जैश-ए-मोहम्मद ने फिर खोला बहावलपुर आतंकी केंद्र

    कांग्रेस नेता हरि किशन लाल भगत (बाएं) और दिल्ली में सोवियत सूचना विभाग के प्रमुख निकोले फेदिन (दाएं)

    ‘रूस के लिए दलाली करते थे 150 कांग्रेस सांसद’: दुबे ने जिस अमेरिकी खुफिया दस्तावेज का जिक्र किया उसमें क्या लिखा है?

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    इस साल अमेरिका में 7,500 नए करोड़पति आएंगे (Photo- Canva)

    इस साल बड़ी संख्या में पलायन करेंगे करोड़पति, जानें कहां बना रहे हैं ठिकाना

    विदुषी संवाद

    विदुषी संवाद: धार्मिक और दार्शनिक विमर्शों में महिलाओं की भागीदारी

    डॉ हिमंत बिश्व शर्मा

    असम में घुसपैठियों के कब्जे से छुड़ाई जा रही सत्र भूमि क्या है?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    ‘मुझे पाकिस्तान को प्यार भेजने से कोई नहीं रोक सकता’: नसीरुद्दीन शाह के पाक प्रेम के क्या हैं मायने?

    ‘मुझे पाकिस्तान को प्यार भेजने से कोई नहीं रोक सकता’: नसीरुद्दीन शाह के पाक प्रेम के क्या हैं मायने?

    कुमार विश्वास

    कुमार विश्वास ने सरदार जी3 के लिए दिलजीत को लगाई लताड़

    शेफाली ज़रीवाला

    शेफाली ज़रीवाला का अचानक निधन: ग्लैमर की दुनिया में शोक की लहर

    मलयालम फिल्म उद्योग

    मलयालम फिल्म उद्योग में यौन उत्पीड़न के सभी 35 मामले समाप्त

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    देशहित में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ‘योगदान’ को नापने का ‘पैमाना’ क्या है?

    देशहित में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ‘योगदान’ को नापने का ‘पैमाना’ क्या है?

    कांग्रेस के मंत्री प्रियांक खरगे बोले- RSS को बैन करेंगे; मुस्लिम लीग से दोस्ती लेकिन संघ से दिक्कत क्यों?

    कांग्रेस के मंत्री प्रियांक खरगे बोले- RSS को बैन करेंगे; मुस्लिम लीग से दोस्ती लेकिन संघ से दिक्कत क्यों?

    बीजेपी में होगा नेतृत्व परिवर्तन, राज्यों के चुनाव से साफ होगी तस्वीर

    बीजेपी में होगा नेतृत्व परिवर्तन, राज्यों के चुनाव से साफ होगी तस्वीर

    बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे का दावा: कांग्रेस और CIA का रहस्यमयी संबंध

    बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे का दावा: कांग्रेस और CIA का रहस्यमयी संबंध

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    हरियाणा में 1.18 लाख कर्मचारियों की सैलरी में 5% की बढ़ोतरी, आदेश जारी

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत

    कपड़ा उद्योग में ग्लोबल लीडर बनता भारत, कैसे घुटनों पर आया बांग्लादेश

    मारन भाइयों की कहानी

    तमिलनाडु की राजनीति और मीडिया के ‘पावर प्लेयर्स’: मारन बंधुओं के संघर्ष और विवाद की पूरी कहानी

    बोईंग शेयर क्रैश

    प्लेन क्रैश के बाद धड़ाम हुए बोइंग के शेयर, प्री-मार्केट में 8% की गिरावट

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    डिजिटल इंडिया

    डिजिटल इंडिया के 10 साल पूरे: पीएम मोदी ने बताया देश के सशक्तिकरण की क्रांति का सफर

    ऑपरेशन सिंदूर का असर: सैटेलाइट ने दिखाया कैसे खाक हुए PoK के आतंकी शिविर?

    ऑपरेशन सिंदूर का असर: सैटेलाइट ने दिखाया कैसे खाक हुए PoK के आतंकी शिविर?

    अंतरिक्ष रक्षा

    भारत के साथ संघर्ष के दौरान पाकिस्तान को चीनी उपग्रह से मिली खुफिया जानकारी

    रूस और भारत

    विनिर्माण, मुद्रा और नवाचार: आत्मनिर्भर भारत के तीन स्तंभ

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    ऊटा का कृष्ण मंदिर (Photo - ISKCON/ Vaibhavi Devi Dasi)

    अमेरिका में हिंदू मंदिर पर बड़ा हमला, इस्कॉन मंदिर परिसर को निशाना बनाकर दागी गईं 20-30 गोलियां

    ट्रंप और नेतन्याहू ‘खुदा के दुश्मन’ घोषित: ईरान के धर्मगुरु का फतवा बढ़ाएगा वैश्विक संकट?

    ट्रंप और नेतन्याहू ‘खुदा के दुश्मन’ घोषित: ईरान के धर्मगुरु का फतवा बढ़ाएगा वैश्विक संकट?

    स्विमिंग पूल में 2019 के पुलवामा हमले में शामिल चार आतंकियों मोहम्मद उमर फारूक, तल्हा राशिद अल्वी, मोहम्मद इस्माइल अल्वी और राशिद बिल्ला ने इसी स्विमिंग पूल में तस्वीरें खिंचवाई थीं (चित्र: द प्रिंट)

    ऑपरेशन सिंदूर के कुछ हफ्तों बाद जैश-ए-मोहम्मद ने फिर खोला बहावलपुर आतंकी केंद्र

    कांग्रेस नेता हरि किशन लाल भगत (बाएं) और दिल्ली में सोवियत सूचना विभाग के प्रमुख निकोले फेदिन (दाएं)

    ‘रूस के लिए दलाली करते थे 150 कांग्रेस सांसद’: दुबे ने जिस अमेरिकी खुफिया दस्तावेज का जिक्र किया उसमें क्या लिखा है?

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    संविधान की प्रस्तावना में कैसे आए ‘समाजवादी’ और ‘पंथनिरपेक्ष’ शब्द?

    इस साल अमेरिका में 7,500 नए करोड़पति आएंगे (Photo- Canva)

    इस साल बड़ी संख्या में पलायन करेंगे करोड़पति, जानें कहां बना रहे हैं ठिकाना

    विदुषी संवाद

    विदुषी संवाद: धार्मिक और दार्शनिक विमर्शों में महिलाओं की भागीदारी

    डॉ हिमंत बिश्व शर्मा

    असम में घुसपैठियों के कब्जे से छुड़ाई जा रही सत्र भूमि क्या है?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    ‘मुझे पाकिस्तान को प्यार भेजने से कोई नहीं रोक सकता’: नसीरुद्दीन शाह के पाक प्रेम के क्या हैं मायने?

    ‘मुझे पाकिस्तान को प्यार भेजने से कोई नहीं रोक सकता’: नसीरुद्दीन शाह के पाक प्रेम के क्या हैं मायने?

    कुमार विश्वास

    कुमार विश्वास ने सरदार जी3 के लिए दिलजीत को लगाई लताड़

    शेफाली ज़रीवाला

    शेफाली ज़रीवाला का अचानक निधन: ग्लैमर की दुनिया में शोक की लहर

    मलयालम फिल्म उद्योग

    मलयालम फिल्म उद्योग में यौन उत्पीड़न के सभी 35 मामले समाप्त

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

अज़रबैजान, पोप कमेटी और SCO विश्व में भारत का बढ़ता कद दिखाता है

इसको विस्तार से समझना बहुत आवश्यक है!

Animesh Pandey द्वारा Animesh Pandey
19 September 2022
in विश्व
अज़रबैजान भारत
Share on FacebookShare on X

अज़रबैजान ने भारत का किया स्वागत: कभी-कभी आपको अपना आधार स्थापित करने के लिए किसी तुष्टीकरण, किसी सेवा सुश्रुषा की आवश्यकता नहीं पड़ती बल्कि आपकी जीवटता, आपका धैर्य एवं सबसे महत्वपूर्ण आपका स्पष्ट दृष्टिकोण आपके भाग्य को बनाने के लिए पर्याप्त है। आज भारत को अपने निर्णयों हेतु किसी वैश्विक मान्यता की आवश्यकता नहीं है अपितु वैश्विक देशों को भारत की मान्यता की आवश्यकता है, यह अपने आप में भारत की शक्ति का परिचायक है।

अज़रबैजान ने भारत का स्वागत किया

इसका हाल ही में प्रमाण देखने को मिला, जब अज़रबैजान और आर्मेनिया के संघर्ष में आश्चर्यजनक रूप से अज़रबैजान ने भारत के कथित शांतिवार्ता का स्वागत किया और कहा कि यदि भारत ऐसा कोई कदम उठाए तो वह निस्संदेह स्वागत करेगा।

संबंधितपोस्ट

जयशंकर SCO समिट के लिए पहुंचे पाकिस्तान; VIDEO में देखें कैसे हुआ उनका स्वागत

‘द्विपक्षीय सबंधों पर कोई चर्चा नहीं होगी’: पाकिस्तान जा रहे विदेश मंत्री S जयशंकर की दो टूक

UNGA में यूँ ही नहीं कश्मीर राग भूले एर्दोआन, भारत ने ऐसे उतारा ‘खलीफा’ वाला खुमार

और लोड करें

अज़रबैजान ने हाल ही में बताया कि वह आर्मेनिया के साथ बातचीत के लिए तैयार है, यदि भारत इस क्षेत्र में स्थिरता लाने के लिए कुछ प्रस्ताव करता है, तो वह ऐसे किसी पहल का स्वागत करेगा। अज़रबैजान ने दोनों कट्टर प्रतिद्वंद्वियों के बीच संघर्ष विराम समझौता होने के कुछ घंटों के बाद यह टिप्पणी की है।

अज़रबैजान के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता लेयला अब्दुल्लायेवा ने पीटीआई के साथ एक वीडियो साक्षात्कार में कहा, “हम बातचीत के लिए तैयार हैं और हम उन सभी पहलों का स्वागत करेंगे जो (दोनों पक्षों के बीच) संबंधों को सामान्य बनाने के लिए तथा क्षेत्र में स्थायी शांति और स्थिरता के इरादे से की जाती हैं।”

अब्दुल्लायेवा ने आगे ये भी कहा कि “अज़रबैजान का भारत के साथ आर्थिक, मानवीय, सांस्कृतिक और पर्यटन सहित विभिन्न क्षेत्रों में अच्छा सहयोग और अच्छे द्विपक्षीय संबंध हैं। भारत के साथ हम संयुक्त राष्ट्र, गुटनिरपेक्ष आंदोलन जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों और संगठनों के भीतर भी सहयोग कर रहे हैं। अगर भारतीय पक्ष का मदद करने का इरादा है या वह कोई प्रस्ताव करता है, तो जैसा मैंने कहा, अज़रबैजान इस तरह की किसी पहल के लिए हमेशा तैयार है।”

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने मंगलवार को कहा था कि भारत का मानना है कि द्विपक्षीय विवादों का कूटनीति और बातचीत के जरिए हल किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, “हमारा मानना है कि द्विपक्षीय विवादों का समाधान कूटनीति और बातचीत के जरिए किया जाना चाहिए। किसी भी टकराव का कोई सैन्य हल नहीं हो सकता। हम दोनों पक्षों को स्थायी और शांतिपूर्ण समाधान के लिए बातचीत की खातिर प्रोत्साहित करते हैं।”

यह निस्संदेह रूप से बढ़ते वैश्विक शौर्य और कूटनीतिक पराक्रम को परिलक्षित करता है। परंतु यही एक उदाहरण नहीं है जिसके लिए भारत ने अपनी कूटनीति का लोहा मनवाया। रूस एवं यूक्रेन के बीच तनातनी ने जो हिंसक रूप धारण किया, उससे अब कोई भी अनभिज्ञ नहीं होगा।

और पढ़ें- पोलैंड ने रूस-यूक्रेन युद्ध को रोकने की भारत की क्षमता पर दिखाया भरोसा

वैश्विक स्तर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी छा गए

परंतु मेक्सिको के राष्ट्राध्यक्ष के एक बयान ने ये सिद्ध किया कि पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत का वास्तविक कद क्या है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कद दुनिया में बढ़ता ही चला जा रहा है। पीएम मोदी अब सिर्फ भारत के प्रधानमंत्री ही नहीं बल्कि एक वैश्विक नेता बन चुके हैं। अब विश्व शांति दूत तक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नाम सामने आने लगा है। दरअसल, मैक्सिको के राष्ट्रपति एंड्रेस मैनुअल लोपेज ओब्रेडोर चाहते हैं कि वैश्विक शांति के लिए एक आयोग का गठन किया जाए और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इसका हिस्सा बनें। मैक्सिको के राष्ट्रपति इस संबंध में एक लिखित प्रस्ताव संयुक्त राष्ट्र में पेश करने की योजना बना रहे हैं। प्रस्ताव के अनुसार विश्व में शांति लाने के लिए पांच साल की अवधि के लिए वो आयोग बनाने की मांग करेंगे। उन्होंने इस आयोग के लिए दुनिया के तीन नेताओं के नाम प्रस्तावित किए हैं जिनके नेतृत्व में आयोग बनाने की मांग की जाएगी। इन नेताओं की सूची में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ ईसाई धर्मगुरु पोप फ्रांसिस और संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस शामिल हैं।

एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में मैक्सिकन राष्ट्रपति ओब्रेडोर ने कहा कि आयोग का उद्देश्य दुनिया भर में युद्धों को रोकने के लिए एक प्रस्ताव पेश करना होगा। कमीशन का लक्ष्य होगा कि वह दुनियाभर में युद्ध को रोकने के लिए जो प्रस्ताव पेश करे वह अमल में आए और कम से कम 5 वर्ष के लिए एक शांति समझौता हो। उन्होंने कहा कि उम्मीद है कि मीडिया इस बारे में जानकारी फैलाने में हमारी मदद करेगा। ओब्रडोर ने कहा कि यह स्पष्ट है कि युद्धों में निर्दोष लोगों की जान जा रही है और इसके लिए सभी को शांति कायम करने के प्रयास करने जरूरी है।

सोचिए, यहाँ बड़े से बड़े नेता का नाम लिया जा सकता था, स्वयं राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और शिनज़ो आबे (जीवित रहने के दौरान) जैसे नेता भी हो सकते थे। परंतु नरेंद्र मोदी ही क्यों? इसका प्रमाण उनके सरकार के विदेश मंत्री सुब्रह्मण्यम जयशंकर के बयान में स्पष्ट झलकता है। लातों के भूत बातों से नहीं मानते। परंतु ये बात कुछ लोगों को हजम नहीं होती और बार-बार उन्हें स्मरण कराना पड़ता है। इस बात को सार्वजनिक करते हुए विदेश मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि रूस के साथ उसके जो भी संबंध है, उससे किसी को कोई भी आपत्ति नहीं होनी चाहिए और उसके लिए प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से सम्पूर्ण पश्चिमी जगत को खरी खोटी भी सुनाई है। विदेश मंत्रालय ने मीडिया को संबोधित करते हुए स्पष्ट किया, “देखिए, हमारे निर्णय, चाहे तेल को लेकर हों या फिर किसी अन्य वस्तु को लेकर, जैसे ऊर्जा, सुरक्षा आवश्यकता इत्यादि, वो सभी हमारे दृष्टिकोण पर आधारित होगा।”

मंत्रालय ने अप्रत्यक्ष रूप से पाश्चात्य जगत को भारत की रूस से निकटता पर आलोचना के लिए आड़े हाथों लेते हुए कहा, “हम जो भी कुछ कर रहे हैं, अपनी इच्छा अनुसार कर रहे हैं और हमें नहीं लगता है कि हमें इसके लिए किसी की आज्ञा की आवश्यकता है या हम पर किसी प्रकार के दबाव का आभास है।” ज्ञात हो कि ये प्रथम ऐसा अवसर नहीं है जब विदेश मंत्रालय ने पाश्चात्य जगत को उसके दोहरे मापदंडों के लिए खरी खोटी सुनाई है। वन चाइना पॉलिसी पर भारत के विचारों के लिए भी भारत ने स्पष्ट किया कि उसको जो कहना था, वो कह चुका है और बार-बार स्पष्ट करने की आवश्यकता नहीं है।

और पढ़ें- रूस-यूक्रेन युद्ध के हुए 100 दिन, विश्व पटल पर भारत हुआ है और सशक्त

SCO सम्मेलन में मोदी-मोदी

ये तो कुछ भी नहीं है। अभी हाल ही में SCO के सम्मेलन में भारत ने अपने वैश्विक प्रभुत्व को जो स्थापित किया, उससे सिद्ध होता है कि भारत ने वैश्विक स्तर पर अपने प्रभुत्व का किस स्तर पर लोहा मनवाया है।

उदाहरण के तौर पर

SCO सम्मेलन में मोदी ने पुतिन को धोया

यूक्रेन युद्ध पर मोदी ने पुतिन को सुनाई खरी-खरी जैसी अनेक ख़बरें, कई तड़कती-भड़कती हैडलाइन्स, कई पोस्टर्स, कई पोस्ट, कई ट्वीट, आप सोशल मीडिया पर देख रहे होंगे और वैश्विक मीडिया, विशेषकर अमेरिकन मीडिया भी इसी तरह की ख़बरें चला रहा है, परंतु वास्तविकता इससे बिल्कुल भिन्न है।

कूटनीति दो और दो के जोड़ जितना सरल नहीं, ये बात नरेंद्र मोदी और व्लादिमीर पुतिन हमसे बेहतर जानते हैं, इसीलिए कूटनीति की चालें जितनी कैमरों के आगे चली जाती हैं- इससे कहीं ज्यादा कैमरों के पीछे चलती हैं। अब पीएम मोदी ने जो कहा और रूस ने जो उत्तर दिया वो कोई भारत और रूस के बीच में खटास पैदा करने वाला नहीं था, क्योंकि न ही भारत ने रूस को सुनाया था, न ही भारत ने यूक्रेन के मुद्दे पर अपना स्टैंड बदला है, ना ही सार्वजनिक तौर पर पीएम मोदी ने पुतिन को अपमानित किया है, ऐसा कुछ नहीं हुआ है बल्कि भारत ने SCO के मंच पर वही बोला जो पीएम मोदी पुतिन से फोन पर बोल चुके हैं। पुतिन ने भी वहां वही बोला जोकि भारत सुनना चाहता है, विश्व की दो प्रभावशाली और मैत्रीपूर्ण शक्तियों के बीच में इसी तरह से कूटनीति होती है। अब इसे अगर वाशिंगटन पोस्ट, न्यू यॉर्क टाइम्स, सीएनएन अपने एजेंडे के तहत रूस के विरुद्ध चलाना चाहते हैं तो चला सकते हैं।

अब वहीं पर भारत ने SCO के माध्यम से एक ऐसा अस्त्र चलाया कि फ्री मार्केट कथित पुरोधा तिलमिला कर रह गए, वो न घर के रहे, न घाट के।

वो कैसे? असल में विश्वभर में रूस-यूक्रेन युद्ध के पश्चात् परिस्थितियां बदल गयी हैं, एक तरफ जहां पश्चिमी देशों ने रूस पर भर-भर के प्रतिबंध लगाए हैं, तो वहीं दूसरी तरफ अन्य देशों को रूस से व्यापार करने के लिए मना भी किया। अब देखिए इनका पाखंड, मूलतः ये पश्चिमी देश जिस भी देश के साथ व्यापार समझौता करते हैं वहां यह मुक्त व्यापार यानी फ़्री ट्रेड के झंडे को सबसे पहले आगे करते हैं और तो और इन सो कॉल्ड फ़्री ट्रेड प्रमोटर देशों ने तो फ़्री ट्रेड एवं ओपन मार्केट को बढ़ावा देने के लिए पूरा का पूरा एक संगठन ही बना दिया है जिसे WTO के नाम से जाना जाता है।

अब यह बात तो सबको पता है कि यह विश्व व्यापार संगठन इन देशों के लिए मात्र कठपुतली है इसके अलावा कुछ भी नहीं है। लेकिन मानना पड़ेगा कि ये देश इतनी चालाकी से अपनी चाल चलते हैं कि बेचारे अल्पविकसित एवं विकासशील देश इनके झांसे में आ जाते हैं, तत्पश्चात् अपनी घरेलू नीतियों का निर्माण इस प्रकार से कर लेते हैं कि उनका स्वयं का ही नुकसान हो जाता है। किंतु मुक्त व्यापार एवं खुले बाजार की बात करने वाले इन देशों की भारत ने इस बार लंका ही लगा दी है।

इसी क्रम में उज़बेकिस्तान में चल रहे शंघाई सहयोग संगठन सम्ममेलन में जब मीडिया द्वारा भारतीय विदेश सचिव विनय क्वात्रा से रूसी तेल को ख़रीदने के संबंध में सवाल पूछा गया तो उन्होंने जो जवाब दिया उसे सुनकर पश्चिमी देशों के कान से खून निकल आए होंगे। क्वात्रा ने पश्चिमी देशों की मुक्त व्यापार और खुले बाजार की नीतियों का ज़िक्र कर उन्हीं को चुप करा दिया।

क्वात्रा ने मीडिया को जवाब देते हुए कहा कि तेल को ख़रीदने के क्रम में भारत सरकार कोई निर्णय नहीं लेती है। यह तेल कंपनियों के ऊपर निर्भर करता है कि वो कहां से तेल ख़रीद रही हैं और कहां से नहीं। यह वही बात थी जिसे उपयोग कर पश्चिमी देश अपने हितों की पूर्ति के लिए अन्य देशों के समक्ष किया करते थे। ओपन मार्केट का झंडा उठाने वाले ये पश्चिमी देश आज स्वयं ही अपने देशों में कंपनियों को क्रय-विक्रय के संबंध में निर्देशित कर रहे हैं।

अपने ही हितों को हानि पहुंचता देख ये पश्चिमी देश अपनी ही व्यवस्था में फंस कर रह गए हैं, ऊपर से एससीओ में भारत के इस बयान से पश्चिमी देशों का पाखंड सबके समक्ष आ गया है। अगर हम खुले बाज़ार एवं मुक्त व्यापार का तात्पर्य समझें तो ऐसी व्यवस्था में सरकार रेग्युलेटर न होकर फ़ैसिलिटेटर होती है अर्थात् सरकार व्यापार को सुगम बनाती है न कि उनको नियंत्रण करती है। ऐसे में अब भारत वो पहले वाला भारत नहीं भारत जो गुट निरपेक्षता के नाम पर दुनिया भर में नौटंकी करता था, अब भारत को चाहिए फुल सम्मान।

TFI का समर्थन करें:

सांस्कृतिक राष्ट्रवाद की ‘राइट’ विचारधारा को मजबूती देने के लिए TFI-STORE.COM से बेहतरीन गुणवत्ता के वस्त्र क्रय कर हमारा समर्थन करें.

Tags: अज़रबैजानआर्मेनियाएससीओगुट निरपेक्षता
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा के कारण डीके शिवकुमार छोड़ देंगे कांग्रेस?

अगली पोस्ट

चिप के खेल में चीन को मात देना चाहता है भारत? यह सबसे बढ़िया वक्त है

संबंधित पोस्ट

ऊटा का कृष्ण मंदिर (Photo - ISKCON/ Vaibhavi Devi Dasi)
विश्व

अमेरिका में हिंदू मंदिर पर बड़ा हमला, इस्कॉन मंदिर परिसर को निशाना बनाकर दागी गईं 20-30 गोलियां

1 July 2025

अमेरिका के ऊटा में स्थित हिंदुओं के प्रसिद्ध इस्कॉन राधा कृष्ण मंदिर पर बड़ा हमला किया गया है। यह मंदिर अपने रंग महोत्सव के लिए...

ट्रंप और नेतन्याहू ‘खुदा के दुश्मन’ घोषित: ईरान के धर्मगुरु का फतवा बढ़ाएगा वैश्विक संकट?
विश्व

ट्रंप और नेतन्याहू ‘खुदा के दुश्मन’ घोषित: ईरान के धर्मगुरु का फतवा बढ़ाएगा वैश्विक संकट?

30 June 2025

ईरान के वरिष्ठ शिया धर्मगुरु ग्रैंड आयतुल्ला नासेर मकारेम शिराज़ी ने अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के खिलाफ एक...

स्विमिंग पूल में 2019 के पुलवामा हमले में शामिल चार आतंकियों मोहम्मद उमर फारूक, तल्हा राशिद अल्वी, मोहम्मद इस्माइल अल्वी और राशिद बिल्ला ने इसी स्विमिंग पूल में तस्वीरें खिंचवाई थीं (चित्र: द प्रिंट)
विश्व

ऑपरेशन सिंदूर के कुछ हफ्तों बाद जैश-ए-मोहम्मद ने फिर खोला बहावलपुर आतंकी केंद्र

30 June 2025

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए हमले में आतंकियों ने कम-से-कम 26 निर्दोष पर्यटकों की हत्या कर दी थी जिसके बाद भारत ने पाकिस्तान और पाकिस्तान...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Kerala Muslim Groups oppose Zumba classes for School Children

Kerala Muslim Groups oppose Zumba classes for School Children

00:07:21

Crash or sabotage? Aviation expert on ahmedabad plane crash probe.

00:13:37

Ahmedabad Air India Crash: Was It Sabotage? Major Investigation Underway

00:06:27

10% Seats for Muslims? Shocking Demand from DMK’s ally MMK Ahead of 2026!"

00:04:52

The gulf crossroads: usa stakes, China's money and Iran's nuclear threat.

00:30:34
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited